पटना: बिहार में कोरोना संक्रमण के मामले बढ़ते जा रहे हैं. बीते 24 घंटे में प्रदेश में संक्रमण के 52 नए मामले मिले हैं, इनमें सर्वाधिक पटना के 29 हैं. इसी के साथ प्रदेश में एक्टिव मरीजों की संख्या बढ़कर 214 हो गई है, जिसमें पटना की 114 एक्टिव मरीज हैं. पटना में मिले 29 नए मामले में एनएमसीएच के दो चिकित्सक शामिल हैं. अब तक आधे दर्जन से अधिक चिकित्सक बीते 10 दिनों में संक्रमण की चपेट में आ चुके हैं. इसके अलावा दर्जन भर से अधिक स्वास्थ्य कर्मी भी संक्रमण की गिरफ्त में हैं.
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कोरोना मरीजों की संख्या में बढ़ोतरी: संक्रमण के मामले प्रदेश में बहुत तेजी से बढ़ रहे हैं. इसका अंदाजा संक्रमण के आंकड़ों से लगाया जा सकता है कि बीते 5 अप्रैल से 11 अप्रैल तक एक सप्ताह के दौरान पूरे प्रदेश में संक्रमण के 236 नए मामले मिले हैं, जिसमें पटना के 134 मामले हैं. 5 अप्रैल को बिहार में 21 मरीज मिले, जिनमें 18 पटना के थे. 6 अप्रैल को 17 केस आए, जिनमें 12 पटना से थे. 7 अप्रैल को 20 केस में 11 पटना जिले से आए. 8 अप्रैल को राज्य में 46 संक्रमित पाए गए, जिनमें से पटना से 28 पॉजिटिव मिले. 9 अप्रैल को 42 में से 14 पटना से मिले. वहीं 10 अप्रैल को 38 में से 12 मरीज पटना के थे, जबकि 11 अप्रैल को 52 केस में 29 केवल पटना जिले से सामने आए.
लक्षण दिखने पर कोरोना जांच जरूर करवाएं: आईजीआईएमएस के इमरजेंसी विभाग के विभागाध्यक्ष प्रो डॉ पीके झा ने बताया कि संक्रमण के मामले जिस प्रकार से तेजी से बढ़ रहे हैं, सभी को मास्क जरूर पहनना चाहिए. उन्होंने कहा कि मास्क पहनने से कोरोना से बचाव तो होगा ही, साथ ही साथ प्रदूषण से संबंधित विभिन्न बीमारियों से भी बचाव होगा, क्योंकि इन दिनों प्रदूषण भी बढ़ा हुआ है. हालांकि उन्होंने कहा कि अभी जो कोरोना संक्रमण का नया मामला है, वह उतना घातक नहीं है लेकिन संक्रमण तेजी से फैल सकता है. यह हृदय, किडनी, लीवर संबंधित गंभीर रोगों अथवा कोमोरबिडिटी से जूझ रहे हैं तो उनके लिए यह संक्रमण जानलेवा भी हो सकता है.
"यदि किसी को संक्रमण से संबंधित कोई लक्षण महसूस होते हैं तो नजदीकी स्वास्थ्य केंद्र पर जाकर अपना जांच कराएं और जब तक रिपोर्ट नहीं आती है तब तक आइसोलेटेड रहें. कोरोना से बचाव के लिए वैक्सीनेशन बेहद कारगर है और जब से वैक्सीनेशन अभियान शुरू हुआ है, तब से अस्पताल में वैक्सीनेशन चल रहा है. हम सब को कोरोना गाइड लाइन का पालन करना चाहिए"- डॉ. पीके झा, विभागाध्यक्ष, आईजीआईएमएस के इमरजेंसी विभाग