कानपुर : कानपुर की सीसामऊ से सपा विधायक इरफान सोलंकी, उसके भाई रिजवान और अन्य साल 2022 में आगजनी मामले में जेल भेजे गए थे. इसके बाद इरफान को कानपुर से महराजगंज जेल भेज दिया गया था. पिछले कई महीने से इरफान वहीं बंद हैं. बीते 3 जून को मामले में विधायक इरफान सोलंकी, उनके भाई रिजवान सोलंकी और अन्य लोगों को आगजनी मामले में एमपी-एमएलए कोर्ट ने दोषी करार दिया था. आज 7 जून को कोर्ट ने दोषियों को सजा सुनाई. इरफान और उनके रिजवान को 7 साल कैद की सजा सुनाई गई है. अब इरफान की विधायकी भी जानी तय है.
गौरतलब है कि सीसामऊ क्षेत्र से सपा विधायक इरफान सोलंकी समेत उनके छोटे भाई रिजवान सोलंकी, शौकत अली, मो. शरीफ और इसराइल आटे वाला पर इरफान की पड़ोसी नजीर फातिमा ने प्लॉट पर कब्जा करने की नीयत से आगजनी करने का आरोप लगाया था. 08 नवंबर 2022 की घटना की एफआईआर दर्ज होने के बाद सीसामऊ से सपा विधायक इरफान सोलंकी फर्जी आधार कार्ड बनवाकर फरार हो गए थे. बाद में आत्मसमर्पण करने के बाद दो सालों से विधायक महराजगंज जेल में बंद हैं. जबकि अन्य आरोपी कानपुर जेल में कैद हैं. आगजनी की घटना में रिपोर्ट दर्ज होने के बाद शहर के कई थानों में सपा विधायक के खिलाफ 10 से अधिक मुकदमे दर्ज हुए थे.
आगजनी मामले में 10 तारीखों में फैसला टलने के बाद नजीर फातिमा ने बीते सप्ताह हाईकोर्ट में अर्जी लगाकर जल्द फैसला सुनाने की गुहार लगाई थी. इसके बाद लोकसभा चुनाव के नतीजों से एक दिन पहले देर रात कोर्ट की कार्रवाई शुरू हुई. दोनों पक्षों की दलीलों को सुनने के बाद एमपी-एमएलए कोर्ट ने आगजनी मामले में दोषी करार दिया. जबकि सभी अभियुक्तों को दोषमुक्त करार किया गया.इरफान सोलंकी को 10 साल की सजा संभव है. ऐसे में इरफान की विधायकी भी खतरे में नजर आ रही है.
यह भी पढ़े-'जानवर-जानवर...' चिल्लाते हुए कोर्ट से निकले सपा विधायक इरफान सोलंकी, बोले- एनकाउंटर कराना चाहती थी पुलिस - Irfan Solanki Case