मोतिहारीः मुजफ्फरपुर से सुगौली रेलखंड के दोहरीकरण कार्य में बलुआ टाल के पास भूमि अधिग्रहण की प्रक्रिया में कई अड़चनें आ रही है. दोहरीकरण के लिए चिह्नित रैयती भूमि पर पहले से घर बनाकर रह रहे लोग अपनी जमीन छोड़ने को तैयार नहीं हैं. इसको लेकर सोमवार को मोतिहारी में जन सुनवाई का आयोजन किया गया. जिसमें अधिकारियों ने लोगों की बातों को सुना और उनके बयान को दर्ज किया गया.
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मोतिहारी में जनसुनवाई: जन सुनवाई का आयोजन राजकीय उत्क्रमित मध्य विद्यालय महावीर ललिता स्कूल में की गई. जिसमें अनुग्रह नारायण सिंह पटना द्वारा गठित टीम जन सुनवाई के लिए आई थी.जनसुनवाई में शामिल जमीन मालिकों का कहना है कि जिस जमीन के अधिग्रहण की बात सरकार कह रही है. उस जमीन पर हमलोगों का परिवार सौ वर्षों से अधिक समय से रह रहे हैं. हमलोग गरीब लोग हैं. हमलोगों के रहने का यही एक आसरा है. जिसे सरकार ले लेगी, तो हम कहां जायेंगे. हमलोग अपना जमीन नहीं छोड़ेंगे.
मोतिहारी में रेलवे लाइन का दोहरीकरण: दरअसल, बापूधाम मोतिहारी रेलवे स्टेशन को अमृत स्टेशन की सूची में जगह मिली है. जिसे एयरपोर्ट की तरह विकसित किया जाना है. इसको लेकर मुजफ्फरपुर-सुगौली रेलवे लाइन के दोहरीकरण का कार्य काफी तेज गति चल रही है. रेल लाइन दोहरीकरण का कार्य को लेकर बलुआ में जमीन अधिग्रहण में अड़चन आ गई है. जमीन मालिक जमीन छोड़ने को तैयार नहीं हैं. लगभग 100 लोग हैं. जिनका मकान दोहरीकरण के लिए चिह्नित भूमि के अंदर आ रही है. जमीन मालिकों ने डीएम को भी ज्ञापन देकर अपनी समस्या बतायी थी. जिसको लेकर डीएम ने जन सुनवाई आयोजित करने के नोटिफिकेशन जारी की थी. जिस नोटिफिकेशन के आधार पर सोमवार को जनसुनवाई का आयोजन किया गया.
"मुजफ्फरपुर-सुगौली रेल लाइन दोहरीकरण प्रोजेक्ट में मोतिहारी अंचल के बलुआ टाल थाना नंबर 105 में जमीन अधिग्रहण को लेकर जन सुनवाई की गई. पूर्वी चंपारण के डीएम ने नोटिफिकेशन के माध्यम से जनसुवाई के लिए आज की तिथि निर्धारित की थी. जनसुनवाई में लोगों की अपेक्षाओं और आकांक्षाओं सुनने समझने आए हैं, ताकि इनकी बातों को सरकार तक पहुंचाया जा सके.रेल लाइन दोहरीकरण एक तकनीकि मामला है. इसमें जमीनी हकीकत सरकार की आवश्यकताओं और विकास के परिपेक्ष्य को देखते हुए अपना सुझाव सरकार को देंगे. आगे सरकार इसपर अपना निर्णय लेगी." -डॉ. कौशल किशोर, प्रोजेक्ट डायरेक्टर