फरीदाबाद: शुक्रवार को हरियाणा महिला आयोग के कार्यालय पर जनसुनवाई हुई. आयोग की चेयरपर्सन रेनू भाटिया ने 9 केसों की सुनवाई की. इनमें घरेलू हिंसा, छेड़छाड़, पति-पत्नी के बीच विवाद जैसे केस थे. सुनवाई में एक केस ऐसा सामने आया जिससे सभी के होश उड़ गए. मामला ये था कि पति के जिंदा रहते हुए दलालों ने नगर निगम की मिली भगत से महिला की विधवा पेंशन बनवा दी. महिला का आरोप है के विधवा पेंशन बनवाने वाले दलाल ने करीब डेढ़ साल तक उसका शोषण किया.
फरीदाबाद में विधवा पेंशन घोटाला: हरियाणा महिला आयोग की चेयरपर्सन रेनू भाटिया ने कहा "फरीदाबाद में कुल नौ मामलों को लेकर सुनवाई हुई. जिनमें घरेलू हिंसा, छेड़छाड़, पति पत्नी के बीच विवाद थे. इनमें से कुछ मामलों को आयोग ने सुलझा दिया. एक मामला ऐसा सामने आया जिसमें महिला के साथ विधवा पेंशन के नाम पर धोखा किया गया. बारीकी से मामला समझने पर पता चला कि महिला को अपनी बेटी की पेंशन बनवानी थी, लेकिन दलाल ने महिला की विधवा पेंशन बना दी.
हरियाणा महिला आयोग ने की सुनवाई: हैरानी की बात है कि महिला को करीब डेढ़ साल तक ये नहीं मालूम था कि उसकी विधवा पेंशन बनी हुई है. नियम के मुताबिक विधवा पेंशन बनवाने के लिए महिला के पति का डेथ सर्टिफिकेट और शमशान घाट की पर्ची जरूरी होती है. अब सवाल उठता है कि पति के जिंदा रहते हुए कैसे महिला की विधवा पेंशन बनाई गई. ऐसे में साफ है कि पेंशन विभाग में बड़ा घोटाला किया जा रहा है.
आरोपी पर यौन शोषण का आरोप: रेनू भाटिया ने कहा कि जिस दलाल के ज़रिये महिला ने पेंशन बनवाई थी. उसी ने महिला के साथ करीब डेढ़ साल तक ब्लैकमेल कर शारीरिक संबंध बनाए. पीड़ित महिला के मुताबिक दलाल की नज़र अब उसकी बेटी पर थी. जिसका उसने विरोध किया तो दोनों के बीच अनबन हो गई. जिसके बाद दलाल ने महिला के खिलाफ शिकायत दर्ज करवा दी कि ये महिला विधवा पेंशन ले रही है, जबकि महिला का पति जिंदा है.
हरियाणा महिला आयोग की चेयरपर्सन रेनू भाटिया ने कहा की पेंशन का मुद्दा बहुत गंभीर है कि किस तरह से अधिकारियों, कर्मचारियों और दलालों की मिलीभगत से ये गिरोह सक्रिय है. इस तरह महिलाओं के साथ शोषण भी हो रहा है. उन्होंने कहा कि ये तो अभी केवल एक मामला सामने आया है. हो सकता है कि जांच के बाद और मामले भी मामले सामने आ सकते हैं.