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देहरादून के कैप्टन दीपक शर्मा के जहाज पर हुआ था मिसाइल अटैक, ऐसे बचाई अपनी और बाकी सदस्यों की जान

Dehradun Captain Deepak Sharma Saved Many Lives देहरादून के कैप्टन दीपक शर्मा उन रियल हीरो में शुमार हो गए हैं, जिन्होंने अपनी जान की बाजी लगाकर कई सदस्यों की जान बचाई. दरअसल, अदन की खाड़ी में मालवाहक जहाज पर हूती विद्रोहियों ने मिसाइल दाग दिया था. जिसमें दो लोगों की मौत हो गई, लेकिन दीपक शर्मा ने बहादुरी दिखाते हुए बाकी सदस्यों की जान बचाई

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By ETV Bharat Uttarakhand Team

Published : Mar 12, 2024, 8:00 PM IST

देहरादून (उत्तराखंड): देहरादून के डिफेंस कॉलोनी के रहने वाले कैप्टन दीपक शर्मा ने अपनी बहादुरी से न केवल कई सदस्यों की जान बचाई, बल्कि इस काम से लोगों का दिल भी जीता है. दीपक शर्मा हाल ही में अदन की खाड़ी में मालवाहक जहाज के साथ जा रहे थे. तभी उनके जहाज पर हूती विद्रोहियों ने मिसाइल से हमला कर दिया. अचानक हुए इस हमले में उनके दो सहयोगी की मौत हो गई. जबकि, बाकी सदस्यों को दीपक शर्मा ने अपनी जान को जोखिम में डालकर सकुशल बचाया.

जानकारी के मुताबिक, मालवाहक जहाज पर 23 सदस्य सवार थे. इन सभी की जान कैप्टन दीपक शर्मा ने बमुश्किल बचाई. बताया जा रहा है कि कैप्टन शर्मा ने अपनी जान को खतरे में डालते हुए घायलों को सहारा देने के लिए कई जोखिम उठाए. उन्होंने एक-एक कर घायलों को उठा कर राहत नौका तक पहुंचाया. उनके इस कार्य और बहादुरी की जमकर प्रशंसा हो रही है.

कैप्टन दीपक शर्मा करीब 20 साल से मर्चेंट नेवी में काम कर रहे हैं. बताया जा रहा है कि वो मालवाहक शिफ्ट टू पर चीन से माल लेकर अफ्रीका जा रहे थे. जैसे ही उनका जहाज अदन की खाड़ी से होकर गुजर रहा था, वैसे ही एक मिसाइल ने उनके जहाज पर हमला कर दिया. हूती विद्रोहियों के इस हमले में पूरे जहाज पर आग लग गई और जिसकी चपेट में कई सदस्य आ गए.

उनमें से एक भारतीय नागरिक और कैप्टन दीपक शर्मा भी शामिल थे, लेकिन जहाज के कैप्टन दीपक ने हिम्मत नहीं हारी और इस हमले का सिग्नल भारतीय नौसेना तक पहुंचाया. बताया जा रहा है कि इस हमले में दो सदस्यों की मौत हो गई. दीपक शर्मा अकेले भारतीय थे, जो इस जहाज पर मौजूद थे. बाकी सदस्य अलग-अलग देश के निवासी थे.

पद्मश्री माधुरी बड़थ्वाल के दामाद हैं दीपक शर्मा: बता दें कि कैप्टन दीपक शर्मा उत्तराखंड की बड़ी हस्ती और संस्कृति विशेषज्ञ पद्मश्री माधुरी बड़थ्वाल के दामाद हैं. उनकी पत्नी और दो बच्चे देहरादून के डिफेंस कॉलोनी में ही रहते हैं. परिवार के सदस्यों का कहना है कि फिलहाल नौसेना की गाइडलाइन के अनुसार वो इस मामले में ज्यादा कुछ तो नहीं कह सकते, लेकिन इतना जरूर है कि वो फिलहाल जिबूती में रुके हुए हैं.

परिजनों का कहना है कि कैप्टन दीपक शर्मा बाकी सदस्यों के साथ स्वास्थ्य लाभ ले रहे हैं. जल्द वो अपने परिवार के पास देहरादून आने वाले हैं. दीपक शर्मा की इस बहादुरी को लोग सराह रहे हैं. साथ ही उनकी कुशलता के लिए फोन भी कर रहे हैं. भले ही परिजन खुलकर बात नहीं कर रहे हों, लेकिन वो बेसब्री से कैप्टन दीपक शर्मा का इंतजार कर रहे हैं.

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देहरादून (उत्तराखंड): देहरादून के डिफेंस कॉलोनी के रहने वाले कैप्टन दीपक शर्मा ने अपनी बहादुरी से न केवल कई सदस्यों की जान बचाई, बल्कि इस काम से लोगों का दिल भी जीता है. दीपक शर्मा हाल ही में अदन की खाड़ी में मालवाहक जहाज के साथ जा रहे थे. तभी उनके जहाज पर हूती विद्रोहियों ने मिसाइल से हमला कर दिया. अचानक हुए इस हमले में उनके दो सहयोगी की मौत हो गई. जबकि, बाकी सदस्यों को दीपक शर्मा ने अपनी जान को जोखिम में डालकर सकुशल बचाया.

जानकारी के मुताबिक, मालवाहक जहाज पर 23 सदस्य सवार थे. इन सभी की जान कैप्टन दीपक शर्मा ने बमुश्किल बचाई. बताया जा रहा है कि कैप्टन शर्मा ने अपनी जान को खतरे में डालते हुए घायलों को सहारा देने के लिए कई जोखिम उठाए. उन्होंने एक-एक कर घायलों को उठा कर राहत नौका तक पहुंचाया. उनके इस कार्य और बहादुरी की जमकर प्रशंसा हो रही है.

कैप्टन दीपक शर्मा करीब 20 साल से मर्चेंट नेवी में काम कर रहे हैं. बताया जा रहा है कि वो मालवाहक शिफ्ट टू पर चीन से माल लेकर अफ्रीका जा रहे थे. जैसे ही उनका जहाज अदन की खाड़ी से होकर गुजर रहा था, वैसे ही एक मिसाइल ने उनके जहाज पर हमला कर दिया. हूती विद्रोहियों के इस हमले में पूरे जहाज पर आग लग गई और जिसकी चपेट में कई सदस्य आ गए.

उनमें से एक भारतीय नागरिक और कैप्टन दीपक शर्मा भी शामिल थे, लेकिन जहाज के कैप्टन दीपक ने हिम्मत नहीं हारी और इस हमले का सिग्नल भारतीय नौसेना तक पहुंचाया. बताया जा रहा है कि इस हमले में दो सदस्यों की मौत हो गई. दीपक शर्मा अकेले भारतीय थे, जो इस जहाज पर मौजूद थे. बाकी सदस्य अलग-अलग देश के निवासी थे.

पद्मश्री माधुरी बड़थ्वाल के दामाद हैं दीपक शर्मा: बता दें कि कैप्टन दीपक शर्मा उत्तराखंड की बड़ी हस्ती और संस्कृति विशेषज्ञ पद्मश्री माधुरी बड़थ्वाल के दामाद हैं. उनकी पत्नी और दो बच्चे देहरादून के डिफेंस कॉलोनी में ही रहते हैं. परिवार के सदस्यों का कहना है कि फिलहाल नौसेना की गाइडलाइन के अनुसार वो इस मामले में ज्यादा कुछ तो नहीं कह सकते, लेकिन इतना जरूर है कि वो फिलहाल जिबूती में रुके हुए हैं.

परिजनों का कहना है कि कैप्टन दीपक शर्मा बाकी सदस्यों के साथ स्वास्थ्य लाभ ले रहे हैं. जल्द वो अपने परिवार के पास देहरादून आने वाले हैं. दीपक शर्मा की इस बहादुरी को लोग सराह रहे हैं. साथ ही उनकी कुशलता के लिए फोन भी कर रहे हैं. भले ही परिजन खुलकर बात नहीं कर रहे हों, लेकिन वो बेसब्री से कैप्टन दीपक शर्मा का इंतजार कर रहे हैं.

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