गयाः बिहार अग्निशमन सेवा में अग्निक (सिपाही) के पद पर नियुक्ति के लिए रविवार को आयोजित परीक्षा का प्रश्नपत्र गया में पहले से ही लीक था. इसका खुलासा तब हुआ, जब महावीर स्कूल सेंटर में दाखिल होते ही परिक्षार्थियों के मोबाइल की जांच की गई. मोबाइल में प्रश्न पत्र से मिलता-जुलता एक पेपर सेट मिला. मामले की जानकारी कोतवाली थाना पुलिस (Kotwali Thana Police) को दी गई, जिसके बाद पुलिस ने सेंटर पर पहुंचकर तीन परिक्षार्थियों (Candidates Arrested For Cheating In Constable Exam In gaya) को गिरफ्तार कर लिया.
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तीनों परिक्षार्थियों से हुई पूछताछः इस संबंध में कोतवाली थानाध्यक्ष कुमार कौशलेन्द्र अकेला ने बताया कि प्रश्नपत्र लीक होने का मामला सामने आया है. इस संबंध में तीन लोगों को पकड़ा गया है. पूरी छानबीन की जा रही है. पकड़ाए परिक्षार्थियों में एक वजीरगंज, एक बोधगया और एक मानपुर का रहने वाला है. थानाध्यक्ष ने बताया कि फिलहाल इस मामले का मास्टरमाइंड अमोल कुमार चुलाई बिगहा वजीरगंज प्रतीत हो रहा है. उक्त परिक्षार्थियों को महावीर स्कूल से पकड़ा गया है, जिनसे पूछताछ जारी है.
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ब्लूटूथ से परीक्षा दे रहा परीक्षार्थी गिरफ्तारः इधर, चंदौती थाना पुलिस ने भी ब्लूटूथ से परीक्षा देने के आरोप में कांता कॉलेज से एक परीक्षार्थी को गिरफ्तार किया. चंदौती के थानाध्यक्ष मोहन कुमार सिंह ने बताया कि कांता कॉलेज से एक को पकड़ा गया है, जिसका नाम दिनेश यादव है. यह फतेहपुर का रहने वाला है. जो ब्लूटूथ की मदद से अग्निशमन सिपाही की परीक्षा देने के दौरान इसे पकड़ा गया है.
सिस्टम पर सवालः गया में परिक्षार्थी के मोबाइल में प्रश्नपत्र लीक होने का मामले सामने आने के बाद एक बार फिर सिस्टम पर सवाल उठने लगे हैं. आखिर इस तरह की हिमाकत कहां से हो रही है, इसका खुलासा होना जरूरी है. वैसे बता दें, कि आए दिन इस तरह से प्रश्नपत्र लीक होने के मामले मिलते रहे हैं. अग्निशमन सिपाही की परीक्षा में 'लीक' शब्द के शामिल होने के बाद सिस्टम पर सवाल उठना लाजिमी हैं.
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