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Kullu News: FCA के फेर में फंसा बंदरोल का इंडोर स्टेडियम - Bandrol Indoor Stadium News

जिला कुल्लू में युवा इंडोर स्टेडियम का इंतजार कर रहे हैं, लेकिन 2015 के बाद से इंडोर स्टेडियम का काम अभी भी लटका हुआ है. बता दें कि वन एवं पर्यावरण मंत्रालय से वन संरक्षण अधिनियम (एफसीए) के तहत मंजूरी न मिलने के कारण जिला कुल्लू के कई मामले लटके हुए हैं. पढ़ें पूरी खबर...

Bandrol Indoor Stadium
FCA के फेर में फंसा बंदरोल का इंडोर स्टेडियम
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By ETV Bharat Himachal Pradesh Team

Published : Mar 14, 2024, 6:33 PM IST

कुल्लू: जिला कुल्लू में कहने को खिलाड़ी बहुत हैं, लेकिन खेलों में अपना भविष्य देख रहे युवा यहां इंडोर स्टेडियम के लिए तरस रहे हैं. जिला कुल्लू के युवा खिलाड़ी राष्ट्रीय व अंतरराष्ट्रीय खेल प्रतियोगिताओं में मंडल लेकर कुल्लू जिले का नाम रोशन कर रहे हैं, लेकिन इन्हें अपनी प्रतिभा निखारने के लिए बेहतर सुविधाएं नहीं मिल पा रही हैं. हालांकि पूर्व पूर्व में साल 2015 में कुल्लू के बंदरोल में इंडोर स्टेडियम बनाने के लिए घोषणा तो की गई थी, लेकिन अभी तक यह इंडोर स्टेडियम बन नहीं पाया है.

वन एवं पर्यावरण मंत्रालय से वन संरक्षण अधिनियम (एफसीए) के तहत मंजूरी न मिलने के कारण जिला कुल्लू के कई मामले लटके हुए हैं. इसमें कुल्लू जिले में प्रस्तावित इंडोर स्टेडियम का निर्माण भी शामिल है. पहले यह इंडोर स्टेडियम कुल्लू के ढालपुर मैदान में बनाया जाना प्रस्तावित था. पूर्व मुख्यमंत्री स्व. वीरभद्र सिंह ने अक्टूबर 2015 में कुल्लू को इंडोर स्टेडियम के निर्माण की घोषणा की थी. इसके लिए एक करोड़ 70 लाख रुपये की धन राशि भी मुहैया करवाई गई थी, लेकिन जिस स्थान पर इसे बनाया जाना था. वहां पर बिजली चोर्ड की तारें आ गईं थी. जिस कारण इसका निर्माण नहीं हो पाया और राशि वापस लौटानी पड़ी. इसके बाद वर्ष 2018 में इसकी घोषणा की गई. इसमें पूर्व मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने इंडोर स्टेडियम निर्माण के लिए 10 लाख रुपये की घोषणा की, लेकिन आज तक इंडोर स्टेडियम का निर्माण नहीं हो पाया है.

इंडोर स्टेडियम बनने से कुल्लू जिले में राष्ट्रीय व अंतरराष्ट्रीय स्तर की प्रतियोगिता का आयोजन होना था, लेकिन इंडोर स्टेडियम न बनने से घाटी के युवाओं को सही प्रशिक्षण नहीं मिल पा रहा है. इसके बावजूद भी यहां पर कई खिलाड़ी अपने स्तर पर कई मेडल अपने नाम कर रहे हैं. वहीं, विभिन्न प्रतियोगिताओं में 100 से अधिक खिलाड़ी ऐसे हैं. जो राष्ट्रीय अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिता में भाग ले चुके हैं और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर हिमाचल और कुल्लू जिले का नाम रोशन कर चुके हैं.

जिला कुल्लू के खिलाड़ी अनूप ठाकुर, रमेश कुमार, जितेंद्र सिंह, वंदना, कनिका कपूर का कहना है कि इंडोर स्टेडियम बनने से खिलाड़ियों को कई तरह के खेलों के अभ्यास की सुविधा मिलेगी. इससे खिलाड़ियों को हर मौसम में प्रेक्टिस करने में भी आसानी होगी. ऐसे में खिलाड़ियों के भविष्य को देखते हुए प्रदेश सरकार इस और ध्यान दें और जल्द से जल्द बंदरोल में इंडोर स्टेडियम बनाया जाना चाहिए.

बंदरोल में बनने वाले इंडोर स्टेडियम के लिए वन संरक्षण अधिनियम (एफसीए) का मामला भेजा है अभी तक अनुमति नहीं आई है. इसके अलावा कई अन्य मामले में अभी तक अनुमति नहीं मिली है. जिस कारण कार्य नहीं हो पा रहा है- एंजल चौहान, डीएफओ कुल्लू

ये भी पढ़ें- "राहुल, ममता और केजरीवाल पर अनुराग ठाकुर का पलटवार, CAA पर भ्रम पैदा करना और झूठ बोलना बंद करो"

कुल्लू: जिला कुल्लू में कहने को खिलाड़ी बहुत हैं, लेकिन खेलों में अपना भविष्य देख रहे युवा यहां इंडोर स्टेडियम के लिए तरस रहे हैं. जिला कुल्लू के युवा खिलाड़ी राष्ट्रीय व अंतरराष्ट्रीय खेल प्रतियोगिताओं में मंडल लेकर कुल्लू जिले का नाम रोशन कर रहे हैं, लेकिन इन्हें अपनी प्रतिभा निखारने के लिए बेहतर सुविधाएं नहीं मिल पा रही हैं. हालांकि पूर्व पूर्व में साल 2015 में कुल्लू के बंदरोल में इंडोर स्टेडियम बनाने के लिए घोषणा तो की गई थी, लेकिन अभी तक यह इंडोर स्टेडियम बन नहीं पाया है.

वन एवं पर्यावरण मंत्रालय से वन संरक्षण अधिनियम (एफसीए) के तहत मंजूरी न मिलने के कारण जिला कुल्लू के कई मामले लटके हुए हैं. इसमें कुल्लू जिले में प्रस्तावित इंडोर स्टेडियम का निर्माण भी शामिल है. पहले यह इंडोर स्टेडियम कुल्लू के ढालपुर मैदान में बनाया जाना प्रस्तावित था. पूर्व मुख्यमंत्री स्व. वीरभद्र सिंह ने अक्टूबर 2015 में कुल्लू को इंडोर स्टेडियम के निर्माण की घोषणा की थी. इसके लिए एक करोड़ 70 लाख रुपये की धन राशि भी मुहैया करवाई गई थी, लेकिन जिस स्थान पर इसे बनाया जाना था. वहां पर बिजली चोर्ड की तारें आ गईं थी. जिस कारण इसका निर्माण नहीं हो पाया और राशि वापस लौटानी पड़ी. इसके बाद वर्ष 2018 में इसकी घोषणा की गई. इसमें पूर्व मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने इंडोर स्टेडियम निर्माण के लिए 10 लाख रुपये की घोषणा की, लेकिन आज तक इंडोर स्टेडियम का निर्माण नहीं हो पाया है.

इंडोर स्टेडियम बनने से कुल्लू जिले में राष्ट्रीय व अंतरराष्ट्रीय स्तर की प्रतियोगिता का आयोजन होना था, लेकिन इंडोर स्टेडियम न बनने से घाटी के युवाओं को सही प्रशिक्षण नहीं मिल पा रहा है. इसके बावजूद भी यहां पर कई खिलाड़ी अपने स्तर पर कई मेडल अपने नाम कर रहे हैं. वहीं, विभिन्न प्रतियोगिताओं में 100 से अधिक खिलाड़ी ऐसे हैं. जो राष्ट्रीय अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिता में भाग ले चुके हैं और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर हिमाचल और कुल्लू जिले का नाम रोशन कर चुके हैं.

जिला कुल्लू के खिलाड़ी अनूप ठाकुर, रमेश कुमार, जितेंद्र सिंह, वंदना, कनिका कपूर का कहना है कि इंडोर स्टेडियम बनने से खिलाड़ियों को कई तरह के खेलों के अभ्यास की सुविधा मिलेगी. इससे खिलाड़ियों को हर मौसम में प्रेक्टिस करने में भी आसानी होगी. ऐसे में खिलाड़ियों के भविष्य को देखते हुए प्रदेश सरकार इस और ध्यान दें और जल्द से जल्द बंदरोल में इंडोर स्टेडियम बनाया जाना चाहिए.

बंदरोल में बनने वाले इंडोर स्टेडियम के लिए वन संरक्षण अधिनियम (एफसीए) का मामला भेजा है अभी तक अनुमति नहीं आई है. इसके अलावा कई अन्य मामले में अभी तक अनुमति नहीं मिली है. जिस कारण कार्य नहीं हो पा रहा है- एंजल चौहान, डीएफओ कुल्लू

ये भी पढ़ें- "राहुल, ममता और केजरीवाल पर अनुराग ठाकुर का पलटवार, CAA पर भ्रम पैदा करना और झूठ बोलना बंद करो"

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