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लेमन ग्रास की खेती कर आत्मनिर्भर हो रहे किसान, अब सरकार से हैं ये उम्मीदें - बांका के किसान

कृषि विभाग और जिला प्रशासन के सहयोग से जयपुर इलाके के किसान लेमन ग्रास की खेती कर रहे हैं. विभाग ने 110 एकड़ में लेमन ग्रास की खेती करवाने की योजना तैयार की है. बाजार में लेमन ग्रास के तेल की कीमत 10 से 12 हजार प्रति लीटर है. किसानों को प्रति लीटर एक से दो हजार की बचत हो जाती है.

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Published : Feb 20, 2020, 12:45 PM IST

Updated : Feb 24, 2020, 8:52 PM IST

बांकाः जिले की भौगोलिक संरचना ऐसी है कि यहां का अधिकांश हिस्सा पठारी है. यही वजह है कि जिले में किसानों के पास रैयती बंजर भूमि बहुतायत मात्रा में है. जिले में लगभग 42 हजार हेक्टेयर भूमि बंजर है. कटोरिया प्रखंड का जयपुर इलाका सबसे अधिक बंजर भूमि वाला क्षेत्र है. इस इलाके में किसानों के लिए कुछ भी उपजा पाना टेढ़ी खीर थी. पिछले एक वर्ष से क्षेत्र के किसानों की कड़ी मेहनत और जिला प्रशासन के साथ-साथ कृषि विभाग के सहयोग से बंजर भूमि पर लेमन ग्रास की खेती की शुरुआत की गई है.

किसान कर रहे लेमन ग्रास की खेती
कटोरिया प्रखंड के जयपुर इलाके में चकरापाथर गांव के किसान हरेंद्र शर्मा ने अपने 7 एकड़ रैयती बंजर भूमि पर लेमन ग्रास की खेती की शुरुआत की है. हरेंद्र शर्मा बताते हैं कि इस इलाके में किसानों के अधिकांश जमीन बंजर है. कृषि विभाग और जिला प्रशासन के सहयोग से लेमन ग्रास की खेती की शुरुआत हुई है. कृषि विभाग के अधिकारियों ने क्षेत्र के किसानों के साथ बैठक कर उन्हें लेमन ग्रास की खेती करने के लिए प्रेरित किया था. क्षेत्र के किसान भी लेमन ग्रास की खेती करने के लिए इच्छुक हैं.

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खेत में लगी लेमन ग्रास

लेमन ग्रास की खेती करने के इच्छुक हैं किसान
किसान सरोज कुमार बताते हैं कि हरेंद्र शर्मा से प्रभावित होकर अपने बंजर भूमि पर लेमन ग्रास की खेती करेंगे. ताकि कम लागत में अधिक मुनाफा कमाया जा सके. बाजार में इसके तेल की कीमत काफी अधिक है. किसान हरेंद्र शर्मा बताते हैं कि किसान जब अपने खेतों में लेमन ग्रास की खेती करना प्रारंभ कर देंगे. तब तेल निकालने के खुद का डिस्टिलेशन प्लांट स्थापित कर लेंगे. डिस्टिलेशन प्लांट स्थापित करने में चार लाख की लागत आती है.

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किसान हरेंद्र शर्मा ने शुरू की जिले में लेमन ग्रास की खेती

बाजार उपलब्ध करायेगी आत्मा
लेमन ग्रास लगाने वालों को इसे बेचने में परेशानी नहीं हो इसके लिये आत्मा बाजार भी उपलब्ध करायेगी. हालांकि किसानों को सरकार से उम्मीद है कि बजट में उनके लिए कुछ खास होगा, अगर सरकार हमारी मदद करती है कि, हम प्रतिवर्ष लाखों रूपये की आमदनी कर सकते हैं.'

बड़े शहरों में लेमन ग्रास के तेल का है डिमांड

हरेंद्र शर्मा बताते हैं कि लेमन ग्रास से निकलने वाले तेल की कीमत बड़े शहरों में अधिक है. कोलकाता और बेंगलुरु जैसे शहरों में 10 से 12 हजार रुपए प्रति लीटर इस तेल की कीमत है. एक लीटर लेमन ग्रास के तेल को तैयार करने के लिए दो क्विंटल घास की जरूरत पड़ती है. किसानों को प्रति लीटर एक से दो हजार रुपए तक का मुनाफा हो जाता है.

पेश है रिपोर्ट

110 एकड़ में लेमन ग्रास की खेती की तैयारी
जिला कृषि अधिकारी सुदामा महतो ने बताया कि यह बांका प्रदेश का सबसे अधिक बंजर भुमि वाला जिला है. इसमें हरियाली लाने का प्रयास किया जा रहा है. इसी के तहत लेमन ग्रास की खेती की शुरुआत हुई है. विपरीत हालत में भी उत्पादित लेमन ग्रास के तेल की गुणवत्ता अच्छी है. किसानों को बाजार में भी अच्छी कीमत मिल रही है. वर्तमान में जिले के 110 एकड़ बंजर भूमि पर लेमन ग्रास की खेती करवाने की तैयारी की जा रही है.




बांकाः जिले की भौगोलिक संरचना ऐसी है कि यहां का अधिकांश हिस्सा पठारी है. यही वजह है कि जिले में किसानों के पास रैयती बंजर भूमि बहुतायत मात्रा में है. जिले में लगभग 42 हजार हेक्टेयर भूमि बंजर है. कटोरिया प्रखंड का जयपुर इलाका सबसे अधिक बंजर भूमि वाला क्षेत्र है. इस इलाके में किसानों के लिए कुछ भी उपजा पाना टेढ़ी खीर थी. पिछले एक वर्ष से क्षेत्र के किसानों की कड़ी मेहनत और जिला प्रशासन के साथ-साथ कृषि विभाग के सहयोग से बंजर भूमि पर लेमन ग्रास की खेती की शुरुआत की गई है.

किसान कर रहे लेमन ग्रास की खेती
कटोरिया प्रखंड के जयपुर इलाके में चकरापाथर गांव के किसान हरेंद्र शर्मा ने अपने 7 एकड़ रैयती बंजर भूमि पर लेमन ग्रास की खेती की शुरुआत की है. हरेंद्र शर्मा बताते हैं कि इस इलाके में किसानों के अधिकांश जमीन बंजर है. कृषि विभाग और जिला प्रशासन के सहयोग से लेमन ग्रास की खेती की शुरुआत हुई है. कृषि विभाग के अधिकारियों ने क्षेत्र के किसानों के साथ बैठक कर उन्हें लेमन ग्रास की खेती करने के लिए प्रेरित किया था. क्षेत्र के किसान भी लेमन ग्रास की खेती करने के लिए इच्छुक हैं.

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खेत में लगी लेमन ग्रास

लेमन ग्रास की खेती करने के इच्छुक हैं किसान
किसान सरोज कुमार बताते हैं कि हरेंद्र शर्मा से प्रभावित होकर अपने बंजर भूमि पर लेमन ग्रास की खेती करेंगे. ताकि कम लागत में अधिक मुनाफा कमाया जा सके. बाजार में इसके तेल की कीमत काफी अधिक है. किसान हरेंद्र शर्मा बताते हैं कि किसान जब अपने खेतों में लेमन ग्रास की खेती करना प्रारंभ कर देंगे. तब तेल निकालने के खुद का डिस्टिलेशन प्लांट स्थापित कर लेंगे. डिस्टिलेशन प्लांट स्थापित करने में चार लाख की लागत आती है.

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किसान हरेंद्र शर्मा ने शुरू की जिले में लेमन ग्रास की खेती

बाजार उपलब्ध करायेगी आत्मा
लेमन ग्रास लगाने वालों को इसे बेचने में परेशानी नहीं हो इसके लिये आत्मा बाजार भी उपलब्ध करायेगी. हालांकि किसानों को सरकार से उम्मीद है कि बजट में उनके लिए कुछ खास होगा, अगर सरकार हमारी मदद करती है कि, हम प्रतिवर्ष लाखों रूपये की आमदनी कर सकते हैं.'

बड़े शहरों में लेमन ग्रास के तेल का है डिमांड

हरेंद्र शर्मा बताते हैं कि लेमन ग्रास से निकलने वाले तेल की कीमत बड़े शहरों में अधिक है. कोलकाता और बेंगलुरु जैसे शहरों में 10 से 12 हजार रुपए प्रति लीटर इस तेल की कीमत है. एक लीटर लेमन ग्रास के तेल को तैयार करने के लिए दो क्विंटल घास की जरूरत पड़ती है. किसानों को प्रति लीटर एक से दो हजार रुपए तक का मुनाफा हो जाता है.

पेश है रिपोर्ट

110 एकड़ में लेमन ग्रास की खेती की तैयारी
जिला कृषि अधिकारी सुदामा महतो ने बताया कि यह बांका प्रदेश का सबसे अधिक बंजर भुमि वाला जिला है. इसमें हरियाली लाने का प्रयास किया जा रहा है. इसी के तहत लेमन ग्रास की खेती की शुरुआत हुई है. विपरीत हालत में भी उत्पादित लेमन ग्रास के तेल की गुणवत्ता अच्छी है. किसानों को बाजार में भी अच्छी कीमत मिल रही है. वर्तमान में जिले के 110 एकड़ बंजर भूमि पर लेमन ग्रास की खेती करवाने की तैयारी की जा रही है.




Last Updated : Feb 24, 2020, 8:52 PM IST
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