ग्वालियर। चलती ट्रेन में दो माह के बच्चे को चुराने वाले दंपती और एक अन्य महिला को न्यायालय में पेश करने के बाद पुलिस ने उन्हें 5 दिन की न्यायिक हिरासत में जेल भेज दिया. गौरतलब है कि मालवा एक्सप्रेस से 6 अप्रैल की रात को छतरपुर के रहने वाले उमेश अहिरवार और उसकी पत्नी सुखवंती देवी का दो माह का बच्चा चोरी हो गया था. इसी ट्रेन में मथुरा से सवार हुए इंदौर के रहने वाले अमर सिंह चौहान और उसकी पत्नी इंदू चौहान ने अपनी साली रंजना के साथ मिलकर बच्चे को चुरा लिया था.
आधी रात को ट्रेन से चोरी किया बच्चा
यह घटना उस समय हुई थी जब आधी रात के बाद दंपती उमेश और सुखवंती दवा खाकर सो गए. उन्होंने एक अलग बर्थ पर अपने दो माह के बेटे अमन को सुला दिया. जब उनकी नींद डबरा के पास खुली तो पता चला कि बच्चा गायब है. इसके बाद दंपती ने शोर मचाया. लोगों की समझाइश पर वे झांसी रेलवे स्टेशन पर उतर गए. झांसी से वापस उन्हें ग्वालियर जीआरपी भेजा गया. यहां पुलिस ने बच्चे के लापता होने का केस दर्ज किया. इसके बाद पुलिस ने आगरा से झांसी, ललितपुर तक के सीसीटीवी फुटेज खंगाले.
ललितपुर स्टेशन के बाहर सीसीटीवी फुटेज से मिला सुराग
इस दौरान पुलिस ने देखा कि ललितपुर स्टेशन के बाहर एक दंपती बच्चे को लेकर बाहर निकल रहे हैं. ये दंपती पहले ललितपुर से बस द्वारा भोपाल गया. वहां से उन्होंने एक कार किराए पर ली, जिससे वे इंदौर पहुंचे. लेकिन जब मामला गर्मा गया तो दंपती घबरा गए. उन्होंने इंदौर जीआरपी पहुंचकर झूठी कहानी सुनाई और कहा कि ट्रेन में यह बच्चा लावारिस हालत में उन्हें मिला था, जिसे वह जीआरपी को सौंपने आए हैं. पहले तो पुलिस उनकी बातों पर यकीन करती नजर आई लेकिन बच्चा बीच में दो दिन कहां रहा, जब इसके बारे में और सीसीटीवी फुटेज के बारे में दंपती से पूछताछ की गई तो उन्होंने अपना अपराध स्वीकार कर लिया.
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बेटा नहीं होने पर आरोपियों ने की वारदात
बच्चा चुराने वाले चौहान दंपती ने बताया कि उनकी एक लड़की है लेकिन लड़का नहीं है. इसलिए उन्होंने उमेश अहिरवार के 2 महीने के बच्चे को चुरा लिया. फिलहाल ये बच्चा मातृछाया इंदौर में है. बच्चे के माता-पिता उसकी सुपुर्दगी के लिए न्यायालय के आदेश का इंतजार कर रहे हैं. जीआरपी ग्वालियर थाना प्रभारी पंकज दीवान ने बताया कि आरोपियों ने अपराध स्वीकार कर लिया है. बच्चे को ढूंढने के लिए आगरा से लेकर ललितपुर तक के स्टेशन के सीसीटीवी फुटेज खंगाले गए.