पटना: जन अधिकार पार्टी के सुप्रीमो पप्पू यादव (Jan Adhikar Party supremo Pappu Yadav) आज पटना पहुंचे और पटना एयरपोर्ट पर उन्होंने नेपाली नगर में जिला प्रशासन द्वारा लोगों के घर तोड़ने को लेकर जिला प्रशासन पर जमकर हमला किया. उन्होंने कहा कि जिस तरह से घर तोड़े गए हैं, जिस तरह से बर्बरता पूर्ण लाठीचार्ज की गई है, वह ठीक नहीं है. उन्होंने साफ-साफ कहा कि जिला प्रशासन के कई अधिकारियों ने गलत काम किया है और इसके खिलाफ हम कोर्ट जाएंगे और जब तक उन लोगों को न्याय नहीं मिलेगा तब तक लड़ाई लड़ेंगे. वहीं प्रधानमंत्री के पटना दौरे पर भी उन्होंने अपनी प्रतिक्रिया दी और कहा कि बिहार में कई तरह की समस्या है विशेष राज्य के दर्जे पर कभी उन्होंने बात नहीं की है.
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'मुआवजा कौन देगा. उपमुख्यमंत्री मुआवजा की घोषणा करें. जिसका आशियान उजड़ गया, किसके ऑर्डर पर आपने लाठी चलाई. लोग केस करेंगे, कोर्ट में एसडीओ, एसपी पर केस करेंगे. यहां के टाउन एसपी और कुछ लोग ज्यादा मनचले हो गए हैं. ये सबको एक घाटी में समझते हैं. जिसके घर टूटे हैं, जिसका आशियाना सामाप्त हो गया. किसके ऑर्डर से आपने लाठी चलाई. इसके लिए एसडीओ और एसपी पर हमलाोग कोर्ट में केस करेंगे, ' - पप्पू यादव, संरक्षक, जन अधिकार पार्टी
3 जुलाई रविवार को चलाया गया था अभियान : गौरतलब है कि रविवार 3 जुलाई से पटना के आशियाना रोड पर यह अभियान चल रहा था. इस दौरान स्थिति बेकाबू हो गयी थी. पुलिस और स्थानीय लोग आमने-सामने थे. पुलिस पर पथराव किया जा रहा था जिसके बाद जवाब में पुलिस ने लाठीचार्ज किया था और आंसू गैस के गोले भी छोड़े गए थे. इस झड़प में कई पुलिसकर्मी व स्थानीय लोग भी घायल हुए थे. 20 एकड़ जमीन पर कब्जा करने के लिए पुलिस और प्रशासन को दिनभर फजीहत झेलनी पड़ी थी. राजीव नगर में कल 22 बुलडोजर के साथ से 40 मजिस्ट्रेट और 50 पुलिस अफसरों के साथ हजारों पुलिसकर्मियों को तैनात किया गया था. जिसमें 3 पुलिसकर्मी और तीन स्थानीय लोग घायल हुए थे.
पटना हाईकोर्ट ने जतायी नाराजगी : बता दें कि कोर्ट ने अगले आदेश तक प्रशासन द्वारा अतिक्रमण की कार्रवाई पर रोक लगाते हुए 6 जुलाई 2022 को सुनवाई की तिथि तय की थी. और 6 जुलाई को भी मामले में सुनवाई करते हुए पटना हाईकोर्ट ने राजीव नगर क्षेत्र में अतिक्रमण (Patna High Court On Rajiv Nagar Encroachment) हटाने की कार्रवाई पर यथास्थिति बहाल रखने का निर्देश दिया था. जस्टिस संदीप कुमार ने इस मामले में दायर याचिकाओं पर सुनवाई करते हुए ये आदेश दिया. साथ ही कोर्ट ने वहां रह रहे नागरिकों (Campaign To Remove Encroachment In Rajiv Nagar) को बिजली और पेय जल की सुविधाएं बहाल करने का निर्देश राज्य सरकार को दिया. कोर्ट ने इस बात पर कड़ी नाराजगी जाहिर की कि बिना व्यक्तिगत नोटिस दिए हुए जिला प्रशासन ने कार्रवाई की. इस मामले पर अगली सुनवाई 14 जुलाई 2022 को होगी.
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