पटना: बीपीएससी अभ्यर्थियों के विरोध के बीच आयोग ने बापू परीक्षा केंद्र पर रद्द की गयी परीक्षा के बदले शनिवार 4 जनवरी को पुनर्परीक्षा का आयोजन किया. बीपीएससी पीटी रद्द करने की मांग को लेकर अनशन पर बैठे प्रशांत किशोर ने इसे सरकार की हार बताया. उन्होंने कहा कि पुनर्परीक्षा कराकर सरकार ने अपने खिलाफ साक्ष्य बना लिया है, कोर्ट खुलने पर चैलेंज किया जाएगा.
कानूनी लड़ाई के लिए हैं तैयारः प्रशांत किशोर ने ईटीवी भारत से खास बातचीत में कहा कि बीपीएससी की पुनर्परीक्षा, सरकार की जीत नहीं है. उन्होंने कहा कि सरकार ने यह परीक्षा कराकर खुद इस बात का सबूत दे दिया है कि परीक्षा में गड़बड़ी हुई थी. उन्होंने कहा कि आयोग ने कहा कि नॉरमलाइजेशन लागू नहीं किया जाएगा. अब जब एक वैकेंसी की परीक्षा दो अलग-अलग प्रश्न पत्र से लिया गया तो इसका रिजल्ट कैसे देंगे.
"सरकार ने कानूनी तौर पर मान लिया कि एक निश्चित संख्या के साथ अनियमितता हुई थी. कोर्ट में यह एविडेंस होगा. तीन लाख 85 हजार छात्रों ने एक तरह का एग्जाम दिया और करीब 8 हजार छात्र अलग पेपर से एग्जाम दे रहे हैं. हम लोग कोर्ट में इसे चुनौती देंगे."- प्रशांत किशोर, सूत्रधार, जन सुराज पार्टी
नीतीश कुमार में अहंकारः इस मौके पर प्रशांत किशोर ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर जोरदार हमला किया. उन्होंने कहा कि "हम सरकार से आग्रह कर रहे हैं कि आप बच्चों से मिल लीजिए और रास्ता निकालिए नीतीश कुमार की जिद और अहंकार इतनी है कि यह आदमी मानेंगे नहीं." प्रशांत किशोर ने कहा कि इस बार नीतीश का पाला प्रशांत किशोर से पड़ा है. कहा-"हम नीतीश कुमार को झुका देंगे या फिर सत्ता से हटा देंगे."
चुनाव में जनता सिखाएगी सबकः प्रशांत किशोर ने कहा सरकार छात्रों को लाठी से पिटवा रही है. उनका दर्द पांच मिनट में खत्म हो जाएगा. लेकिन जब छात्र वोट से चोट करेगी तो पांच साल तक दर्द रहेगा. प्रशांत किशोर ने कहा कि नीतीश कुमार को यह नहीं भूलना चाहिए कि 5 साल पर चुनाव होता है और अब चुनाव करीब आ रहा है. जिसे आप लाठी से पिटवा रहे हैं वह आने वाले दिनों में वोट से बदला लेगी.
नीतीश पर असंवेदनशील होने के आरोपः प्रशांत किशोर ने कहा कि कोरोना संकट के दौरान नीतीश कुमार ने असंवेदनशीलता दिखाई थी. अपने घर से नहीं निकले थे. इनके अफसर भी अपने बांगले में बैठकर समय बिता रहे थे. उन्होंने कहा कि लोग पैदल बिहार आ रहे थे और नीतीश कुमार अपली कर रहे थे कि जो जहां हैं, वहीं रहिये. उन्होंने कहा कि ऐसा कोई सरकार नहीं कर रही थी.
छात्रों से नहीं मिल रहे हैं नीतीशः प्रशांत किशोर ने कहा कि जनता ने नीतीश कुमार को सबक सिखाया है. नीतीश कुमार को 42 सीट पर समेट दिया. वो कभी राजद और बीजेपी का साथ लेकर मुख्यमंत्री बने हुए हैं. अभी छात्रों से नहीं मिल रहे हैं, लेकिन 10 महीने बाद चुनाव आ रहा है, उस वक्त तो मिलने जाएंगे ही. उन्होने कहा कि नीतीश कुमार छात्रों के साथ अगर अन्याय कर रहे हैं. वोट के जरिए यही छात्र सबक सिखाने का काम करेंगे.
दो जनवरी से कर रहे हैं अनशनः बिहार लोक सेवा आयोग की 70वीं पीटी को रद्द करने की मांग को लेकर जन सुराज पार्टी के सूत्रधार प्रशांत किशोर 2 जनवरी से आमरण अनशन पर बैठे हैं. उन्होंने नीतीश सरकार को 48 घंटे का अल्टीमेटम दिया था. अल्टीमेटम के बाद वह गांधी मैदान में अनशन पर बैठ गए हैं. प्रशांत किशोर के साथ बड़ी संख्या में बीपीएससी के अभ्यर्थी भी मौजूद हैं.
क्यों हो रही है पुनर्परीक्षा : 13 दिसंबर को बीपीएससी पीटी हुई थी. पटना के बापू परीक्षा केंद्र पर कुछ समस्याएं हुईं. प्रश्न पत्र मिलने में देरी हुई, इसे लेकर सेंटर पर हंगामा हो गया. इस सेंटर पर करीब 12 हजार छात्रों ने परीक्षा दी थी. हंगामे के चलते बीपीएससी ने बापू परीक्षा केंद्र पर हुई परीक्षा को रद्द कर 4 जनवरी 2025 को फिर से परीक्षा कराने का फैसला किया. बीपीएससी अभ्यर्थियों द्वारा इसका विरोध किया जा रहा है.
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