हजारीबागः जिले की महिला किसानों को विश्व मृदा दिवस के अवसर पर मिट्टी की देखभाल को लेकर प्रशिक्षित किया गया. इसका उद्देश्य उन्हें इस बात की जानकारी देना था कि कैसे वो अपने खेत की मिट्टी को सुरक्षित रख सकते हैं, और बंपर खेती कर सकते हैं.
खेती के क्षेत्र में महिलाएं बढ़ चढ़कर हिस्सा ले रही हैं. महिलाओं को और अधिक प्रशिक्षित करने के लिए विश्व मृदा दिवस के अवसर पर मासीपीड़ी में मृदा की देखभाल करने के तरीके पर प्रशिक्षण दिया गया. लगभग 50 की संख्या में महिला किसानों ने कृषि वैज्ञानिकों से महत्वपूर्ण टिप्स लिए.
इस अवसर पर वैज्ञानिकों ने बताया कि मिट्टी एक ऐसी संपदा है जिसे बनाया नहीं जा सकता है लेकिन उसे संरक्षित अवश्य किया जा सकता है. मिट्टी में जिस तत्व की कमी है अगर उस कमी को दूर कर दिया जाए तो मिट्टी उपजाऊ हो जाती है, जिससे खेती करने पर अच्छी फसल होगी. इसी कारण इस वर्ष मिट्टी की देखभाल कैसे करना है इसी थीम पर विश्व मृदा दिवस मनाया जा रहा है.
महिला किसान भी बताती हैं कि चावल अनुसंधान केंद्र में कृषि वैज्ञानिकों ने मृदा संरक्षण को लेकर कई जानकारियां दी हैं, जिसका लाभ किसानों को मिलेगा. महिला किसान ने बताया कि आमतौर पर किसानों को प्रशिक्षण नहीं मिल पाता है. जिस कारण उन्हें मृदा के बारे में जानकारी नहीं हो पाती है. विश्व मृदा दिवस के अवसर पर कृषि वैज्ञानिकों ने महत्वपूर्ण पहलुओं की जानकारी दी है, जिससे आने वाले समय में उनको इसका लाभ होगा.
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