ETV Bharat / state

सरकारी स्कूलों के नये प्राइमरी टीचर्स को मिलेगा इतना वेतन, कैसे होगा गुजारा!

author img

By

Published : Feb 19, 2022, 8:53 PM IST

बिहार में शिक्षा विभाग (Bihar Education Department) ने 42 हजार शिक्षकों को 23 फरवरी को नियुक्ति पत्र देने के साथ ही ज्वाइन करने का एलान कर दिया है. लेकिन, बिहार में शिक्षकों की सैलरी बहुत कम है. ऐसे में इतनी कम सैलरी में इन शिक्षकों का गुजारा कैसे होगा, ये बड़ा सवाल है.

बिहार में शिक्षकों की सैलरी बहुत कम
बिहार में शिक्षकों की सैलरी बहुत कम

पटना: बिहार में लगभग 42 हजार चयनित अभ्यर्थियों को 23 फरवरी से नियुक्ति पत्र (Appointment letter to 42 thousand teachers on 23 February) मिलेगा और स्कूल में योगदान के बाद वह सरकारी प्राइमरी टीचर बन जाएंगे. इन नए शिक्षकों को 15% वेतन वृद्धि के बाद 5200 स्केल के बेसिक स्लैब में नियुक्त किया जाएगा, जिसमें उनका मेल मूल वेतन 15,380 रुपए होगा. इसमें डीए, मेडिकल और एचआरए जोड़कर भी शिक्षकों को कुल लगभग 19,963 रुपए (Bihar newly appointed Teachers Salary) मिलेंगे. अब सवाल ये है कि इस छोटे से अमाउंट में शिक्षकों का काम चल पाएगा.

ये भी पढ़ें- Good News: प्राथमिक और मध्य विद्यालयों के 66104 शिक्षकों के लिए वेतन की राशि जारी


बिहार में शिक्षकों का वर्तमान सैलरी स्ट्रक्चर (Present Salary Structure of Teachers in Bihar) के मुताबिक नवनियुक्त शिक्षकों का मूल वेतन 15,380 रुपए होगा और अन्य भत्तों को जोड़कर कुल सैलरी 19,963 रुपए बनेगी. यानी 1800 रुपए ईपीएफ के मद में काटने के बाद शिक्षकों के अकाउंट में केवल 19,963 रुपए ही आएंगे. इस बारे में हमने नए नियुक्त होने वाले शिक्षकों से भी बात की.

भोजपुर जिले में नगर प्रारंभिक शिक्षक के पद पर ज्वाइन करने के लिए तैयार आशा कुमारी ने बताया कि ''हम लोग प्रशिक्षित शिक्षक हैं. फिर भी हमें 2 साल तक इसी सैलरी पर काम करना होगा. सरकार को इस बारे में सोचना चाहिए कि इतने कम पैसे में शिक्षक कैसे काम कर पाएंगे. खासकर तब जब ज्यादातर शिक्षकों का चयन उनके गृह जिले में नहीं होकर किसी और जिले में हुआ है.''

शिक्षक नेता आशीष कुमार सिंह ने कहा कि ''इस बारे में सबसे महत्वपूर्ण विषय है कि नए ज्वाइन करने वाले शिक्षकों को प्रशिक्षित होने के बावजूद अनट्रेंड की तरह 2 साल तक वेतन दिया जाता है और उसके बाद उन्हें ग्रेड-पे में शामिल किया जाता है, जिसके कारण वो अत्यंत कम वेतन पर काम करने को मजबूर होते हैं.''

इस बारे में अखिल भारतीय शैक्षिक परिषद के राष्ट्रीय सचिव शैलेंद्र कुमार शर्मा ने ईटीवी भारत को बताया कि ''जो बहालियां अब हो रही है. उसमें सरकार मेरिटोरियस लोगों को ही मौका दे रही है, जो पूरी तरह प्रशिक्षित हैं. ऐसे में अगर उन्हें 2 साल तक किसी वजह से ग्रेड पे नहीं मिलता है, तो यह उनके साथ क्रूर मजाक है.''

बता दें कि 23 फरवरी से बिहार में करीब 42 हजार चयनित शिक्षक अभ्यर्थियों को नियुक्ति पत्र मिलेगा. जिन्हें विभिन्न नियोजन इकाइयों में अवस्थित स्कूलों में योगदान देना होगा. योगदान के बाद जिन शिक्षकों के सर्टिफिकेट सही पाए गए हैं, उन्हें वेतन मिलना भी शुरू हो जाएगा. लेकिन, जिन शिक्षकों के सर्टिफिकेट का वेरिफिकेशन नहीं हो पाया है, उन्हें सर्टिफिकेट वेरीफिकेशन के बाद ही वेतन मिलेगा. यह वेतन इतना कम होगा कि उनके लिए घर से दूर रहकर खासी मुश्किलों का सामना करना पड़ेगा.

ये भी पढ़ें- बड़ी खबर: BTet, CTet प्रमाण पत्र के आधार पर ही प्राथमिक शिक्षकों को मिलेगा नियुक्ति पत्र

विश्वसनीय खबरों को देखने के लिए डाउनलोड करें ETV BHARAT APP

पटना: बिहार में लगभग 42 हजार चयनित अभ्यर्थियों को 23 फरवरी से नियुक्ति पत्र (Appointment letter to 42 thousand teachers on 23 February) मिलेगा और स्कूल में योगदान के बाद वह सरकारी प्राइमरी टीचर बन जाएंगे. इन नए शिक्षकों को 15% वेतन वृद्धि के बाद 5200 स्केल के बेसिक स्लैब में नियुक्त किया जाएगा, जिसमें उनका मेल मूल वेतन 15,380 रुपए होगा. इसमें डीए, मेडिकल और एचआरए जोड़कर भी शिक्षकों को कुल लगभग 19,963 रुपए (Bihar newly appointed Teachers Salary) मिलेंगे. अब सवाल ये है कि इस छोटे से अमाउंट में शिक्षकों का काम चल पाएगा.

ये भी पढ़ें- Good News: प्राथमिक और मध्य विद्यालयों के 66104 शिक्षकों के लिए वेतन की राशि जारी


बिहार में शिक्षकों का वर्तमान सैलरी स्ट्रक्चर (Present Salary Structure of Teachers in Bihar) के मुताबिक नवनियुक्त शिक्षकों का मूल वेतन 15,380 रुपए होगा और अन्य भत्तों को जोड़कर कुल सैलरी 19,963 रुपए बनेगी. यानी 1800 रुपए ईपीएफ के मद में काटने के बाद शिक्षकों के अकाउंट में केवल 19,963 रुपए ही आएंगे. इस बारे में हमने नए नियुक्त होने वाले शिक्षकों से भी बात की.

भोजपुर जिले में नगर प्रारंभिक शिक्षक के पद पर ज्वाइन करने के लिए तैयार आशा कुमारी ने बताया कि ''हम लोग प्रशिक्षित शिक्षक हैं. फिर भी हमें 2 साल तक इसी सैलरी पर काम करना होगा. सरकार को इस बारे में सोचना चाहिए कि इतने कम पैसे में शिक्षक कैसे काम कर पाएंगे. खासकर तब जब ज्यादातर शिक्षकों का चयन उनके गृह जिले में नहीं होकर किसी और जिले में हुआ है.''

शिक्षक नेता आशीष कुमार सिंह ने कहा कि ''इस बारे में सबसे महत्वपूर्ण विषय है कि नए ज्वाइन करने वाले शिक्षकों को प्रशिक्षित होने के बावजूद अनट्रेंड की तरह 2 साल तक वेतन दिया जाता है और उसके बाद उन्हें ग्रेड-पे में शामिल किया जाता है, जिसके कारण वो अत्यंत कम वेतन पर काम करने को मजबूर होते हैं.''

इस बारे में अखिल भारतीय शैक्षिक परिषद के राष्ट्रीय सचिव शैलेंद्र कुमार शर्मा ने ईटीवी भारत को बताया कि ''जो बहालियां अब हो रही है. उसमें सरकार मेरिटोरियस लोगों को ही मौका दे रही है, जो पूरी तरह प्रशिक्षित हैं. ऐसे में अगर उन्हें 2 साल तक किसी वजह से ग्रेड पे नहीं मिलता है, तो यह उनके साथ क्रूर मजाक है.''

बता दें कि 23 फरवरी से बिहार में करीब 42 हजार चयनित शिक्षक अभ्यर्थियों को नियुक्ति पत्र मिलेगा. जिन्हें विभिन्न नियोजन इकाइयों में अवस्थित स्कूलों में योगदान देना होगा. योगदान के बाद जिन शिक्षकों के सर्टिफिकेट सही पाए गए हैं, उन्हें वेतन मिलना भी शुरू हो जाएगा. लेकिन, जिन शिक्षकों के सर्टिफिकेट का वेरिफिकेशन नहीं हो पाया है, उन्हें सर्टिफिकेट वेरीफिकेशन के बाद ही वेतन मिलेगा. यह वेतन इतना कम होगा कि उनके लिए घर से दूर रहकर खासी मुश्किलों का सामना करना पड़ेगा.

ये भी पढ़ें- बड़ी खबर: BTet, CTet प्रमाण पत्र के आधार पर ही प्राथमिक शिक्षकों को मिलेगा नियुक्ति पत्र

विश्वसनीय खबरों को देखने के लिए डाउनलोड करें ETV BHARAT APP

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.