कुरुक्षेत्र/मुजफ्फरपुर: सोमवार रात लाडवा के बडशामी गांव में 90 से ज्यादा मजदूरों को ले जा रही डबल डेकर बस पलट गई. हादसे में 35 लोगों को चोटें आई हैं. जिनमें से कुछ लोगों को तो प्राथमिक उपचार के बाद छुट्टी मिल गई, लेकिन 24 यात्रियों को कुरुक्षेत्र के सरकारी अस्पताल रेफर किया गया है. जिनमें से 4 लोगों की हालत गंभीर बताई जा रही है.
ये बस यमुनानगर से बिहार के मुज्जफरपुर जा रही थी, लेकिन रास्ते में लाडवा के पास हादसे का शिकार हो गई. यात्रियों का आरोप है कि बस का ड्राइवर नशे में धुत था और वो बस काफी तेज चला रहा था.
बस में सवार थे 90 से ज्यादा यात्री
कोरोना के संक्रमण को देखते हुए बस में एक-एक सीट छोड़कर यात्रियों को बैठाने के आदेश हैं, लेकिन इस बस में हर एक सीट पर यात्रियों को बैठाया गया था. यहां तक किसी महामारी के इस दौर में भी डबल डेकर बर पूरी तरह से भरी थी.
हादसे में घायल हुई महिला ने बताया कि कोविड-19 की गाइडलाइन के अनुसार एक सीट पर एक ही यात्री को बैठाया जाता है, लेकिन एक सीट पर चार-चार लोगों को बैठाया गया था. महिला ने बताया कि बस में करीब 90 से ज्यादा यात्री सवार थे.
लाडवा के सरकारी अस्पताल में भर्ती घायल महिला सुशीला देवी ने बताया कि वो अपने पति के साथ पटियाला से आई थी. वो इस बस से यूपी के गोरखपुर की ओर जा रही थी. घायल महिला ने बताया कि हादसे में उसका पति भी घायल हुआ है. बस के नीचे दब जाने से उसके पति की भी टांग टूटी है.
ताक पर नियम
नियमानुसार इस समय सोशल डिस्टेंसिंग जरूरी है. भले ही देश में कहीं पर जाने पर रोक नहीं है, लेकिन इस तरह से बस में क्षमता से ज्यादा लोगों का बैठना भी गलत है. यमुनानगर से चली इस बस को कहीं पर रोक कर किसी भी विभाग के अधिकारी ने चेक नहीं किया. इसमें बड़ी लापरवाही आरटीए ऑफिस की टीम की भी सामने आ रही है, क्योंकि आरटीए ऑफिस की टीम को इस तरह की ट्रैवल एजेंसी की बसों पर नजर रखनी होती है.