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बिहार: पुलिस अनुसंधान से जुड़े मामलों की मॉनिटरिंग के लिए 'इन्वेस्टीगेशन मॉनिटरिंग सेल' - इन्वेस्टिगेशन मॉनिटरिंग सेल

बिहार में अब पुलिस अनुसंधान से जुड़े मामलों की मॉनिटरिंग के लिए 'इन्वेस्टीगेशन मॉनिटरिंग सेल' गठित की जाएगी. इस बाबत मंगलवार को सीएम नीतीश की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट की बैठक में फैसला लिया गया है. पढ़ें पूरी खबर..

लंबित मामलों के जल्द निपटारे के लिए इन्वेस्टिगेशन सेल का होगा गठन
लंबित मामलों के जल्द निपटारे के लिए इन्वेस्टिगेशन सेल का होगा गठन
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Published : Jun 23, 2021, 7:48 AM IST

पटना: बिहार में पुलिस मुख्यालय स्तर पर इन्वेस्टिगेशन मॉनिटरिंग सेल (Investigation Monitoring Cell ) बनाया जाएगा ताकि सभी संबंधित अपराध किया अन्य पहलुओं की जांच किस प्रकार की जा रही है और जांच प्रगति क्या है इस पर नजर रखी जा सके और समय-समय पर जांच को लेकर जरूरी निर्देश भी जारी किए जा सके. इसके लिए 69 नए पदों के सृजन करने की भी सहमति प्रदान कर दी गई है.

ये भी पढ़ें- पढ़ें: नीतीश कुमार के 'आंख' दिखाने में क्या है राजनीतिक नजरिया

आपराधिक मामलों के इन्वेस्टिगेशन और अपराधियों को जल्द से जल्द सजा दिलवाने की निगरानी इन्वेस्टिगेशन मॉनिटरिंग सेल द्वारा किया जाएगा. इस इन्वेस्टिगेशन टीम में एक एसपी, 7 डीएसपी, 13 इंस्पेक्टर, 8 एएसआई और 11 सिपाही के पद सृजित करने की स्वीकृति दी गई है, इसके अलावा 21 कंप्यूटर ऑपरेटर और आठ चालक सिपाही का भी पद सृजित किया जाएगा. जिसका नेतृत्व एसपी स्तर के अधिकारी करेंगे.

बिहार कैबिनेट की बैठक में 5 एजेंडों पर मुहर
दरअसल, सीएम नीतीश की अध्यक्षता में मंगलवार को हुई कैबिनेट की बैठक में कुल पांच प्रस्तावों को मंजूरी दी गई. बैठक में पुलिस अनुसंधान से जुड़े मामलों की मॉनिटरिंग के लिए अब पुलिस मुख्यालय में 'इन्वेस्टीगेशन मॉनिटरिंग सेल' गठन के प्रस्ताव को मंजूरी दी गई.

लंबित मामलों का जल्द होगा निपटारा
पुलिस मुख्यालय (Police Headquarters) द्वारा मिली जानकारी के अनुसार यह इन्वेस्टिगेशन सेल (Investigation Cell) जिलों में अपराध नियंत्रण के उपाय और पेंडिंग मामलों की जांच की गति को मॉनिटरिंग करेगा.

दरअसल, जिलों के थाना स्तर पर पुराने और लंबित मामलों को जल्द से जल्द निपटारा करने को लेकर इस टीम का गठन किया गया है. पिछले दिनों हुई लॉ एंड आर्डर की बैठक के दौरान पुलिस मुख्यालय के तरफ से पेंडिंग केस की जानकारी सरकार के समक्ष रखी गई थी. जिसके बाद प्रस्ताव बनाकर राज्य सरकार द्वारा मांगा गया था. पुलिस मुख्यालय का मकसद है कि पेंडिंग मामलों का जल्द से जल्द अनुसंधान कर अपराधी को सजा दिलाई जाए ताकि अपराध मुक्त समाज का निर्माण किया जा सके.

पटना: बिहार में पुलिस मुख्यालय स्तर पर इन्वेस्टिगेशन मॉनिटरिंग सेल (Investigation Monitoring Cell ) बनाया जाएगा ताकि सभी संबंधित अपराध किया अन्य पहलुओं की जांच किस प्रकार की जा रही है और जांच प्रगति क्या है इस पर नजर रखी जा सके और समय-समय पर जांच को लेकर जरूरी निर्देश भी जारी किए जा सके. इसके लिए 69 नए पदों के सृजन करने की भी सहमति प्रदान कर दी गई है.

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आपराधिक मामलों के इन्वेस्टिगेशन और अपराधियों को जल्द से जल्द सजा दिलवाने की निगरानी इन्वेस्टिगेशन मॉनिटरिंग सेल द्वारा किया जाएगा. इस इन्वेस्टिगेशन टीम में एक एसपी, 7 डीएसपी, 13 इंस्पेक्टर, 8 एएसआई और 11 सिपाही के पद सृजित करने की स्वीकृति दी गई है, इसके अलावा 21 कंप्यूटर ऑपरेटर और आठ चालक सिपाही का भी पद सृजित किया जाएगा. जिसका नेतृत्व एसपी स्तर के अधिकारी करेंगे.

बिहार कैबिनेट की बैठक में 5 एजेंडों पर मुहर
दरअसल, सीएम नीतीश की अध्यक्षता में मंगलवार को हुई कैबिनेट की बैठक में कुल पांच प्रस्तावों को मंजूरी दी गई. बैठक में पुलिस अनुसंधान से जुड़े मामलों की मॉनिटरिंग के लिए अब पुलिस मुख्यालय में 'इन्वेस्टीगेशन मॉनिटरिंग सेल' गठन के प्रस्ताव को मंजूरी दी गई.

लंबित मामलों का जल्द होगा निपटारा
पुलिस मुख्यालय (Police Headquarters) द्वारा मिली जानकारी के अनुसार यह इन्वेस्टिगेशन सेल (Investigation Cell) जिलों में अपराध नियंत्रण के उपाय और पेंडिंग मामलों की जांच की गति को मॉनिटरिंग करेगा.

दरअसल, जिलों के थाना स्तर पर पुराने और लंबित मामलों को जल्द से जल्द निपटारा करने को लेकर इस टीम का गठन किया गया है. पिछले दिनों हुई लॉ एंड आर्डर की बैठक के दौरान पुलिस मुख्यालय के तरफ से पेंडिंग केस की जानकारी सरकार के समक्ष रखी गई थी. जिसके बाद प्रस्ताव बनाकर राज्य सरकार द्वारा मांगा गया था. पुलिस मुख्यालय का मकसद है कि पेंडिंग मामलों का जल्द से जल्द अनुसंधान कर अपराधी को सजा दिलाई जाए ताकि अपराध मुक्त समाज का निर्माण किया जा सके.

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