मुजफ्फरपुर: एसकेएमसीएच में चमकी बुखार से पीड़ित बच्चों का इलाज चल रहा है. बच्चों का हाल जानने कई नेता और अभिनेता पहुंच रहे हैं जो अस्पताल की मुश्किलें और ज्यादा बढ़ा रहे हैं. इन परेशानियों को देखते हुए मुजफ्फरपुर के एसएसपी ने कहा है कि किसी को भी अस्पताल निरीक्षण के लिए अब अस्पताल अधीक्षक से अनुमति लेना अनिवार्य होगा.
गौरतलब है कि भोजपुरी फिल्मों के अभिनेता खेसारी लाल यादव बीमार बच्चों को देखने अस्पताल पहुंचे थे. इस दौरान वहां काफी भीड़ जमा हो गयी थी. इसके चलते एसकेएमसीएच में एईएस पीड़ितों और परिजनों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ा था. वहां अफरा-तफरी का महौल बन गया था.
अस्पताल अधीक्षक से निरीक्षण की अनुमति जरूरी
इसे देखते हुए मुजफ्फरपुर एसएसपी मनोज कुमार ने बताया कि बीते कुछ दिनों से कई सामाजिक संगठन सहित कई विशिष्ट व्यक्तियों के आवागमन से एसकेएमसीएच में मरीजों को काफी कठिनाई का सामना करना पड़ रहा है. इसी कारण निर्णय लिया गया है कि अब कोई भी व्यक्ति या संगठन सर्वप्रथम अस्पताल अधीक्षक से निरीक्षण की अनुमति लेंगे.
वरीय अधिकारी को कैंप करने का निर्देश
अस्पताल में विधि व्यवस्था को लेकर एसएसपी ने कहा कि लगातार बढ़ती मरीजों कि भीड़ से एम्बुलेंस भी फंस जा रही है. साथ ही लोगों को भी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. इसको देखते हुए मुजफ्फरपुर पुलिस की ओर से ट्रैफिक जवानों की नियुक्ति की गई है. विधि व्यवस्था और मरीजों की सुविधा को ध्यान में रखते हुए मुजफ्फरपुर पुलिस के जवान भी एसकेएमसीएच के गार्डों के साथ काम करेंगे. साथ ही उन्होंने एसकेएमसीएच में एक वरीय अधिकारी को भी कैंप करने का निर्देश दिया है.
'भीड़ की रोकथाम का काम प्रशासन का'
अस्पताल अधीक्षक सुनील शाही ने कहा कि हमलोग मरीजों का इलाज कर रहे हैं. यहां 402 मरीजों को इलाज के लिए भर्ती किया गया था. इसमें से 162 रोगी ठीक होकर घर वापस जा चुके हैं. उन्होंने कहा कि किसी नेता, अभिनेता या किसी टीवी के रिर्पोटर के आने से यहां भीड़ हो जाती है. इससे काफी परेशानी होती है. उन्होंने कहा कि अस्पताल में बेतहाशा भीड़ बढ़ने से दहशत का महौल कायम हो जाता है. इसको रोकना प्रशासन का काम है. हमलोग सिर्फ इलाज कर सकते हैं. अधीक्षक ने आरोप लगाते हुए कहा कि जिसे इस बिमारी के बारे में कुछ भी ज्ञान नहीं है, वह भी सवाल कर रहे हैं.