पटनाः बिहार में कोरोना संक्रमण के इलाज में बरती जा रही लापरवाही को लेकर रोजाना नये-नये वीडियो वायरल हो रहे हैं. जिनमें कोविड अस्पतालों की बदइंतजामी साफ दिख रही है. राजधानी में मंगवार को पटना की सड़क पर एक ऐसे शख्स की चीख पुकार गूंज उठी जो पारस और एनएमसीएच की लापरवाही के कारण अपने बीमार पिता खो चुका था.
पिता की मौत से नाराज हुआ शख्स
राकेश जयसवाल नाम का यह शख्स मीडिया के सामने चीख-चीखकर स्वास्थ्य विभाग और प्रवाइट असपतालों की मनमानी के कारण अपना गुस्सा उतार रहा था. अपने बीमार पिता को खो चुके इस व्यक्ति ने कैमरे के सामने बताया कि कैसे उसके पिता को हर्निया के ऑपरेशन के बाद सांस लेने में तकलीफ हुई और उन्हें पारस जैसे नामचीन हॉस्पिटल में ऑक्सीजन नहीं मिल पाया.
'मरीजों के साथ हो रहा बुरा व्यवहार'
कोविड-19 को लेकर संक्रमित मरीजों के इलाज के लिए सरकार ने सरकारी हॉस्पिटल के साथ प्राइवेट हॉस्पिटल्स को भी इजाजत दी है. लेकिन संक्रमित मरीजों के इलाज के नाम पर प्राइवेट हॉस्पिटल किस तरह से मरीजों के साथ व्यवहार कर रहे हैं. उनके वीडियो लगातार सोशल मीडिया पर भी वायरल हो रहे हैं.
इस खबर में मीडिया नहीं बल्कि परिजन खुद बता रहे हैं कि किस तरह कोरोना के मरीजों के साथ व्यवहार किया जा रहा है. परिजन सरकारी सिस्टम को पूरी तरह ध्वस्त बता रहे हैं. इतना ही नहीं राकेश जयसवाल ने ये भी बताया कि कैसे कोरोना मरीजों के शव को पेट्रोल छिड़क कर बम की तरह उड़ा दिया जाता है.
मरीजों की संख्या में लगातार इजाफा
बता दें कि बिहार में कोरोना संक्रमण विस्फोटक रूप ले चुका है. हर दिन मरीजों की संख्या में लगातार इजाफा हो रहा है. ऐसे में संक्रमित मरीजों को देखकर सरकार हर संभव मदद करने का दावा कर रही है. लेकिन सरकार के दावों पर संक्रमित मरीजों के परिजन कई बार सवाल खड़ा कर चुके हैं.
कोविड-19 को लेकर सरकार के जरिए बनाए गए हॉस्पिटल की व्यवस्था को लेकर लगातार सोशल मीडिया पर वीडियो वायरल हो रहा है. कुछ ऐसी भी तस्वीर सामने आई जिसमें प्राइवेट हॉस्पिटल के जरिए मरीजों का शोषण किया जा रहा है और उनके परिजन खुद अपना दर्द सुना रहे हैं.