संभल : किष्किंधा से संभल पहुंचे स्वामी गोविंदानंद सरस्वती ने 46 साल बाद मिले कार्तिकेय महादेव मंदिर में दर्शन किए. उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से अयोध्या की ही तरह संभल के भी विकास की मांग की. कहा कि आज मुस्लिम भी स्वीकार रहे हैं कि संभल भगवान कल्कि का क्षेत्र है.
भगवान हनुमान की जन्मस्थली कर्नाटक के किष्किंधा से हनुमान रथ यात्रा लेकर संभल पहुंचे स्वामी गोविंदानंद सरस्वती महाराज 46 साल बाद खुले कार्तिकेय महादेव मंदिर के दर्शन करने के लिए मंगलवार देर शाम पहुंचे. यहां उन्होंने भगवान भोलेनाथ और हनुमान जी की पूजा आरती कर जयकारे लगाए. इस दौरान उन्होंने कहा कि वह यहां आकर बहुत प्रसन्न हैं. सनातन धर्म में दसवें अवतार के तौर पर भगवान श्री कल्कि यहां अवतार लेंगे. यह बड़े ही गौरव की बात है. उन्होंने कहा कि हमारे पुराणों में लिखा है कि भगवान कल्कि धर्म की रक्षा के लिए संभल में जन्म लेंगे. उन्होंने संभल में तमाम तीर्थ स्थल और कूपों के जीर्णोद्धार को लेकर कहा कि यह सभी कार्य भगवान की प्रेरणा से हो रहे हैं.
स्वामी गोविंदानंद ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को संभल आने का न्योता दिया. कहा कि दोनों संभल में भगवान श्री कल्कि का दर्शन करें. जिस तरह से अयोध्या का विकास कराया, ऐसे ही संभल का भी विकास कराएं. उन्होंने संभल के सभी तीर्थ स्थलों के जीर्णोद्धार की मांग की. कहा कि पुराणों में स्पष्ट हो गया है कि संभल में भगवान कल्कि अवतार लेंगे. जबकि पूरी दुनिया के सामने संभल के तीर्थ स्थलों का नक्शा तैयार है. जिसमें हरिहर मंदिर के अलावा सभी तीर्थ स्थल अंकित हैं. कहा कि जिस तरह से मुसलमानों ने मंदिरों को तोड़कर मस्जिद बनाने के लिए नक्शा तैयार किया, अब वही कह रहे हैं कि यह कल्कि का मंदिर है. कहा कि मुसलमान खुद स्वीकार कर रहे हैं कि यह कल्कि भगवान का क्षेत्र है. उन्होंने भारत सरकार के रेल मंत्री से अनुरोध किया है कि यहां रेल सुविधा होनी चाहिए. साथ ही सड़क और ट्रांसपोर्ट की सुविधा भी होनी चाहिए. कहा कि संभल में रेल सुविधा होने के बाद तमाम भक्त यहां आएंगे और भगवान कल्कि का आशीर्वाद लेंगे.