नई दिल्ली: केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने कई यूको बैंक खातों में 820 करोड़ रुपये के कथित संदिग्ध तत्काल भुगतान सेवा (आईएमपीएस) लेनदेन से संबंधित एक मामले के संबंध में राजस्थान और महाराष्ट्र के 7 शहरों में 67 स्थानों पर तलाशी ली है. केंद्रीय जांच एजेंसी ने कहा कि सीबीआई ने यूको बैंक से मिली शिकायत के आधार पर पिछले साल 21 नवंबर को मामला दर्ज किया था.
सीबीआई ने एक विज्ञप्ति में दावा किया कि शिकायत में आरोप लगाया गया था कि 10 से 13 नवंबर, 2023 के बीच 7 निजी बैंकों के लगभग 14,600 खाताधारकों से शुरू किए गए आईएमपीएस आवक लेनदेन को 41 हजार से अधिक यूको बैंक खाताधारकों के खातों में गलत तरीके से पोस्ट किया गया था. इसके परिणामस्वरूप मूल बैंकों से वास्तविक डेबिट किए बिना यूको बैंक खातों में 820 करोड़ रुपये जमा किए गए.
कई खाताधारकों ने कथित तौर पर इस स्थिति का फायदा उठाया है, विभिन्न बैंकिंग चैनलों के माध्यम से धन निकालकर गलत लाभ कमाया है. इससे पहले दिसंबर 2023 में, कोलकाता और मैंगलोर में निजी व्यक्तियों और यूको बैंक के अधिकारियों से जुड़े 13 स्थानों पर तलाशी ली गई थी. उपरोक्त के क्रम में, 6 मार्च, 2024 को जोधपुर, जयपुर, जालौर, नागौर, बाड़मेर और फलौदी और महाराष्ट्र के पुणे सहित राजस्थान में व्यापक तलाशी अभियान चलाया गया.
सीबीआई ने दावा किया कि छापे के दौरान, यूको बैंक और आईडीएफसी से संबंधित लगभग 130 आपत्तिजनक दस्तावेजों के साथ-साथ 40 मोबाइल फोन, 2 हार्ड डिस्क और 1 इंटरनेट डोंगल सहित 43 डिजिटल उपकरणों को फोरेंसिक विश्लेषण के लिए जब्त कर लिया गया. इसके अलावा, 30 संदिग्धों को भी मौके पर पाया गया और उनकी जांच की गई.
सीबीआई ने कहा कि तलाशी अभियान के सुचारू संचालन को सुनिश्चित करने के लिए सशस्त्र बलों सहित कुल 120 राजस्थान पुलिस कर्मियों को तैनात किया गया था. इसके अलावा, 130 सीबीआई अधिकारियों और विभिन्न विभागों के 80 स्वतंत्र गवाहों सहित 40 टीमों के 210 कर्मी भी ऑपरेशन में शामिल थे, जिसकी जांच चल रही है.