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बिहार में शराबबंदी का आलम: राजधानी में बिक रही थी दारू, छापा मारकर पुलिस ने दो तस्करों को पकड़ा

बिहार की राजधानी पटना में शराब तस्कर ने किराए पर कमरा लेकर डेरा डाल रखा है. पुलिस ने गुप्त सूचना के आधार पर कार्रवाई करके तस्करों को दबोच (Two smuggler arrested at Patna) लिया है. उसके कमरे से दर्जनों शराब की बतलें बरामद हुईं हैं. पुलिस गिरफ्तार तस्करों से पूछताछ कर जानकारी जुटा रही है. पढ़ें पूरी खबर-

पटना
दो युवकों के कमरे से बरामद हुई दर्जनों बोतल शराब
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Published : Jun 6, 2022, 6:41 PM IST

पटना : बिहार में अवैध शराब की तस्करी (Illegal liquor smuggling in Bihar) पर रोक लगाने के लिए पुलिसिया कार्रवाई लगातार जारी रहती है. बावजूद इसके शराब तस्कर लगातार बिहार के साथ-साथ राजधानी पटना में शराब की तस्करी से बाज नहीं आ रहे हैं. इसी कड़ी में पटना के पीरबहोर थाना क्षेत्र के खजांची रोड स्थित अनुग्रह सेवा सदन नाम के एक मकान से शराब की बिक्री कर रहे दो युवकों को पुलिस ने गिरफ्तार किया है. गिरफ्तार युवकों के पास से पुलिस ने कई दर्जन अवैध अंग्रेजी शराब की खेप को भी बरामद किया है.

ये भी पढ़ें - शराबबंदी पर बोले मांझी- 'मेरे माता-पिता शराब पीते थे, घर में दारू बेची जाती थी लेकिन मैने छुई तक नहीं'



कमरे से मिली शराब की बोतलें: दरअसल, पीरबहोर थाना अध्यक्ष को गुप्त सूचना मिली कि पटना के जक्कनपुर थाना क्षेत्र के खजांची रोड स्थित अनुग्रह सेवा सदन में रहने वाले गोलू तिवारी नाम के युवक के साथ अवैध शराब का कारोबार कर रहा है. गुप्त सूचना के आधार पर पुलिस ने सूचना सत्यापित कर अनूपगढ़ सेवा सदन के उस कमरे में छापेमारी की जिस कमरे में गोलू तिवारी नाम का युवक कमरा लेकर रह रहा था. गोलू तिवारी के कमरे से पुलिस ने शराब की दर्जनों बोतलें बरामद की हैं. हालांकि, इस दौरान गोलू तिवारी के कमरे में मौजूद अन्य शराब तस्कर को भी पुलिस ने गिरफ्तार किया है.

'गुप्त सूचना के आधार पर जो पता बताया गया था उसपर पुलिस की टीम ने छापेमारी की तो कमरे से अवैध शराब की दर्जनों बोतलें बरामद हुईं हैं. पुलिस ने कमरे से ही दो तस्करों को पकड़ा है. दोनों पर मामला दर्ज कर कार्रवाई की जा रही है. आरोपियों से पूछताछ की जा रही. वो कैसे और कहां से शराब लाकर बेचते थे.'- सबीह उल हक, पीरबहोर थाना प्रभारी



बिहार में 2016 में की गई थी शराबबंदी : बता दें कि बिहार सरकार ने 2016 में शराबबंदी कानून लागू (liquor ban in Bihar) किया गया था. कानून के तहत शराब की बिक्री, पीने और बनाने पर प्रतिबंध है. शुरुआत में इस कानून के तहत संपत्ति कुर्क करने और उम्र कैद की सजा तक का प्रावधान था, लेकिन 2018 में संशोधन के बाद सजा में थोड़ी छूट दी गई थी. बिहार में शराबबंदी कानून लागू होने के बाद से बिहार पुलिस मुख्यालय के आंकड़ों के मुताबिक, अब तक मद्य निषेध कानून उल्लंघन से जुड़े करीब 3 लाख से ज्यादा मामले दर्ज हुए हैं.

अब जुर्माना देकर छूट जाएंगे शराबी : हालांकि, 6 साल बाद शराबबंदी कानून में समीक्षा के बाद बड़ा बदलाव (Changes In The Prohibition Law) किया गया है. जिसके बाद यदि को व्यक्ति पहली बार शराब पीते पकड़ा जाता है तो उसे जुर्माना लेकर छोड़ दिया जाएगा. लेकिन बार-बार पकड़ें जाने पर जेल और जुर्माना दोनों की सजा हो सकती है. पहली बार शराब पीते हुए पकड़े जाने वालों को कार्यकारी मजिस्ट्रेट के निर्णय के अनुसार 2,000 रुपये से 5,000 रुपये के बीच जुर्माना लेकर रिहा किया जाएगा. यदि पहली बार अपराध करने वाला व्यक्ति जुर्माना अदा करने में विफल रहता है तो उसे एक माह की कैद हो सकती है. अगर आप दूसरी बार शराब पीते पकड़े गए तो अनिवार्य रूप से एक वर्ष की जेल की सजा का प्रावधान किया गया है.

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पटना : बिहार में अवैध शराब की तस्करी (Illegal liquor smuggling in Bihar) पर रोक लगाने के लिए पुलिसिया कार्रवाई लगातार जारी रहती है. बावजूद इसके शराब तस्कर लगातार बिहार के साथ-साथ राजधानी पटना में शराब की तस्करी से बाज नहीं आ रहे हैं. इसी कड़ी में पटना के पीरबहोर थाना क्षेत्र के खजांची रोड स्थित अनुग्रह सेवा सदन नाम के एक मकान से शराब की बिक्री कर रहे दो युवकों को पुलिस ने गिरफ्तार किया है. गिरफ्तार युवकों के पास से पुलिस ने कई दर्जन अवैध अंग्रेजी शराब की खेप को भी बरामद किया है.

ये भी पढ़ें - शराबबंदी पर बोले मांझी- 'मेरे माता-पिता शराब पीते थे, घर में दारू बेची जाती थी लेकिन मैने छुई तक नहीं'



कमरे से मिली शराब की बोतलें: दरअसल, पीरबहोर थाना अध्यक्ष को गुप्त सूचना मिली कि पटना के जक्कनपुर थाना क्षेत्र के खजांची रोड स्थित अनुग्रह सेवा सदन में रहने वाले गोलू तिवारी नाम के युवक के साथ अवैध शराब का कारोबार कर रहा है. गुप्त सूचना के आधार पर पुलिस ने सूचना सत्यापित कर अनूपगढ़ सेवा सदन के उस कमरे में छापेमारी की जिस कमरे में गोलू तिवारी नाम का युवक कमरा लेकर रह रहा था. गोलू तिवारी के कमरे से पुलिस ने शराब की दर्जनों बोतलें बरामद की हैं. हालांकि, इस दौरान गोलू तिवारी के कमरे में मौजूद अन्य शराब तस्कर को भी पुलिस ने गिरफ्तार किया है.

'गुप्त सूचना के आधार पर जो पता बताया गया था उसपर पुलिस की टीम ने छापेमारी की तो कमरे से अवैध शराब की दर्जनों बोतलें बरामद हुईं हैं. पुलिस ने कमरे से ही दो तस्करों को पकड़ा है. दोनों पर मामला दर्ज कर कार्रवाई की जा रही है. आरोपियों से पूछताछ की जा रही. वो कैसे और कहां से शराब लाकर बेचते थे.'- सबीह उल हक, पीरबहोर थाना प्रभारी



बिहार में 2016 में की गई थी शराबबंदी : बता दें कि बिहार सरकार ने 2016 में शराबबंदी कानून लागू (liquor ban in Bihar) किया गया था. कानून के तहत शराब की बिक्री, पीने और बनाने पर प्रतिबंध है. शुरुआत में इस कानून के तहत संपत्ति कुर्क करने और उम्र कैद की सजा तक का प्रावधान था, लेकिन 2018 में संशोधन के बाद सजा में थोड़ी छूट दी गई थी. बिहार में शराबबंदी कानून लागू होने के बाद से बिहार पुलिस मुख्यालय के आंकड़ों के मुताबिक, अब तक मद्य निषेध कानून उल्लंघन से जुड़े करीब 3 लाख से ज्यादा मामले दर्ज हुए हैं.

अब जुर्माना देकर छूट जाएंगे शराबी : हालांकि, 6 साल बाद शराबबंदी कानून में समीक्षा के बाद बड़ा बदलाव (Changes In The Prohibition Law) किया गया है. जिसके बाद यदि को व्यक्ति पहली बार शराब पीते पकड़ा जाता है तो उसे जुर्माना लेकर छोड़ दिया जाएगा. लेकिन बार-बार पकड़ें जाने पर जेल और जुर्माना दोनों की सजा हो सकती है. पहली बार शराब पीते हुए पकड़े जाने वालों को कार्यकारी मजिस्ट्रेट के निर्णय के अनुसार 2,000 रुपये से 5,000 रुपये के बीच जुर्माना लेकर रिहा किया जाएगा. यदि पहली बार अपराध करने वाला व्यक्ति जुर्माना अदा करने में विफल रहता है तो उसे एक माह की कैद हो सकती है. अगर आप दूसरी बार शराब पीते पकड़े गए तो अनिवार्य रूप से एक वर्ष की जेल की सजा का प्रावधान किया गया है.

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