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पटना हाईकोर्ट में राजीवनगर नेपालीनगर क्षेत्र में अतिक्रमण मामले की सुनवाई अधूरी, 23 अगस्त को अगली सुनवाई - etv news

राजधानी पटना के राजीव नगर स्थित नेपाली नगर में अतिक्रमण हटाने के मामले की सुनवाई मंगलवार को पटना हाईकोर्ट में हुई. इस मामले पर फिर सुनवाई 23 अगस्त को होगी. पढ़ें पूरी खबर...

Encroachment Removal Campaign In Patna
Encroachment Removal Campaign In Patna
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Published : Aug 16, 2022, 8:30 PM IST

पटना: पटना हाईकोर्ट (Patna High Court) में पटना के राजीवनगर-नेपालीनगर क्षेत्र में अतिक्रमण (Encroachment Removal Campaign In Patna) हटाने के मामले पर सुनवाई अधूरी रही.जस्टिस संदीप कुमार इस मामले पर सुनवाई कर रहे हैं. कोर्ट में बिहार राज्य आवास बोर्ड की ओर से वरीय अधिवक्ता पी के शाही ने बहस की. उन्होंने कहा कि इस क्षेत्र में जो भी मकान बने है, उनका निर्माण वैध ढंग से नहीं किया गया है.

पढ़ें- राजीवनगर में अतिक्रमण हटाने पर HC में सुनवाई, सरकार ने कहा- कुछ लोग नए निर्माण करने लगे

राजीवनगर में अतिक्रमण हटाने पर HC में सुनवाई: उन्होंने कोर्ट को बताया कि आवास बोर्ड ने जो भी नियमों के उल्लंघन मकान बने हैं, उन्हें अपना पक्ष प्रस्तुत करने के लिए नोटिस जारी किया,लेकिन वे नहीं आवास बोर्ड के समक्ष नहीं आए. मंगलवार को कोर्ट द्वारा नियुक्त एमिकस क्यूरी संतोष कुमार सिंह ने कोर्ट के समक्ष बहस किया. उन्होंने कहा कि राजीवनगर ( Rajiv Nagar Encroachment) क्षेत्र में हटाने की कार्रवाई सही नहीं थी. नेपाली नगर ( Nepali Nagar Encroachment) में भी हटाने के पूर्व संचार माध्यमों से उन्हें नोटिस दे कर जानकारी देना चाहिए था.

एमिकस क्यूरी ने कोर्ट के समक्ष रखीं ये बातें : उन्होंने कहा कि नागरिकों को मनमाने ढंग से नहीं हटाया जा सकता है. उन्होंने कहा कि या तो उन्हें उचित मुआवजा दिया जाए या उनके लिए वैकल्पिक व्यवस्था की जानी चाहिए. इससे पूर्व की सुनवाई में राज्य सरकार की ओर से एडवोकेट जनरल ललित किशोर ने पक्ष प्रस्तुत करते हुए कोर्ट को बताया था कि ये मामला सुनवाई योग्य नहीं है. साथ ही उनका कोई कानूनी अधिकार नहीं बनता है.

23 अगस्त को मामले की सुनवाई: पिछली सुनवाई में याचिकाकर्ता का पक्ष प्रस्तुत करते हुए वरीय अधिवक्ता वसंत कुमार चौधरी ने कोर्ट को बताया था कि इस क्षेत्र से इस तरह से अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई सही नहीं है. उन्होंने कहा कि को-आपरेटिव माफिया के साथ सख्त कार्रवाई की जानी चाहिए, क्योंकि इस समस्या में इनकी भी बड़ी भागीदारी है. इस मामलें पर फिर सुनवाई 23 अगस्त, 2022 को होगी.

पटना में अतिक्रमण हटाओ अभियान: आपको बताएं कि पिछले दिनों राजीवनगर के लोगों ने बुलडोजर पर रोक लगाने की मांग को लेकर बिहार के पूर्व उपमुख्यमंत्री तारकिशोर प्रसाद के पटना स्थित आवास के बाहर प्रदर्शन भी किया था. इन प्रदर्शनकारियों में बड़ी संख्या में महिलाएं भी शामिल थीं. इनका कहना है कि पटना प्रशासन ने राजीव नगर के नेपाली नगर में 3 दर्जन से ज्यादा मकान को तोड़ने का आदेश जारी किया था. यहां लगभग 20 एकड़ भूमि को अधिग्रहित कर पटना उच्च न्यायालय के जजों के लिए आवास बनाया जाना है. सदर अंचलाधिकारी की ओर से 70 लोगों को नोटिस भेजा गया था. यह इलाका राजीव नगर थाने और कर्पूरी भवन के पीछे वाला इलाका है. इससे पहले नेपाली नगर के घुड़दौड़ रोड में सीआईएसएफ के कैंप कार्यालय, सीबीएसई के लिए भूमि अधिग्रहित की गई थी. इस दौरान इस इलाके में स्थानीय लोगों और पुलिस प्रशासन के बीच हंगामा हुआ था.

पटना: पटना हाईकोर्ट (Patna High Court) में पटना के राजीवनगर-नेपालीनगर क्षेत्र में अतिक्रमण (Encroachment Removal Campaign In Patna) हटाने के मामले पर सुनवाई अधूरी रही.जस्टिस संदीप कुमार इस मामले पर सुनवाई कर रहे हैं. कोर्ट में बिहार राज्य आवास बोर्ड की ओर से वरीय अधिवक्ता पी के शाही ने बहस की. उन्होंने कहा कि इस क्षेत्र में जो भी मकान बने है, उनका निर्माण वैध ढंग से नहीं किया गया है.

पढ़ें- राजीवनगर में अतिक्रमण हटाने पर HC में सुनवाई, सरकार ने कहा- कुछ लोग नए निर्माण करने लगे

राजीवनगर में अतिक्रमण हटाने पर HC में सुनवाई: उन्होंने कोर्ट को बताया कि आवास बोर्ड ने जो भी नियमों के उल्लंघन मकान बने हैं, उन्हें अपना पक्ष प्रस्तुत करने के लिए नोटिस जारी किया,लेकिन वे नहीं आवास बोर्ड के समक्ष नहीं आए. मंगलवार को कोर्ट द्वारा नियुक्त एमिकस क्यूरी संतोष कुमार सिंह ने कोर्ट के समक्ष बहस किया. उन्होंने कहा कि राजीवनगर ( Rajiv Nagar Encroachment) क्षेत्र में हटाने की कार्रवाई सही नहीं थी. नेपाली नगर ( Nepali Nagar Encroachment) में भी हटाने के पूर्व संचार माध्यमों से उन्हें नोटिस दे कर जानकारी देना चाहिए था.

एमिकस क्यूरी ने कोर्ट के समक्ष रखीं ये बातें : उन्होंने कहा कि नागरिकों को मनमाने ढंग से नहीं हटाया जा सकता है. उन्होंने कहा कि या तो उन्हें उचित मुआवजा दिया जाए या उनके लिए वैकल्पिक व्यवस्था की जानी चाहिए. इससे पूर्व की सुनवाई में राज्य सरकार की ओर से एडवोकेट जनरल ललित किशोर ने पक्ष प्रस्तुत करते हुए कोर्ट को बताया था कि ये मामला सुनवाई योग्य नहीं है. साथ ही उनका कोई कानूनी अधिकार नहीं बनता है.

23 अगस्त को मामले की सुनवाई: पिछली सुनवाई में याचिकाकर्ता का पक्ष प्रस्तुत करते हुए वरीय अधिवक्ता वसंत कुमार चौधरी ने कोर्ट को बताया था कि इस क्षेत्र से इस तरह से अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई सही नहीं है. उन्होंने कहा कि को-आपरेटिव माफिया के साथ सख्त कार्रवाई की जानी चाहिए, क्योंकि इस समस्या में इनकी भी बड़ी भागीदारी है. इस मामलें पर फिर सुनवाई 23 अगस्त, 2022 को होगी.

पटना में अतिक्रमण हटाओ अभियान: आपको बताएं कि पिछले दिनों राजीवनगर के लोगों ने बुलडोजर पर रोक लगाने की मांग को लेकर बिहार के पूर्व उपमुख्यमंत्री तारकिशोर प्रसाद के पटना स्थित आवास के बाहर प्रदर्शन भी किया था. इन प्रदर्शनकारियों में बड़ी संख्या में महिलाएं भी शामिल थीं. इनका कहना है कि पटना प्रशासन ने राजीव नगर के नेपाली नगर में 3 दर्जन से ज्यादा मकान को तोड़ने का आदेश जारी किया था. यहां लगभग 20 एकड़ भूमि को अधिग्रहित कर पटना उच्च न्यायालय के जजों के लिए आवास बनाया जाना है. सदर अंचलाधिकारी की ओर से 70 लोगों को नोटिस भेजा गया था. यह इलाका राजीव नगर थाने और कर्पूरी भवन के पीछे वाला इलाका है. इससे पहले नेपाली नगर के घुड़दौड़ रोड में सीआईएसएफ के कैंप कार्यालय, सीबीएसई के लिए भूमि अधिग्रहित की गई थी. इस दौरान इस इलाके में स्थानीय लोगों और पुलिस प्रशासन के बीच हंगामा हुआ था.

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