मुजफ्फरपुर: जिले के समाहरणालय कैंपस में एकता परिषद ने धरना प्रदर्शन किया. जिसमें प्रशासन से आवास के लिए जमीन और रोजगार की मांग की गई. धरना में सैकड़ों की संख्या में महिलाएं एवं पुरुष शामिल हुए.
जमीन मुहैया कराने का दिया था आश्वासन
दरअसल मामला यह है कि बीते दो-तीन सालों में लोगों ने हजारों की संख्या में जमीन मुहैया कराने के लिए आवेदन दिया. कुछ दिन पहले सीओ ने लोगो के बीच आकर आश्वासन भी दिए थे कि जल्द लोगों को 5 डेसीमल जमीन मुहैया कराया जाएगा. लेकिन आजतक न ही जमीन मुहैया कराया गया और न ही सर्वेक्षण का काम किया गया. जिसको लेकर स्थानीय में काफी गुस्सा देखने को मिल रहा है.
- आवासीय भूमिहीनों के लिए 10 डेसीमल भूमि देने का कानून बने.
- कार्य के लिए प्रखंड स्तर पर विशेष टास्क फोर्स का गठन किया जाए
- गांव के प्रत्येक टोला के आवासीय भूमिहीनों का सर्वे कराया जाए.
- सर्वेक्षित भूमिहीनों के लिए प्रशासन अपने स्तर से भूमि की खरीददारी करे.
70 प्रतिशत स्थानीय लोगों को मिले रोजगार
वहीं एकता परिषद् के सदस्य प्रदीन परिदर्शी का कहना है कि बेरोजगार युवक व युवतियों के काम के लिए मूल अधिकार का कानून बनाया जाए. हाइवे किनारे स्थित कंपनी में 70 प्रतिशत स्थानीय लोगों को नौकरी दिया जाए.