जमुई: कोरोना वायरस संक्रमण के खतरे को देखते हुए जारी लॉकडाउन की वजह से जहां एक ओर आमलोग परेशान हैं. वहीं, इसका असर नक्सली संगठनों पर भी पड़ रहा है. सूत्रों के मुताबिक नक्सली संगठनों को लेवी नहीं मिलने के कारण अब उन्होंने संवेदकों को फोन कर राशन और रुपये की मांग शुरू की है.
कुछ दिन पहले ही पूर्वी बिहार पूर्वोत्तर झारखंड स्पेशल एरिया कमेटी के शीर्ष नक्सली नेताओं की ओर से जमुई, लखीसराय, मुंगेर, पटना और रांची सहित कई बड़े संवेदक को फोन कर राशन और रुपयों की मांग की गई है. सूत्रों के मुताबिक पहले उन्होंने रुपये और राशन देने से मना कर दिया. इसके बाद नक्सलियों ने फिर से रुपयों की मांग की है.
क्या कहते हैं सूत्र?
बताया जाता है कि राशन की कमी के कारण कई सदस्य सुरक्षा बलों की ओर से दिए जा रहे राशन सामग्री को संगठनों तक पहुंचा रहे है. सूत्र ये भी बताते हैं कि कुछ दिन पहले ही जमुई, लखीसराय और मुंगेर सीमा रेखा के जंगली इलाकों में सुरक्षा बलों की मदद से जरूरतमंदों के बीच चावल, दाल, आलू और प्याज सहित राशन सामग्री का वितरण किया गया. जिसमें कई दस्ते में चलने वाले नक्सली भी शामिल थे. इससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि लॉकडाउन के कारण नक्सली संगठनों को भी काफी परेशानी हो रही है.
संवेदकों से कर रहे रुपये की मांग
वहीं, डीआईजी मनु महाराज ने बताया कि नक्सलियों के हर एक गतिविधियों पर नजर रखा जा रही है. कार्रवाई की जाएगी. उन्होंने कहा कि पुलिस हरेक पहलू पर जांच कर रही है. सूत्रों के मुताबिक नक्सली संगठन सड़क निर्माण या फिर किसी भी अन्य सरकरी कार्यों से लेवी का रकम वसूल कर अपना गुजारा करते थे. लेकिन, लॉकडाउन के कारण बंदी से नक्सली अन्य जिलों और शहरों के संवेदकों को फोन कर राशन और रुपये की मांग कर रहे हैं.