जयपुर: गिरदावरी एप में आ रही खामियों को लेकर प्रदेश भर के पटवारी 2 दिन की पेन डाउन हड़ताल पर है. पटवारियों का कहना है कि एप की खामियों को दूर करने की मांग को लेकर उच्च अधिकारियों को कई बार अवगत कराया गया, लेकिन उन्हें दूर नहीं किया गया. इसके विरोध में प्रदेश के पटवारी मंगलवार से पेन डाउन हड़ताल रहेंगे.
राजस्थान पटवार संघ के अध्यक्ष नरेंद्र कविया ने बताया कि खरीफ की फसल की गिरदावरी राज खसरा गिरदावरी एप से ऑनलाइन की जानी है. इस एप में पटवारियों को गिरदावरी करने में कई तरह की परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. इन समस्याओं को लेकर गत 22 अगस्त को अतिरिक्त भू प्रबन्ध अधिकारी की अध्यक्षता में बैठक आयोजित की गई थी, जिसमें संशोधन की सहमति जताई गई थी. उसके बावजूद भी अब तक गिरदावरी एप में कोई संशोधन नहीं किया गया है. इसके उलट पटवारियों पर गिरदावरी करने का दबाव बनाया जा रहा है. एप की कमियों को दूर करने की मांग को लेकर राजस्थान पटवार संघ के बैनर तले प्रदेश के पटवारियों ने 17 और 18 सितंबर को पेन डाउन हड़ताल का निर्णय किया है. मंगलवार को सभी उपखंड और तहसील स्तर पर पटवारियों ने गिरदावरी एप में संशोधन की मांग को लेकर राजस्व विभाग के प्रमुख शासन सचिव के नाम ज्ञापन सौंपा. जयपुर जिला कलेक्ट्रेट में भी पटवारियों ने राजस्थान पटवारी संघ के प्रदेश अध्यक्ष नरेंद्र कविया के नेतृत्व में जिला प्रशासन को ज्ञापन सौंपा.
बफर जोन में आ रही दिक्क्त: संघ के प्रदेश अध्यक्ष नरेंद्र कविया ने बताया कि गिरदावरी एप में बफर जोन 50 मीटर है, जिसे बढ़ाकर 350 मीटर किया जाए. हनुमानगढ़, श्रीगंगानगर, बीकानेर और अनूपगढ़ जिले में इस बफर जोन को बढ़ा दिया है, अन्य जिलों में भी इसे बढ़ाया जाए. कविया ने बताया कि जब मौके पर जाकर एप खोलते हैं तो बफर जोन के कारण एप काम नहीं करता है. हम लोकेशन पर होते हैं, लेकिन एप बताता है कि पटवारी लोकेशन पर नहीं है. हमारी लोकेशन सैंकड़ों किलोमीटर दूर बताता है. इसके कारण समय पर गिरदावरी नहीं हो पाती है. हमें मौके पर जाकर फोटो खींचकर ही गिरदावरी करनी होती है. हाल ही में कई जगह पर बहुत अच्छी बारिश हुई है, खेतों पर पानी भरा हुआ है. ऐसी स्थिति में मौके पर जाकर गिरदावरी करना मुश्किल है.
डिसेबल सिस्टम में अधिकार दिए जाए: कविया ने बताया कि कई जगह ऐसी है जहां एक ही खेत में कई खसरा नंबर होते हैं और एक खेत से दूसरे खेत में जाना पॉसिबल नहीं है. इसके लिए डिसेबल सिस्टम के लिए सरकार को कहा गया था. एप में डिसेबल सिस्टम करने का अधिकार तहसीलदार को है लेकिन हमारी मांग है कि डिसेबल का अधिकार पटवारी को दिया जाए, क्योंकि तहसीलदार के पास भी कई तरह के अनेक कार्य भी होते हैं.
महिला पटवारियों की हो सुरक्षा: लोकेशन पर जाकर गिरदावरी करने में महिला पटवारियों को कई समस्याओं का सामना करना पड़ता है. प्रदेश में दो महिलाओं के साथ दुर्व्यवहार हो चुका है और एक मामले में तो एफआईआर भी दर्ज कराई गई थी. गिरदावरी के समय महिला पटवारी की सुरक्षा से संबंधित विभाग की ओर से निर्देश जारी किए जाए.
पटवारी एप में इन संशोधनों की कर रहे मांग
- लोकेशन बफर 50 मीटर के स्थान पर 350 मीटर किया जाए
- लोकेशन डिसेबल का ऑप्शन पटवारी स्तर पर किया जाना, अभी यह काम तहसीलदार स्तर पर किया जाता है
- पटवारी द्वारा किसान की गिरदावरी सत्यापन करत समय लोकेशन मांगी जा रही है. सत्यापन के समय लोकेशन की बाध्यता को हटाया जाए
- लोकेशन पर जाकर गिरदावरी करते समय सुरक्षा की दृष्टि से महिला पटवारी के लिए विभाग से आवश्यक निर्देश जारी किया जाए
- एप से कार्य की गति को बढ़ाया जाए