पटना: बिहार विधानसभा चुनाव में महिलाओं का 59.69 प्रतिशत वोट रहा. जो पुरुषों के मुकाबले 5% अधिक था. इसके बावजूद इस बार कुल महिला उम्मीदवारों में महज केवल 11 फ़ीसदी सीट महिलाएं माननीय विधायक का तमगा हासिल कर पायीं. सबसे अधिक भाजपा से 9 महिला उम्मीदवार जीती हैं, उसके बाद राजद से 7 महिला उम्मीदवार, वहीं जदयू का स्थान तीसरे स्थान पर है. जदयू से 6 महिला जीती हैं. कुल मिलाकर देखें तो इस बार 370 महिलाएं चुनाव मैदान में थी. उसमें से 26 चुनाव जीत कर आयी हैं. जो 2015 के मुकाबले 2 सीट कम है.
पुष्पम प्रिया को नहीं मिली सफलता, श्रेयसी सिंह ने लगाया निशाना
विधानसभा चुनाव में स्वघोषित मुख्यमंत्री उम्मीदवार पुष्पम प्रिया दो जगह से लड़ीं और दोनों जगह से हार गईं. वे जमानत तक नहीं बचा सकीं. तो वहीं जदयू की ओर से लगातार चुनाव जीतने वाली रंजू गीता भी बाजपट्टी से चुनाव हार गयीं. जदयू प्रवक्ता अंजुम आरा पहली बार चुनाव लड़ रहीं थीं. लेकिन वो डुमराव से चुनाव हार गयीं. चुनाव से ठीक पहले जदयू में शामिल होने वाली शालिनी मिश्रा केसरिया से चुनाव जीत गईं. जमुई से पूर्व केन्द्रीय मंत्री दिग्विजय सिंह की बेटी अंतरराष्ट्रीय शूटर श्रेयसी सिंह बीजेपी के टिकट पर चुनाव जीत गईं. वहीं, मसौढ़ी से राजद प्रत्याशी रेखा देवी ने फिर से जीत का परचम लहराया. वहीं सीमांचल से आने वाली जदयू की दोनों कद्दावर नेता बीमा भारती और लेसी सिंह भी फिर से चुनाव जीतने में सफल रहीं.
वहीं, जीतन राम मांझी की समधिन ज्योति देवी बाराचट्टी से चुनाव जीतने में कामयाब रही. बेतिया से रेणु देवी और रामनगर से भागीरथी देवी बीजेपी के टिकट पर फिर से चुनाव जीतने में कामयाब रही. इसके अलावा परिहार से बीजेपी के टिकट पर गायत्री देवी, बाबूबरही से जदयू की मीना कुमारी, त्रिवेणीगंज से जदयू की वीणा भारती, फुलपरास से जदयू की शीला कुमारी, प्राणपुर से बीजेपी की निशा सिंह, गौराबौराम से वीआईपी की स्वर्णा सिंह, कोढ़ा से बीजेपी की कविता देवी, राजापाकर से कांग्रेस की प्रतिमा कुमारी, कटोरिया से बीजेपी की निक्की हेंब्रम, संदेश से राजद की किरण देवी और मोहनिया से संगीता कुमारी, नवादा से विभा देवी, हिसुआ से कांग्रेस की नीतू कुमारी, नोखा से राजद की अनीता देवी भी चुनाव जीत गयीं.
एनडीए से 17 और महागठबंधन से 9 महिला इस बार करेंगी सदन में प्रवेश
विधानसभा चुनाव में एनडीए ने 30 महिला उम्मीदवारों को चुनाव मैदान में उतारा था. जिसमें से 17 को जीत मिली तो वही महागठबंधन ने 26 महिला उम्मीदवारों को टिकट दिया था लेकिन 9 जीत पायी. वहीं लोजपा का खाता भी नहीं खुला. तो वहीं निर्दलीय के रूप में एक भी महिला उम्मीदवार चुनाव नहीं जीत सकीं.