पटना : पटना हाईकोर्ट ने भूमि से अवैध कब्जा नहीं हटाए जाने के मामले पर वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिये सुनवाई की. जस्टिस राजेश वर्मा ने सुनवाई करते हुए भागलपुर के जिलाधिकारी को भूमि से अवैध कब्जा तीन सप्ताह में हटाने का आदेश दिया. इस मामले पर अगली सुनवाई 20 मार्च 2025 को की जाएगी.
DM को अवैध कब्जा हटाने का निर्देश : अधिवक्ता दीपक कुमार सिन्हा ने कोर्ट को बताया था कि याचिकाकर्ता के रैयती खरीदी गयी भूमि को निजी विपक्षी को नियमों के विरुद्ध अंचलाधिकारी ने पर्चा वितरित कर दिया. जब याचिकाकर्ता ने ये मामला भागलपुर कलेक्टर के समक्ष रखा गया. उन्होंने पर्चा रद्द कर दिया. इसके बावजूद पर्चाधारी का 2008 से अब तक कब्जा बना हुआ है.
पर्चाधारी का भूमि पर कब्जा : अधिवक्ता दीपक कुमार सिन्हा ने कोर्ट को बताया कि पर्चा रद्द होने के बाद अंचलाधिकारी द्वारा भूमि खाली करने का आदेश दिया गया, लेकिन अभी तक भूमि पर कब्जा पर्चाधारी के कब्जे में है. इस तथ्य को राज्य सरकार ने स्वीकार कर लिया है, लेकिन इसके बाद भी रैयती भूमि पर अवैध कब्जा बना हुआ है.
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20 मार्च 2025 को अगली सुनवाई : कोर्ट ने इस बात पर सख्त नाराजगी जाहिर करते हुए भागलपुर डीएम को आज तलब किया था. कोर्ट ने इस मामले पर सख्त रुख अपनाते हुए भागलपुर जिलाधिकारी को उक्त भूमि से अवैध कब्जा हटाने का निर्देश दिया. इस मामले की अगली सुनवाई 20 मार्च 2025 को की जाएगी.
कार्रवाई की जानकारी उपलब्ध कराने का आदेश : वहीं दूसरी तरफ, पटना हाई कोर्ट ने कथित रूप से फर्जी एनकाउंटर में याचिकाकर्ता के पुत्र प्रिंस कुमार की हत्या किए जाने के मामले में सुनवाई की. जस्टिस विवेक चौधरी ने सुनील कुंवर द्वारा दायर याचिका पर सुनवाई करते हुए पुलिसकर्मियों के विरुद्ध दायर किए गए शिकायत वाद पर की गई कार्रवाई की जानकारी उपलब्ध कराने का आदेश दिया है.
फर्जी मुठभेड़ का आरोप : कोर्ट ने यह आदेश सुनील कुंवर उर्फ सुनील सिंह द्वारा दायर आपराधिक रिट याचिका पर यह आदेश सीतामढ़ी के एसपी व पुपरी के अनुमंडल न्यायिक दंडाधिकारी को दिया है. याचिकाकर्ता के अधिवक्ता जगन्नाथ सिंह ने कोर्ट को बताया कि सुनील सिंह के बेटे की फर्जी मुठभेड़ में पुलिस वालों ने 20 मार्च 2023 को हत्या कर दी.
इसमें 24 पुलिस पदाधिकारियों व उनके सहयोगी आरक्षियों पर इस घटना को अंजाम देने का आरोप है. इस मामले में नानपुर थाना कांड संख्या 133/2023 के रूप में प्राथमिकी दर्ज की गयी. 28 मार्च 2023 को याचिकाकर्ता ने सीतामढ़ी एसपी के समक्ष पुलिसकर्मियों द्वारा उनके पुत्र की फर्जी मुठभेड़ में मारे जाने के सम्बन्ध में अभ्यावेदन दिया.
2 साल पहले परिवाद दायर : 5 अप्रैल 2023 को एक परिवाद पत्र याचिकाकर्ता ने दायर किया. जिसमें सीतामढ़ी एसपी से रिपोर्ट मांगी गयी पर कोई कार्रवाई नहीं हुई. इस मामले में आगे की सुनवाई अब आगामी 18 मार्च 2025 को की जाएगी.
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