जयपुर : कांग्रेस और विपक्षी दल बीजेपी को संविधान और दलित विरोधी बताकर आंदोलन कर रहे हैं. वहीं, बीजेपी कांग्रेस को डॉ. अम्बेडकर का विरोधी साबित कर रही है. बीजेपी अपने खिलाफ विपक्ष की ओर से बनाए गए इस नेगेटिव माहौल को तोड़ने और जनता के बीच दलित हितैषी का चेहरा बनाने के लिए संविधान गौरव अभियान शुरू किया है. बीजेपी राजस्थान के साथ ही देशभर में 11 से 25 जनवरी तक संविधान गौरव अभियान शुरू कर दिया है. 15 दिवसीय अभियान में पार्टी नेता जनता को यह समझाने का प्रयास करेंगे कि संविधान और दलितों अधिकारों की असली रक्षक बीजेपी है. इसके लिए पार्टी की ओर से बूथ स्तर तक विभिन्न कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे. देश में संविधान के मान-सम्मान और अपमान को लेकर सियासी घमासान मचा हुआ है.
एक पखवाड़ा चलेगा अभियान : संविधान गौरव अभियान संयोजक गोरधन वर्मा ने बताया कि 11 से 25 जनवरी संविधान दिवस तक शुरू किया गया है. इस दौरान बीजेपी के बूथ और मंडल स्तर तक कार्यक्रम होंगे. इस कार्यक्रम को लेकर राजस्थान में प्रदेश, जिला स्तर पर समितियां गठित की जा चुकी हैं. वहीं, मंडल स्तर तक समितियां गठित की जा रही हैं. वर्मा ने बताया कि संगोष्ठी, सेमिनार, सभा, प्रतियोगिताएं सहित छोटे बड़े 50 कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे. तीन स्तरों में अभियान चलाया जाएगा, जनता के बीच जाकर संविधान की प्रस्तावना, आम आदमी के अधिकार और कर्तव्य की जानकारी देंगे. इसके साथ ही बीजेपी और मोदी सरकार की ओर से दलितों के लिए शुरू की गई कल्याणकारी योजनाएं और अंबेडकर के पंच तीर्थ स्थलों के विकास सहित अन्य कार्यों की जानकारी दी जाएगी.
वर्मा ने बताया कि संविधान के प्रति हमें सम्मान और गौरव है. दुनिया में सभी देशों का अपना अपना संविधान है, हमारे संविधान निर्माताओं आम नागरिक को ध्यान में रखकर ही संविधान बनाया. आम आदमी के जीवन में किस प्रकार की सुविधाएं चाहिए, उनके कर्तव्य और अधिकार क्या हैं? इनके प्रति आम नागरिक को जागृत करना चाहते हैं कि संविधान को लेकर वो जानकारी प्राप्त कर लें.
कांग्रेस के दुष्प्रचार को तोड़ा जाएगा : गोरधन वर्मा ने बताया कि इसके अलावा कांग्रेस की ओर से बाबा साहब अम्बेडकर के बार-बार अपमान करने के बारे में बताया जाएगा. 25 जनवरी को संविधान की प्रस्तावना पढ़ी जाएगी. इन कार्यक्रमों में केंद्रीय मंत्री, नेता, राज्य के मंत्री और प्रदेश स्तर के नेता शामिल होंगे. वर्मा ने कांग्रेस पर हमला बोलते हुए कहा कि विपक्ष हमारे खिलाफ संविधान काे लेकर भ्रम पैदा करते हैं कि हम सम्मान नहीं करते हैं, जबकि उन्हें याद होना चाहिए कि पीएम मोदी पहली बार संसद पहुंचे तो सीढ़ियों को प्रणाम किया. अंदर संविधान को माथे से लगाया, तो इससे बड़ा संविधान के सम्मान का दूसरा उदाहरण क्या हो सकता है? अभियान के दौरान नीचे स्तर तक लोगों के बीच संविधान की प्रतियां लेकर जा रहे हैं. लोगों को बताया जाएगा कि संविधान में क्या क्या विशेषताएं, ताकि लोग संविधान की रक्षा के लिए कृत संकल्प होंगे. इसके बाद कोई भी संविधान के साथ छेड़छाड़ नहीं पाएंगे.