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बाढ़ से हुए नुकसान का आंकलन करने आज केन्द्रीय टीम आ रही बिहार - crores of loss due to floods in Bihar

बाढ़ से राज्य में हुए नुकसान का आंकलन करने केन्द्रीय टीम आ रही है. पटना में बैठक करने के बाद यह टीम इलाकों का दौरा करेगी. आगे पढ़ें पूरी खबर...

CENTRAL TEAM
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Published : Sep 6, 2021, 8:22 AM IST

Updated : Sep 6, 2021, 8:50 AM IST

पटना: बिहार में बाढ़ (Flood in Bihar) ने साल 2021 में कहर बरापाया है. इसमें काफी क्षति भी हुई है. इसी नुकसान का आंकलन करने केन्द्रीय टीम (Central Team Visits) पटना आ रही है. जानकारी के अनुसार सोमवार सुबह 11 बजे टीम पटना पहुंचेगी. 12 बजे स्टेट गेस्ट हाउस में राज्य के अधिकारियों के साथ टीम की बैठक होगी. इसके बाद बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों का दौरा किया जाएगा.

बाढ़ से राज्य में हुए नुकसान का आंकलन करने आ रही टीम की अध्यक्षता केन्द्रीय गृह मंत्रालय के सचिव कर रहे हैं. इधर कृषि मंत्री अमरेन्द्र प्रताप सिंह के मुताबिक राज्य में लगभग 4 हजार करोड़ का नुकसान बाढ़ से हुआ है. इसकी रिपोर्ट बिहार सरकार केन्द्र को भेजेगी.

इस साल भी बाढ़ (Flood) से हजारों करोड़ का नुकसान हुआ है. 26 जिले के 37 लाख से अधिक लोग बाढ़ से प्रभावित (People Affected by Flood) हुए हैं और अभी भी कई इलाकों में पानी लगा हुआ है. कई नदियां अभी भी खतरे के निशान से ऊपर हैं. बड़े पैमाने पर सड़कें क्षतिग्रस्त हुई हैं. बाढ़ से ग्रामीण सड़कों से लेकर स्टेट हाईवे और नेशनल हाईवे तक को नुकसान पहुंचा है.

बिहार में इस साल 26 जिले के लाखों लोग बाढ़ से प्रभावित हुए हैं और इस बार जून के महीने से ही बाढ़ का सामना बिहार को करना पड़ा है और अभी भी बाढ़ समाप्त हो गई है, ऐसा नहीं है. बिहार में बाढ़ से इस साल भी 200 करोड़ से अधिक पथ निर्माण विभाग की सड़कों का अब तक नुकसान हो चुका है. ग्रामीण कार्य विभाग की सड़कों का भी बड़े पैमाने पर नुकसान हुआ है. इसके साथ ही कई विभागों और केंद्र सरकार की संपत्ति को भी नुकसान पहुंचा है. निजी संपत्ति को भी बड़े पैमाने पर नुकसान हुआ है.

बता दें कि बिहार में बाढ़ से साल 2007 में 17059 करोड़ का नुकसान हुआ था. 2008 में 14800 करोड़, 2016 में 4112 करोड़, 2017 में 7636 करोड़, 2019 में 4500 करोड़, 2020 में 3328 करोड़ का नुकसान हुआ था. 2017 में केंद्र से 1700 करोड़ की मदद मिली थी. 2019 में करीब 1000 करोड़ की आर्थिक सहायता केंद्र से मिली थी और 2020 में केंद्र सरकार से 1255 करोड़ की मदद मिली थी.

मालूम हो कि पहले राज्य सरकार की रिपोर्ट के आधार पर ही केंद्र सरकार अधिकारियों को भेजती थी और बिहार सरकार ने बाढ़ से हुए नुकसान का जो आंकलन किया है और कितना सही है, उसकी जांच करते थे. लेकिन नरेंद्र मोदी सरकार के केंद्र में आने के बाद से अब केंद्र सरकार क्षति आकलन के लिए पहले ही अधिकारियों को भेज देती है और अधिकारियों की रिपोर्ट के आधार पर राज्य सरकारों को मदद भी पहुंचाती है.

पटना: बिहार में बाढ़ (Flood in Bihar) ने साल 2021 में कहर बरापाया है. इसमें काफी क्षति भी हुई है. इसी नुकसान का आंकलन करने केन्द्रीय टीम (Central Team Visits) पटना आ रही है. जानकारी के अनुसार सोमवार सुबह 11 बजे टीम पटना पहुंचेगी. 12 बजे स्टेट गेस्ट हाउस में राज्य के अधिकारियों के साथ टीम की बैठक होगी. इसके बाद बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों का दौरा किया जाएगा.

बाढ़ से राज्य में हुए नुकसान का आंकलन करने आ रही टीम की अध्यक्षता केन्द्रीय गृह मंत्रालय के सचिव कर रहे हैं. इधर कृषि मंत्री अमरेन्द्र प्रताप सिंह के मुताबिक राज्य में लगभग 4 हजार करोड़ का नुकसान बाढ़ से हुआ है. इसकी रिपोर्ट बिहार सरकार केन्द्र को भेजेगी.

इस साल भी बाढ़ (Flood) से हजारों करोड़ का नुकसान हुआ है. 26 जिले के 37 लाख से अधिक लोग बाढ़ से प्रभावित (People Affected by Flood) हुए हैं और अभी भी कई इलाकों में पानी लगा हुआ है. कई नदियां अभी भी खतरे के निशान से ऊपर हैं. बड़े पैमाने पर सड़कें क्षतिग्रस्त हुई हैं. बाढ़ से ग्रामीण सड़कों से लेकर स्टेट हाईवे और नेशनल हाईवे तक को नुकसान पहुंचा है.

बिहार में इस साल 26 जिले के लाखों लोग बाढ़ से प्रभावित हुए हैं और इस बार जून के महीने से ही बाढ़ का सामना बिहार को करना पड़ा है और अभी भी बाढ़ समाप्त हो गई है, ऐसा नहीं है. बिहार में बाढ़ से इस साल भी 200 करोड़ से अधिक पथ निर्माण विभाग की सड़कों का अब तक नुकसान हो चुका है. ग्रामीण कार्य विभाग की सड़कों का भी बड़े पैमाने पर नुकसान हुआ है. इसके साथ ही कई विभागों और केंद्र सरकार की संपत्ति को भी नुकसान पहुंचा है. निजी संपत्ति को भी बड़े पैमाने पर नुकसान हुआ है.

बता दें कि बिहार में बाढ़ से साल 2007 में 17059 करोड़ का नुकसान हुआ था. 2008 में 14800 करोड़, 2016 में 4112 करोड़, 2017 में 7636 करोड़, 2019 में 4500 करोड़, 2020 में 3328 करोड़ का नुकसान हुआ था. 2017 में केंद्र से 1700 करोड़ की मदद मिली थी. 2019 में करीब 1000 करोड़ की आर्थिक सहायता केंद्र से मिली थी और 2020 में केंद्र सरकार से 1255 करोड़ की मदद मिली थी.

मालूम हो कि पहले राज्य सरकार की रिपोर्ट के आधार पर ही केंद्र सरकार अधिकारियों को भेजती थी और बिहार सरकार ने बाढ़ से हुए नुकसान का जो आंकलन किया है और कितना सही है, उसकी जांच करते थे. लेकिन नरेंद्र मोदी सरकार के केंद्र में आने के बाद से अब केंद्र सरकार क्षति आकलन के लिए पहले ही अधिकारियों को भेज देती है और अधिकारियों की रिपोर्ट के आधार पर राज्य सरकारों को मदद भी पहुंचाती है.

Last Updated : Sep 6, 2021, 8:50 AM IST
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