इंदौर। रणदीप हुड्डा की फिल्म वीर सावरकर 22 मार्च को रिलीज होने जा रही है. कांग्रेस ने चुनाव आचार संहिता के बीच फिल्म को रिलीज करने का विरोध शुरू कर दिया है. कांग्रेस का आरोप है कि इस फिल्म के जरिए चुनाव में अहिंसा के प्रति नफरत का प्रचार होगा. लिहाजा लोकसभा चुनाव संपन्न होने तक इस फिल्म को प्रतिबंधित किया जाए. कांग्रेस नेता राकेश सिंह यादव ने इस मामले में सुप्रीम कोर्ट से संज्ञान लेने का अनुरोध किया है, उन्होंने अपनी शिकायत भेजी है.
चुनाव के बाद फिल्म को रिलीज करने की मांग
22 मार्च को रणदीप हुड्डा की फिल्म वीर सावरकर रिलीज होने जा रही है. जिसके टीजर में ही वीर सावरकर को अहिंसा विरोधी दर्शाया गया है. कांग्रेस का आरोप है कि लोकसभा चुनाव के पहले महात्मा गांधी की हत्या और हिंसा को सही साबित करने और अहिंसा से नफरत दिखाने वाली फिल्म से देश में वैमनस्यता पैदा हो सकती है. इसके चलते फिल्म को लोकसभा चुनाव संपन्न होने तक प्रतिबंधित किया जाए. प्रदेश कांग्रेस महासचिव राकेश सिंह यादव ने फिल्म वीर सावरकर को लोकसभा चुनाव सम्पन्न होने तक प्रतिबंधित करने के लिए चुनाव आयोग एवं सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस को शिकायत भेजी है.
'आदर्श आचार संहिता का खुला उल्लंघन'
म.प्र.कांग्रेस कमेटी महासचिव राकेश सिंह यादव ने कहा कि "इस फिल्म का रिलीज होना ही आदर्श आचार संहिता का खुला उल्लंघन है. नतीजतन फिल्म पर चुनाव आयोग को तत्काल प्रतिबंध लगाना चाहिए. वर्तमान लोकसभा चुनाव में आदर्श आचार संहिता का पालन कराने के लिए इतिहास के गलत तथ्यों एवं राष्ट्रपिता महात्मा गांधी को अपमानित करके देश में अराजकता का माहौल बनाने के उद्देश्य से फिल्म रिलीज करना आदर्श आचार संहिता का खुला उल्लंघन है".
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'वीर सावरकर को अहिंसा में विश्वास नहीं'
शिकायत पत्र के साथ फिल्म के टीजर की वायरल लिंक भी है. जिसमें स्पष्ट तौर पर बोला गया है कि "वीर सावरकर को अहिंसा में विश्वास नहीं है. गांधी से नहीं अहिंसा से नफरत है. इसका साफ अर्थ है कि गांधी से ही नफरत है और हिंसा में विश्वास है. इस फिल्म का सीधा उद्देश्य महात्मा गांधी की हत्या एवं हिंसा को सही साबित करना है".