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पूर्व सीएमओ से 1 करोड़ 26 लाख की ऑनलाइन ठगी, साइबर ठग 300 गुना मुनाफा का देते थे लालच - Prayagraj News

प्रयागराज में पूर्व सीएमओ से 1 करोड़ 26 लाख की ऑनलाइन ठगी (PRAYAGRAJ NEWS) का मामला सामने आया है. इस मामले में साइबर क्राइम पुलिस स्टेशन की टीम ने महिला समेत तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया है.

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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Jul 6, 2024, 9:32 PM IST

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डीसीपी गंगा पार अभिषेक भारतीय ने दी जानकारी (वीडियो क्रेडिट : ETV bharat)

प्रयागराज : जिले में साइबर क्राइम थाना टीम ने ऑनलाइन ठगी करने वाले एक गिरोह का पर्दाफाश किया है. पुलिस ने पूर्व सीएमओ से 1 करोड़ 26 लाख की ठगी के आरोप में गिरोह की सरगना महिला समेत तीन लोगों को गिरफ्तार किया है. पुलिस का दावा है कि गिरोह के सदस्यों के पास से कई लोगों के बैंक खाते मिले हैं, जिसमें ठगी के पैसे ट्रांसफर किए जाते थे. गिरफ्तार किए गए आरोपी गुजरात के रहने वाले हैं.

डीसीपी गंगा पार अभिषेक भारतीय ने खुलासा करते हुए बताया कि प्रयागराज कमिश्नरेट के साइबर क्राइम पुलिस स्टेशन की टीम ने ऑनलाइन ठगी करने वाले एक गिरोह तीन सदस्यों को गिरफ्तार किया है. साइबर क्राइम पुलिस स्टेशन पर एफआईआर दर्ज हुई थी. पूर्व सीएमओ आलोक वर्मा ने शिकायत दर्ज कराई थी कि उनके बैंक अकाउंट से ट्रेडिंग के नाम पर 1 करोड़ 26 लाख रुपए ट्रांसफर करके ठगी की गई है. इसके बाद गिरोह के तीन सदस्यों को टीम ने गिरफ्तार किया है.

उन्होंने बताया कि गिरफ्तार किए गए अभियुक्तों में एक महिला भी है. पूछताछ में आरोपियों ने अपना नाम सबीना मोहम्मद, पटेल मोहम्मद सोहेल, सैयद अमीरुद्दीन बताया है. यह तीनों गुजरात के रहने वाले हैं. तीनों की गिरफ्तारी सिविल लाइन थाना क्षेत्र से हुई है. उन्होंने बताया कि गिरोह के सदस्य लोगों को लुभाते थे और उन्हें व्हाट्सएप ग्रुप में ऐड करते थे. लोगों को ट्रेडिंग का लालच दिया जाता था. भोले भाले लोगों को ऑनलाइन ट्रेडिंग के माध्यम से पैसे इन्वेस्ट करने के बाद 300 गुना मुनाफा दिए जाने का लालच दिया जाता था. शुरुआत में जो व्यक्ति इनके जाल में फंस जाता था, उनको कुछ प्रॉफिट भी दिया जाता था. लोगों का विश्वास जीतने के बाद उनसे ज्यादा अमाउंट ट्रांसफर कराया जाता था, उसके बाद ट्रेडिंग पेज से लॉगआउट कर देते थे.



उन्होंने बताया कि गिरफ्तार अभियुक्तों ने पूछताछ करने पर बताया कि गिरोह के सदस्यों द्वारा घूम-घूमकर बैंक खातों का कलेक्शन किया जाता था. खाता धारकों को कुछ कमीशन का लालच देकर अपने जाल में फंसा लिया जाता था फिर उन बैंक खातों का खाता नम्बर व इंटरनेट बैंकिग का आईडी पासवर्ड प्राप्त कर लिया जाता था. जिसके बाद उन खातों से इन्वेस्टमेंट के नाम पर पैसों को अभियुक्तों के खाते में डलवा लिया जाता था, जिसके बाद गैंग के सदस्य उन पैसों को चेक व एटीएम के माध्यम से निकाल लेते थे. उन्होंने बताया कि एक करोड़ 26 लाख रुपए से क्रिप्टो करेंसी खरीदी गई थी. क्रिप्टो करेंसी को देश से बाहर ट्रांसफर किया गया. जल्द ही अन्य लोगों को भी गिरफ्तार किया जाएगा. गिरफ्तार किए गए सदस्यों के पास से 2 लैपटाॅप, मैक बुक टेबलेट, एक मोबाइल फोन समेत कई सामान बरामद हुए हैं.

यह भी पढ़ें : बुलंदशहर पुलिस ने साइबर ठगी करने वाले गिरोह का किया भंडाफोड़, 10 आरोपी गिरफ्तार

यह भी पढ़ें : सर्राफा व्यापारी से 26 लाख की ठगी, ज्वेलरी के बदले में कागज के रद्दी से भरा बैग थमाया

डीसीपी गंगा पार अभिषेक भारतीय ने दी जानकारी (वीडियो क्रेडिट : ETV bharat)

प्रयागराज : जिले में साइबर क्राइम थाना टीम ने ऑनलाइन ठगी करने वाले एक गिरोह का पर्दाफाश किया है. पुलिस ने पूर्व सीएमओ से 1 करोड़ 26 लाख की ठगी के आरोप में गिरोह की सरगना महिला समेत तीन लोगों को गिरफ्तार किया है. पुलिस का दावा है कि गिरोह के सदस्यों के पास से कई लोगों के बैंक खाते मिले हैं, जिसमें ठगी के पैसे ट्रांसफर किए जाते थे. गिरफ्तार किए गए आरोपी गुजरात के रहने वाले हैं.

डीसीपी गंगा पार अभिषेक भारतीय ने खुलासा करते हुए बताया कि प्रयागराज कमिश्नरेट के साइबर क्राइम पुलिस स्टेशन की टीम ने ऑनलाइन ठगी करने वाले एक गिरोह तीन सदस्यों को गिरफ्तार किया है. साइबर क्राइम पुलिस स्टेशन पर एफआईआर दर्ज हुई थी. पूर्व सीएमओ आलोक वर्मा ने शिकायत दर्ज कराई थी कि उनके बैंक अकाउंट से ट्रेडिंग के नाम पर 1 करोड़ 26 लाख रुपए ट्रांसफर करके ठगी की गई है. इसके बाद गिरोह के तीन सदस्यों को टीम ने गिरफ्तार किया है.

उन्होंने बताया कि गिरफ्तार किए गए अभियुक्तों में एक महिला भी है. पूछताछ में आरोपियों ने अपना नाम सबीना मोहम्मद, पटेल मोहम्मद सोहेल, सैयद अमीरुद्दीन बताया है. यह तीनों गुजरात के रहने वाले हैं. तीनों की गिरफ्तारी सिविल लाइन थाना क्षेत्र से हुई है. उन्होंने बताया कि गिरोह के सदस्य लोगों को लुभाते थे और उन्हें व्हाट्सएप ग्रुप में ऐड करते थे. लोगों को ट्रेडिंग का लालच दिया जाता था. भोले भाले लोगों को ऑनलाइन ट्रेडिंग के माध्यम से पैसे इन्वेस्ट करने के बाद 300 गुना मुनाफा दिए जाने का लालच दिया जाता था. शुरुआत में जो व्यक्ति इनके जाल में फंस जाता था, उनको कुछ प्रॉफिट भी दिया जाता था. लोगों का विश्वास जीतने के बाद उनसे ज्यादा अमाउंट ट्रांसफर कराया जाता था, उसके बाद ट्रेडिंग पेज से लॉगआउट कर देते थे.



उन्होंने बताया कि गिरफ्तार अभियुक्तों ने पूछताछ करने पर बताया कि गिरोह के सदस्यों द्वारा घूम-घूमकर बैंक खातों का कलेक्शन किया जाता था. खाता धारकों को कुछ कमीशन का लालच देकर अपने जाल में फंसा लिया जाता था फिर उन बैंक खातों का खाता नम्बर व इंटरनेट बैंकिग का आईडी पासवर्ड प्राप्त कर लिया जाता था. जिसके बाद उन खातों से इन्वेस्टमेंट के नाम पर पैसों को अभियुक्तों के खाते में डलवा लिया जाता था, जिसके बाद गैंग के सदस्य उन पैसों को चेक व एटीएम के माध्यम से निकाल लेते थे. उन्होंने बताया कि एक करोड़ 26 लाख रुपए से क्रिप्टो करेंसी खरीदी गई थी. क्रिप्टो करेंसी को देश से बाहर ट्रांसफर किया गया. जल्द ही अन्य लोगों को भी गिरफ्तार किया जाएगा. गिरफ्तार किए गए सदस्यों के पास से 2 लैपटाॅप, मैक बुक टेबलेट, एक मोबाइल फोन समेत कई सामान बरामद हुए हैं.

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