रायपुर: विष्णु देव साय सरकार अब सांय सांय फैसले लेने लगी है. साय सरकार ने ताजा फैसला अफसरों को लेकर लिया है. सरकार के नए फैसले के मुताबिक अब राज्य सरकार के अफसर किराए पर लग्जरी गाड़ियों का इस्तेमाल नहीं कर सकेंगे. साय सरकार ने इसपर रोक लगा दी है. नए फैसले के बाद से अफसरों के ऐशो आराम में कटौती होगी. सरकार की कोशिश है कि
अफसरों के ठाठ बाट में कटौती: छत्तीसगढ़ सरकार में अब सरकारी अधिकारी और नेता किराए की महंगी और लग्जरी गाड़ियों का इस्तेमाल नहीं कर पाएंगे. सरकारी विभागों को लेकर निगम मंडल और प्राधिकरण सहित उपक्रमों में किराए की गाड़ियों के उपयोग पर वित्त विभाग ने तत्काल प्रभाव से रोक लगा दी है. राज्य सरकार ने इससे संबंधित आदेश वित्त सचिव मुकेश कुमार बंसल की ओर से जारी भी कर दिए हैं. आदेश के अनुसार विशेष और खास परिस्थितियों में ही किराए की गाड़ियों का उपयोग अफसर कर पाएंगे. इसके लिए वित्त विभाग की अनुमति लेना जरुरी होगी. इतना ही नहीं वित्त विभाग ने किराया सूची भी जारी किया है.
फिजूलखर्ची और लापरवाही की मिल रही थी शिकायत: वित्त विभाग से मिली जानकारी के मुताबिक राज्य सरकार के सभी विभागों और उपक्रमों में पर्याप्त वाहन मौजूद हैं. इसके बाद भी अफसर दूसरी गाड़ियों में घूमते नजर आ चुके हैं. राज्य सरकार की ओर से सरकारीे वाहनों के नंबर की सीरीज 02 और 03 है. प्रशासनिक वाहनों के नंबर सीजी 02 है. इसके साथ ही पुलिस विभाग के वाहनों का नंबर 03 से शुरू होता है लेकिन ज्यादातर विभागों के अधिकारी और पुलिस अफसर इन नंबर वाली गाड़ियों का इस्तेमाल ना करते हुए प्राइवेट नंबर की गाड़ियों पर घूमते हैं. इसके बदले सरकारी खजाने से हर महीने मोटी रकम का भुगतान उन किराए की गाड़ियों के लिए किया जाता है. अब राज्य सरकार की ओर से किराए के वाहनों को हायर करने पर रोक लगा दी गई है. विपरीत परिस्थितियों में भी अफसर लग्जरी गाड़ियों का इस्तेमाल कर सकते हैं.
वित्त विभाग की शर्त: वित्त विभाग ने अधिकारियों को निजी वाहनों के उपयोग में कुछ शर्तों के साथ छूट दी है. शर्त ये है कि सरकार ने वाहनों की पात्रता और किराया तय किया हुआ है. वित्त विभाग के आदेशानुसार इनोवा, महिंद्र एक्सयूवी 700, टाटा हैरियर और टाटा सफारी का उपयोग कलेक्टर, एसपी, विभाग के अध्यक्ष या उससे ऊपर के अधिकारी ही कर सकते हैं.