श्रीनगर: उत्तराखंड के पौड़ी जिले में अब मनचलों की खैर नहीं होगी. स्कूल, कॉलेज, विश्वविद्यालय और नौकरी के लिए जाने वाली लड़कियों और महिलाओं की सुरक्षा के लिए पौड़ी पुलिस की पिंक यूनिट अब सुरक्षा कवच का काम करेगी. इसके लिए स्कूल, कॉलेज और विश्वविद्यालय के गेट पर महिला सुरक्षा के लिए छुट्टी के वक्त महिला पुलिसकर्मी तैनात रहेंगी. पुलिस इस सुविधा की जानकारी खुद छात्राओं को स्कूल और कॉलेजों में जाकर दे रही है.
पुलिस की इस योजना के बाद उम्मीद की जा रही है कि अभी स्कूल और कॉलेज की छात्राओं का साथ-साथ कामकाजी युवतियों व महिलाएं भी बेखौफ होकर सुरक्षित घूम सकती है क्योंकि महिला पुलिसकर्मी और अन्य पुलिस जवान उनकी सुरक्षा के लिए पूरी तरह मुस्तैद रहेंगे.
छात्राएं भी खुद को महसूस कर रही सुरक्षित: कक्षा 11वीं की छात्रा अनुप्रिया ने बताया कि पिंक यूनिट की टीम समय-समय पर उनके स्कूल में आती है और उन्हें आत्मरक्षा के तरीके सिखाती है. साथ ही पिंक यूनिट की टीम के साथ अपनी बातें और दिक्कतें साझा करना अच्छा लगता है, क्योंकि उनके द्वारा छात्राओं की सुरक्षा सुनिश्चित की जा रही है.
पिंक यूनिट बता रही सेल्फ डिफेंस का तरीका: छात्रा अर्पिता सिंह ने बताया कि पिंक यूनिट इंटरवल और छुट्टी के समय नियमित रूप से स्कूल में आती है और महिला सशक्तिकरण के बारे में जानकारी देती है. अगर उनके साथ किसी प्रकार का फ्रॉड हो रहा हो, चाहे वह साइबर हो या अन्य कोई घटना, तो उससे बचने के उपाय भी बताए जाते हैं.
इतना ही नहीं यदि कोई ऑनलाइन या फिर अन्य किसी तरह के भी फ्रॉड का शिकार हो चुकी है, तो उसे क्या करना चाहिए, इसके बारे में बताया जाता है. साथ ही पुलिस टीम उसकी पूरी मदद भी करती है. पिंक यूनिट की टीम द्वारा उन्हें सेल्फ डिफेंस के तरीके भी सिखाए गए हैं. स्कूल के पास ही महिला थाना होने से उन्हें और भी सुरक्षित महसूस होता है.
पिंक यूनिट से छात्राओं को मिलेगा पुलिस का सहयोग: एसएसपी पौड़ी लोकेश्वर सिंह ने बताया कि पिंक यूनिट की टीम द्वारा जिले के स्कूलों और कॉलेजों में महिला सुरक्षा के संबंध में छात्राओं को जागरूक किया जा रहा है, जिसमें महिला पुलिसकर्मी शामिल हैं.
उन्होंने बताया कि यदि छात्राओं को स्कूल आते-जाते समय कोई समस्या होती है, तो कम्युनिटी पुलिसिंग के जरिये उनकी बात सुनी जाती है और उसका समाधान किया जाता है. पिंक यूनिट के माध्यम से पुलिस का सहयोग छात्राओं और महिलाओं को मिल रहा है, और उनकी समस्याओं का समाधान करने का हर संभव प्रयास किया जा रहा है.
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