गया: बिहार के बोधगया स्थित मगध विश्वविद्यालय का आज 63वां स्थापना दिवस मनाया गया. इस दौरान एक भव्य समारोह का आयोजन किया गया. इस कार्यक्रम में राज्यसभा के उप सभापति हरिवंश सिंह बतौर मुख्य अतिथि शामिल हुए. इसके अलावा कई अन्य गणमान्य लोग भी समारोह में पहुंचे थे. कार्यक्रम का शुभारंभ मगध विश्वविद्यालय के छात्र-छात्राओं द्वारा स्वागत गीत गाकर शुरू किया गया.
63वां स्थापना दिवस मनाया गया: इस मौके पर मगध विश्वविद्यालय के कुलपति शशि प्रताप शाही ने कहा कि आज मगध विश्वविद्यालय का 63वां स्थापना दिवस समारोह मनाया जा रहा है. यह समारोह प्रति वर्ष मनाया जाता है. इसका मुख्य उद्देश्य विश्वविद्यालय के साल भर के किए गए क्रिया-कलापों पर विस्तृत रूप से चर्चा करना है. साथ ही विश्वविद्यालय परिसर को और भी कैसे अत्याधुनिक बनाया जाए, यहां सुविधा अधिक से अधिक हो, इन विषयों पर विस्तृत रूप से चर्चा की जाती है. बता दें कि कार्यक्रम में कई विभागों के विभागाध्यक्ष और गणमान्य लोग एवं छात्र-छात्राएं शामिल हुए.
"आज मगध विश्वविद्यालय का 63वां स्थापना दिवस समारोह मनाया जा रहा है. जिसका उद्देश्य विश्वविद्यालय के साल भर के किए गए क्रिया-कलापों पर विस्तृत रूप से चर्चा करना है. आने वाले समय में मगध विश्वविद्यालय और अधिक सुविधाओं से लैस होगा. शैक्षणिक सत्र भी बेहतर होगा. इसके लिए हमलोग लगातार प्रयासरत है." - शशि प्रताप शाही, कुलपति, मगध विश्वविद्यालय
1962 को हुई थी स्थापना: बता दें कि ज्ञान भूमि बोधगया के गया-डोभी रोड पर स्थित मगध विश्वविद्यालय की स्थापना 1 मार्च 1962 को हुई थी. स्थापना काल से लेकर कई दशक तक बिहार के सबसे बड़े विश्वविद्यालय का दर्जा मगध विश्वविद्यालय को प्राप्त था. गौरतलब हो कि मगध विश्वविद्यालय में यूजीसी के तहत 18 कोर्स चल रहे हैं. 7 अन्य कोर्स सेल्फ फाइनेंस से चलते हैं. इनमें ज्यादातर व्यवसायिक कोर्स शामिल हैं. एक समय 30 से ज्यादा कोर्स चलते थे. विश्वविद्यालय से वित्तिय राशि और सहायता नहीं मिलने के बाद कई कोर्स बंद कर दिए गए.
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