पटना : बिहार में बीपीएससी की ओर से शिक्षक भर्ती परीक्षा का रिजल्ट जारी कर दिया गया है. इस बाद अब सरकार सफल अभ्यर्थियों को गांधी मैदान में नियुक्ति पत्र बांटने की तैयारी में है. अब इस पर बीजेपी ने सवाल खड़ा कर दिया है. बीजेपी ने रोजगार के नाम पर घोटाला का आरोप लगाया है. मालूम हो कि तेजस्वी यादव ने 10 लाख युवाओं को सरकारी नौकरी देने का वादा किया था. बाद में नीतीश कुमार ने आंकड़े को बढ़ाकर 20 लाख कर दिया था और दावा किया था कि 20 लाख युवाओं को रोजगार दिया जाएगा.
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2 नवंबर को गांधी मैदान में वितरित होगा नियुक्ति पत्र : 2 नवंबर को पटना के ऐतिहासिक गांधी मैदान में महागठबंधन सरकार युवाओं को नियुक्ति पत्र वितरित करेगी. 120000 से अधिक युवाओं को नियुक्ति पत्र बांटा जाएगा. इसकी तैयारी भी सरकारी स्तर पर शुरू हो गई है.आपको बता दें कि शिक्षक नियुक्ति की प्रक्रिया चल रही है और 120000 से ज्यादा अभ्यर्थी उत्तीर्ण हो चुके हैं. अब इस पर भाजपा ने सरकार की नीति पर सवाल खड़े किए हैं. भाजपा प्रवक्ता अरविंद सिंह ने कहा है कि बिहार में रोजगार के नाम पर राजनीति हो रही है.
"20 लाख में सिर्फ एक लाख युवाओं को गांधी मैदान में नियुक्ति पत्र सरकार की ओर से बांटा जाना, ऊंट के मुहं में जीरा की तरह है. बिहार में असंख्य बेरोजगारों की फौज क्राइम की ओर अग्रसर है, उन्हें अगर नौकरी मिल जाती तो क्राइम नहीं होता."- अरविंद सिंह, प्रवक्ता, बीजेपी
'सरकार नौकरी घोटाला कर रही है' : अरविंद सिंह ने कहा कि जितना दावा किया जा रहा है. उतने युवाओं को सरकारी नौकरी नहीं मिल रही है, जो भर्ती बिहार में इन दिनों चल रही है, उसमें बड़े पैमाने पर घोटाला हो रहा है. तेजस्वी यादव ने 20 लाख युवाओं को रोजगार देने का वादा किया था, लेकिन एक लाख युवाओं को ही नियुक्ति पत्र बताकर सरकार अपना पीठ थपथपा रही है. निष्पक्ष तौर पर अगर नियुक्ति प्रक्रिया की जांच हो जाएगी तो बड़ा घोटाला सामने आएगा. कम अंक वाला को नौकरी मिला है और ज्यादा अंक वाला घूम रहा है.