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देहरादून में फर्जी IAS बनकर 6 महीने किराए पर रहा युवक, 22 लाख की चपत लगाई, आपत्तिनजक फोटो से करता रहा ब्लैकमेल - Dehradun Fake IAS Fraud

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By ETV Bharat Uttarakhand Team

Published : Jul 25, 2024, 8:33 AM IST

Updated : Jul 25, 2024, 6:24 PM IST

Fake IAS tenant duped people of lakhs In Dehradun देहरादून में ठगी और धोखे का अनोखा मामला सामने आया है. एक शख्स पर खुद को आईएएस अफसर बताकर किराए पर रहकर लाखों रुपए की ठगी और गहनों की चोरी का आरोप लगा है. इस शख्स को खुद पीड़ित की रिश्तेदार किराएदार बनाकर लाई थी. क्या है ये पूरा मामला, जानिए इस खबर में.

DEHRADUN CRIME NEWS
देहरादून अपराध समाचार (ETV Bharat Graphics)

देहरादून: कोतवाली पटेल नगर क्षेत्र के अंर्तगत एक युवक फर्जी आईएएस बनकर किराए पर रहा और दंपति के लाखों रुपए लेकर कर चंपत हो गया. इतना ही नहीं, रुपए के साथ घर में रखे लाखों रुपए के गहने भी चोरी करके फरार हो गया. पीड़ित की तहरीर के आधार पर आरोपी के खिलाफ कोतवाली पटेल नगर में मुकदमा दर्ज कर पुलिस मामले की जांच कर रही है.

परिचित ने दिलवाया था घर: कारोबारी ग्रांट निवासी पीड़ित ने एसएसपी को शिकायत दी है कि उनके पड़ोस में उनकी मौसी का परिवार रहता है. 20 अगस्त 2023 को मौसी की लड़की अपने एक दोस्त हिमांशु जुयाल निवासी गाजियाबाद को किराए पर रहने के लिए अपने साथ लेकर आई थी. लड़की ने उसका परिचय आईएएस अधिकारी के रूप में दिया. लड़की ने बताया कि हिमांशु वर्तमान में स्टडी लीव पर चल रहा है.

फर्जी डाक्यूमेंट दिखाकर जीता भरोसा: हिमांशु ने बताया कि वह पीएचडी कर रहा है. उसकी नियुक्ति एफसीआई बलरामपुर में है. साथ ही उसने अपना आई कार्ड भी एलबीएस अकादमी मसूरी का दिखाया था. इस पर पीड़ित परिवार को हिमांशु पर विश्वास हो गया. मौसी की लड़की के कहने पर उसे अपने यहां किराए पर रख लिया. एक दिन हिमांशु ने कहा कि उसके ताऊ बीरेन्द्र जुयाल अखिल भारतीय बागवानी में निदेशक हैं और उनसे वह कोई भी बड़ा काम आसानी से करवा सकता है. पीड़ित की एफसीआई में नौकरी लगवा सकता है.

फिर मांगे 6 लाख: हिमांशु को रहते हुए करीब 06 महीने हो गए और एक दिन हिमांशु ने कहा कि गाजियाबाद में उसका मकान बन रहा है, इसके लिए मदद चाहिए. पीड़ित ने विश्वास में आकर हिमांशु को 6 लाख 23 हजार रुपए दे दिए. इसके बाद वह अपने घर गाजियाबाद चला गया. जब वह वहां से नहीं वापस आया तो पीड़ित ने संपर्क करने की कोशिश की, लेकिन वह हर बार टालमटोल करने लगा.

पत्नी से भी ले गया 8 लाख रुपये: पीड़ित में अपनी पत्नी से पूछा तो पता चला कि वह साढ़े आठ लाख रुपए उनकी पत्नी से भी ले गया है. इसके बाद उन्होंने अपने घर में देखा तो पता चला कि उनकी पत्नी के सात लाख रुपए के गहने भी गायब हैं. इतना ही नहीं हिमांशु ने सवा लाख रुपए का फोन भी पीड़ित के नाम से खरीदा, जिसकी वह किश्त अदा कर रहे हैं. आरोप है कि अब वो पैसे वापसी के नाम पर टालमटोल कर रहा है.

सरकारी नौकरी लगवाने का झांसा दिया: आरोपी हिमांशु जुयाल ने पीड़ित और उसकी पत्नी को सरकारी नौकरी लगवाने का झांसा दिया था. इसके बाद पीड़ित के नाम फूड कॉरपोरेशन आफ इंडिया से जारी लाइसेंस सर्टिफिकेट दिया. कुछ दिन बाद पीड़ित की पत्नी का भारतीय मानक ब्यूरो से जारी नियुक्ति पत्र भी दिया गया. बाद में जांच करने पर दोनों फर्जी निकले. पीड़ित ने आरोपी को कई बार फोन किया तो कहा कि स्टडी लीव के चलते उसका भुगतान रुका है. इस दौरान आरोपी 24 मार्च को पीड़ित को दिल्ली पालम मेट्रो स्टेशन पर मिला. वहां आरोपी ने पीड़ित को उसकी पत्नी की आपत्तिजनक फोटो दिखाई और किसी को बताने पर उसकी पत्नी की फोटो वायरल करने की धमकी दी. महीनों तक आरोपी के झांसे में रहे पीड़ित ने तंग आकर एसएसपी को शिकायत दर्ज कराई.

कोतवाली पटेल नगर प्रभारी कमल सिंह ने बताया है कि पीड़ित की तहरीर के आधार पर आरोपी हिमांशु जुयाल के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया गया है. पुलिस मामले की जांच कर रही है. साथ ही पुलिस द्वारा आरोपी की तलाश की जा रही है.

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परिचित ने दिलवाया था घर: कारोबारी ग्रांट निवासी पीड़ित ने एसएसपी को शिकायत दी है कि उनके पड़ोस में उनकी मौसी का परिवार रहता है. 20 अगस्त 2023 को मौसी की लड़की अपने एक दोस्त हिमांशु जुयाल निवासी गाजियाबाद को किराए पर रहने के लिए अपने साथ लेकर आई थी. लड़की ने उसका परिचय आईएएस अधिकारी के रूप में दिया. लड़की ने बताया कि हिमांशु वर्तमान में स्टडी लीव पर चल रहा है.

फर्जी डाक्यूमेंट दिखाकर जीता भरोसा: हिमांशु ने बताया कि वह पीएचडी कर रहा है. उसकी नियुक्ति एफसीआई बलरामपुर में है. साथ ही उसने अपना आई कार्ड भी एलबीएस अकादमी मसूरी का दिखाया था. इस पर पीड़ित परिवार को हिमांशु पर विश्वास हो गया. मौसी की लड़की के कहने पर उसे अपने यहां किराए पर रख लिया. एक दिन हिमांशु ने कहा कि उसके ताऊ बीरेन्द्र जुयाल अखिल भारतीय बागवानी में निदेशक हैं और उनसे वह कोई भी बड़ा काम आसानी से करवा सकता है. पीड़ित की एफसीआई में नौकरी लगवा सकता है.

फिर मांगे 6 लाख: हिमांशु को रहते हुए करीब 06 महीने हो गए और एक दिन हिमांशु ने कहा कि गाजियाबाद में उसका मकान बन रहा है, इसके लिए मदद चाहिए. पीड़ित ने विश्वास में आकर हिमांशु को 6 लाख 23 हजार रुपए दे दिए. इसके बाद वह अपने घर गाजियाबाद चला गया. जब वह वहां से नहीं वापस आया तो पीड़ित ने संपर्क करने की कोशिश की, लेकिन वह हर बार टालमटोल करने लगा.

पत्नी से भी ले गया 8 लाख रुपये: पीड़ित में अपनी पत्नी से पूछा तो पता चला कि वह साढ़े आठ लाख रुपए उनकी पत्नी से भी ले गया है. इसके बाद उन्होंने अपने घर में देखा तो पता चला कि उनकी पत्नी के सात लाख रुपए के गहने भी गायब हैं. इतना ही नहीं हिमांशु ने सवा लाख रुपए का फोन भी पीड़ित के नाम से खरीदा, जिसकी वह किश्त अदा कर रहे हैं. आरोप है कि अब वो पैसे वापसी के नाम पर टालमटोल कर रहा है.

सरकारी नौकरी लगवाने का झांसा दिया: आरोपी हिमांशु जुयाल ने पीड़ित और उसकी पत्नी को सरकारी नौकरी लगवाने का झांसा दिया था. इसके बाद पीड़ित के नाम फूड कॉरपोरेशन आफ इंडिया से जारी लाइसेंस सर्टिफिकेट दिया. कुछ दिन बाद पीड़ित की पत्नी का भारतीय मानक ब्यूरो से जारी नियुक्ति पत्र भी दिया गया. बाद में जांच करने पर दोनों फर्जी निकले. पीड़ित ने आरोपी को कई बार फोन किया तो कहा कि स्टडी लीव के चलते उसका भुगतान रुका है. इस दौरान आरोपी 24 मार्च को पीड़ित को दिल्ली पालम मेट्रो स्टेशन पर मिला. वहां आरोपी ने पीड़ित को उसकी पत्नी की आपत्तिजनक फोटो दिखाई और किसी को बताने पर उसकी पत्नी की फोटो वायरल करने की धमकी दी. महीनों तक आरोपी के झांसे में रहे पीड़ित ने तंग आकर एसएसपी को शिकायत दर्ज कराई.

कोतवाली पटेल नगर प्रभारी कमल सिंह ने बताया है कि पीड़ित की तहरीर के आधार पर आरोपी हिमांशु जुयाल के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया गया है. पुलिस मामले की जांच कर रही है. साथ ही पुलिस द्वारा आरोपी की तलाश की जा रही है.

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Last Updated : Jul 25, 2024, 6:24 PM IST
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