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सात महीने की बेटी को ले ट्रेन के आगे कूद गई मां, महिला की मौत, बच्ची को नहीं आई एक भी खरोंच

बाल सहायता केंन्द्र की कर्मी मधुलता ने बताया कि बच्ची भगवान की दया से बच गयी. रेल ड्राइवर ने दोनों को बचाने का प्रयास किया. फिर भी महिला चपेट में आ गई.

मां की मौत और बाल-बाल बची बच्ची
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Published : Sep 6, 2019, 2:11 PM IST

दरभंगा: 'जाको राखे साईंया, मार सके न कोई' वाली कहावत फिर चरितार्थ हुई है. जहां, दरभंगा स्टेशन के नजदीक म्यूजियम गुमटी के पास एक महिला ने दुधमुंही बच्ची के साथ जान देने की कोशिश की. ट्रेन के सामने कूदने से महिला की मौत हो गई. लेकिन, नन्हीं जान को खरोंच तक नहीं आई.

crowd on rail track
रेल ट्रैक पर लोगों की भीड़

दरअसल, अहले सुबह दरभंगा स्टेशन से दिल्ली जाने वाली बिहार सम्पर्क कांति एक्सप्रेस अपने समय से गंतव्य के लिए चली. कुछ दूरी पर स्थित म्यूजियम गुमटी के पास एक महिला अपनी बच्ची के साथ ट्रेन के आगे छलांग लगा दी. आनन-फानन में ट्रेन चालक ने ब्रेक लगाया. हालांकि, तब तक ट्रेन का पहिया महिला के ऊपर चढ़ गया. इस घटना में महिला की मौके पर ही मौत हो गई. हालांकि महिला के सीने से चिपकी 7 माह की बच्ची सकुशल बच गयी.

darbhanga child
मधुलता की गोद में दुधमुंही बच्ची

मां के सीने से चिपकी हुई थी बच्ची
इस घटना की सूचना मिलते ही स्टेशन अधीक्षक सहित आरपीएफ और जीआरपी के जवान मौके पर पहुंचे. महिला का गला इंजन के पहिये के बीच कटा पड़ा था. जबकि बच्ची महिला के सीने से सकुशल चिपकी हुई थी. काफी मशक्कत कर आधे घंटे बाद महिला का शव ट्रेन के इंजन के नीचे से निकाला गया. रेल ट्रैक साफ करने के बाद ट्रेन दरभंगा से दिल्ली के रवाना हुई. इस घटना के कारण ट्रेन 35 मिनट की देरी से दिल्ली के लिए प्रस्थान की.

darbhanga station master
स्टेशन मास्टर अशोक कुमार सिंह

बाल सहायता केंद्र को सौंपी गई नवजात
वहीं, बाल सहायता केंन्द्र की कर्मी मधुलता ने बताया कि बच्ची भगवान की दया से बच गयी. रेल ड्राइवर ने दोनों को बचाने का प्रयास किया. फिर भी महिला चपेट में आ गई. महिला की मौत के बाद बच्ची को राजकीय रेल थाना अध्यक्ष ने बाल सहायता केंन्द्र को सौंपा है.

सकुशल बची दुधमुंही बच्ची

35 मिनट ट्रेन हुई विलंब
वहीं, दरभंगा स्टेशन मास्टर अशोक कुमार सिंह ने बताया कि बिहार संपर्क क्रांति अपने निर्धारित समय से स्टेशन से खुली. 26 नंबर रेलवे गुमटी म्यूजियम के पास यह घटना हुई है. ड्राइवर ने घटना को रोकने का प्रयास किया. जब तक गाड़ी रुकती तब तक महिला की ट्रेन की चपेट में आकर मौत हो गई. इस कारण परिचालन में 35 मिनट की देरी हुई है. मौके पर पहुंची जीआरपी आरपीएफ ने ट्रैक को खाली कराकर गाड़ी को रवाना किया. वहीं, मृतक महिला की पहचान नहीं हो पाई है. बच्ची को चाइल्ड सोसाइटी के हवाले किया गया है. इस मामले में आगे की प्रक्रिया की जा रही है.

दरभंगा: 'जाको राखे साईंया, मार सके न कोई' वाली कहावत फिर चरितार्थ हुई है. जहां, दरभंगा स्टेशन के नजदीक म्यूजियम गुमटी के पास एक महिला ने दुधमुंही बच्ची के साथ जान देने की कोशिश की. ट्रेन के सामने कूदने से महिला की मौत हो गई. लेकिन, नन्हीं जान को खरोंच तक नहीं आई.

crowd on rail track
रेल ट्रैक पर लोगों की भीड़

दरअसल, अहले सुबह दरभंगा स्टेशन से दिल्ली जाने वाली बिहार सम्पर्क कांति एक्सप्रेस अपने समय से गंतव्य के लिए चली. कुछ दूरी पर स्थित म्यूजियम गुमटी के पास एक महिला अपनी बच्ची के साथ ट्रेन के आगे छलांग लगा दी. आनन-फानन में ट्रेन चालक ने ब्रेक लगाया. हालांकि, तब तक ट्रेन का पहिया महिला के ऊपर चढ़ गया. इस घटना में महिला की मौके पर ही मौत हो गई. हालांकि महिला के सीने से चिपकी 7 माह की बच्ची सकुशल बच गयी.

darbhanga child
मधुलता की गोद में दुधमुंही बच्ची

मां के सीने से चिपकी हुई थी बच्ची
इस घटना की सूचना मिलते ही स्टेशन अधीक्षक सहित आरपीएफ और जीआरपी के जवान मौके पर पहुंचे. महिला का गला इंजन के पहिये के बीच कटा पड़ा था. जबकि बच्ची महिला के सीने से सकुशल चिपकी हुई थी. काफी मशक्कत कर आधे घंटे बाद महिला का शव ट्रेन के इंजन के नीचे से निकाला गया. रेल ट्रैक साफ करने के बाद ट्रेन दरभंगा से दिल्ली के रवाना हुई. इस घटना के कारण ट्रेन 35 मिनट की देरी से दिल्ली के लिए प्रस्थान की.

darbhanga station master
स्टेशन मास्टर अशोक कुमार सिंह

बाल सहायता केंद्र को सौंपी गई नवजात
वहीं, बाल सहायता केंन्द्र की कर्मी मधुलता ने बताया कि बच्ची भगवान की दया से बच गयी. रेल ड्राइवर ने दोनों को बचाने का प्रयास किया. फिर भी महिला चपेट में आ गई. महिला की मौत के बाद बच्ची को राजकीय रेल थाना अध्यक्ष ने बाल सहायता केंन्द्र को सौंपा है.

सकुशल बची दुधमुंही बच्ची

35 मिनट ट्रेन हुई विलंब
वहीं, दरभंगा स्टेशन मास्टर अशोक कुमार सिंह ने बताया कि बिहार संपर्क क्रांति अपने निर्धारित समय से स्टेशन से खुली. 26 नंबर रेलवे गुमटी म्यूजियम के पास यह घटना हुई है. ड्राइवर ने घटना को रोकने का प्रयास किया. जब तक गाड़ी रुकती तब तक महिला की ट्रेन की चपेट में आकर मौत हो गई. इस कारण परिचालन में 35 मिनट की देरी हुई है. मौके पर पहुंची जीआरपी आरपीएफ ने ट्रैक को खाली कराकर गाड़ी को रवाना किया. वहीं, मृतक महिला की पहचान नहीं हो पाई है. बच्ची को चाइल्ड सोसाइटी के हवाले किया गया है. इस मामले में आगे की प्रक्रिया की जा रही है.

Intro:जाको रखे साईया मार सके न कोई वाली कहावत तब एक बार फिर सही साबित होती दिखी जब एक महिला अपने दूध मुहे बच्चे के साथ चलती ट्रेन के सामने कूद गयी जिसमे घटनास्थल पर ही महिला की मौत हो गयी लेकिन नन्हे सी जान बिल्कुल सुरक्षित बच गया उसे एक खरोंच तक भी नही आई । घटना आज सुबह दरभंगा रेलवे स्टेशन के नज़दीक म्यूजियम गुमटी के पास की है । जहां दरभंगा स्टेशन से दिल्ली जाने वाली बिहार सम्पर्क कांति एक्सप्रेस जैसे ही खुली वैसे ही कुछ ही दूरी पर बने म्यूजियम गुमती के पास यह महिला अपने दुधमुहे बच्चे के साथ ट्रेन के आगे छलांक लगा दी। आनन फानन में ट्रेन चालक ने ट्रेन का ब्रेक लगाया लेकिन तब तक ट्रेन महिला के ऊपर इंजन का पहला चक्का चढ़ गया महिला की मौत हो गई। लेकिन महिला के सीने से चिपका सात माह का बच्चा बिलकुल जिंदा वे सकुशल बच गया। दुधमुहे बच्चे को फिलहाल चाइल्ड लाइन के हवाले कर दिया गया है। जबकि मृतक महिला की पहचान अभी तक नही हो पाई है।

Body:दरअसल दरभंगा जक्शन पर उस वक्त अफरातफरी मच गई, जब वहां पर तैनात कर्मियों को पता चला की दरभंगा से नई दिल्ली जाने वाली बिहार संपर्क क्रांति ट्रेन के आगे एक महिला अपने 7 माह के नवजात बच्ची के साथ, नई दिल्ली को जा रही ट्रेन के सामने कूद कर अपनी जान दे दी है। घटना की सुचना मिलते ही स्टेशन अधीक्षक सहित आरपीफ एवं जीआरपी के लोग मौके पर पहुंच गए। मौके पर पहुंचने के बाद पाया की महिला का गला इंजन के पहिये के बीच कटा हुआ पड़ा हुआ है और बच्ची महिला के सीने से चिपका हुआ सकुशल पाया। करीव आधे घण्टे के बाद महिला का शव ट्रेन के इंजन के नीचे से निकाला गया, तब जा कर ट्रेन दरभंगा से दिल्ली के रवाना किया गया। जिसके बाद रेलवे कर्मियों ने बच्चे को चाइल्ड लाइन के हवाले कर शव को पोस्टमार्टम के लिए अस्पताल भेज दिया है। इस दौरान ट्रेन 35 मिनट के देरी से दिल्ली के लिए प्रस्थान की। 

Conclusion:वही बाल सहायता केंन्द्र के कर्मी मधुलता ने बताया कि बच्चे भगवान के दया से बच गया है। रेल ड्राइवर ने बहुत ही प्रयास किया कि दोनों को बचा लिया जाए बहुत जल्दी ब्रेक लगा दिया फिर भी ट्रेन की चपेट में महिला आ गई। जिससे महिला की मौत हो गई है और बच्ची की जान बच गयी और बच्ची को राजकीय रेल थाना अध्यक्ष के द्वारा हम लोगों के पास सुपुर्द किया गया है। 

वही  दरभंगा रेलवे स्टेशन के स्टेशन मास्टर अशोक कुमार सिंह ने बताया कि बिहार संपर्क क्रांति अपने निर्धारित समय से स्टेशन से खुली है। 26 नंबर रेलवे गुमटी म्यूजियम के पास से जैसे ही पास किया की एक महिला एक बच्चे के साथ ट्रेन के इंजन के सामने कूद गई। ड्राइवर ने बहुत प्रयास किया रोकने का, लेकिन जब तक गाड़ी रुकती तब तक गाड़ी रन ओभड़ हो गया और महिला की मौत हो गई। जिस कारण से गारी 35 मिनट लेट हो गई। मौके पर पहुंची जीआरपी आरपीएफ ने ट्रैक को खाली करा कर गाड़ी को रवाना किया। रेलवे स्टेशन पर चाइल्ड सोसाइटी काम कर रही हैं उसके पास तब तक बच्चा को रखा गया है और आगे की प्रतिक्रिया की जा रही है

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मधुलता, बाल सहायता केंन्द्र कर्मी
अशोक कुमार सिंह ,स्टेशन मास्टर ,दरभंगा 
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