पटना: राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव की बायोग्राफी गोपालगंज टू रायसिना को लेकर जेडीयू और आरजेडी आमने-सामने हैं. एक तरफ किताब के माध्यम से तेजस्वी यादव नीतीश कुमार को घेरने में जुटे हैं. तो वहीं जेडीयू ने किताब में लिखी गई सभी बातों को निराधार बताया है.
RJD के आरोपों का खंडन
ईटीवी भारत से बातचीत में जेडीयू के प्रदेश अध्यक्ष वशिष्ठ नारायण सिंह ने कहा कि यह सभी तथ्य निराधार हैं, किसी तरह की कोई बात नहीं हुई है. उन्होंने कहा कि जब प्रदेश में कोई चुनाव आता है तो खबरों में बने रहने के लिए आरजेडी इस तरह का शिगूफा लोगों के बीच छोड़ती है.
राजद की सुर्खियों में रहने की आदत
वशिष्ठ नारायण ने कहा कि उन लोगों की बयानबाजी से हमें कोई फर्क नहीं पड़ता है, हम लोग काम में विश्वास करते हैं. आरजेडी पर हमला करते हुए उन्होंने कहा कि राजद तथ्य को दबाना और अनाप-शनाप बोल कर सिर्फ सुर्खियां बटोरना चाहती है. उन्होंने कहा कि राजद को बिहार का विकास कैसे हो इसके बारे में सोचना चाहिए ना की सुर्खियां बटोरने के लिए.
क्या है पूरा मामला
दरअसल, लालू की किताब गोपालगंज टू रायसीना में लालू ने लिखा है कि नीतीश कुमार महागठबंधन में वापसी करना चाहते थे. इसके लिए उन्होंने अपने करीबी प्रशांत किशोर को मेरे पास पांच बार भेजा. लालू के इस वक्तव्य के बाद राबड़ी देवी और तेजस्वी यादव ने जेडीयू पर हमला बोल दिया और इसका खंडन करने की मांग करने लगे.
तेजस्वी का बयान
वहीं तेजस्वी यादव ने इस वक्तव्य के बाद दावा किया कि जब नीतीश कुमार महागठबंधन का हिस्सा नहीं बन सके. तब उन्होंने जदयू को कांग्रेस में मर्ज कराने के लिए नेताओं से बात की थी.