पटना: बाढ़ अनुमंडल के विभिन्न गंगा घाटों पर सावन की पूर्णिमा को लेकर श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ पड़ी. श्रद्धालु दूर-दूर से गंगा स्नान के लिए घाटों पर पहुंचे.
सावन की पूर्णिमा के अवसर पर गंगा में स्नान करने के लिए पटना के अलग-अलग घाटों पर श्रद्धालुओं का तांता लगा रहा. बिहार का काशी कहे जाने वाली उमानाथ मंदिर में हजारों भक्तों ने भगवान शिव पर जलाभिषेक किया. शिवालयों में भगवान शंकर की जय का नारा लगता रहा.
उमानाथ मंदिर को कहते हैं बिहार का काशी
उमानाथ मंदिर की पहचान बिहार के काशी के तौर पर की जाती है. उत्तरायण गंगा के तट पर देश में गिने चुने ही शिव मंदिर हैं. उमानाथ मंदिर उनमें से एक है. माना जाता है कि गोमुख से निकलने के बाद गंगा नदी पूरे देश में कुछ ही स्थलों पर उत्तरायण यानी उत्तरागामी है. इनमें हरिद्वार, बनारस, उमानाथ और सुल्तानगंज शामिल है. इसी कारण इसे बिहार का काशी भी कहा जाता है.
उत्तरायण गंगा का जल होता है पवित्र
उत्तरागामी गंगा का हिंदू धर्म में बहुत ही महत्व है. उत्तरागामी गंगा में स्नान करने से मनुष्य के सभी पाप धुल जाते हैं. उत्तरागामी गंगा का जल काफी पवित्र होता है. श्रद्धालु यहां से जल भरकर अपने घर ले जाते हैं. पूजा-अर्चना में इस जल का काफी महत्व है.