अररियाः बिहार सरकार कोरोना संक्रमितों को लेकर कितनी गंभीर है इसका जीता जागता उदाहरण फारबिसगंज स्थित एएनएम ट्रेनिग कॉलेज में बने आइसोलेशन सेंटर में दिख जाता है. जहां भर्ती मरीजों को भगवान भरोसे छोड़ दिया गया है. ना उपचार की समूचित व्यवस्था है और ना ही खानपान का ठोस इंतजाम.
भगवान भरोसे हैं मरीज
आइसोलेशन सेंटर के वार्ड में रह रहे संक्रमितों ने अपने तकलीफों को बयां करते हुए बताया की वहां किसी भी तरह की बुनियादी सुविधा नहीं है. ना तो डॉक्टर रेगुलर चेकअप के लिए आते हैं और नहीं मरीजों को पौष्टिक भोजन ही दिया जाता है. उन्होंने बताया कि संक्रमितों की इम्युनिटी बढ़ाने के सारे सरकारी दावे यहां फेल है. मरीजों को गर्म पानी तक नहीं दिया जाता है.
एक दूसरे मरीज ने बताया कि खाना इतनी घटिया क्वालिटी का होता है कि खाया ही नहीं जाता है.वहीं, सिविल सर्जन भी आइसोलेशन इंचार्ज डॉक्टर की लापरवाही की बात कर रहे हैं. सिविल सर्जन डॉ. मदन मोहन प्रसाद सिंह ने बताया कि वहां के डॉक्टर की सैलरी रोक दी गई है. विभाग के साथ डीएम को भी इसकी जानकारी दी गई है.