गोह प्रखण्ड कार्यालय में भ्रष्टाचार औरंगाबादःबिहार के औरंगाबाद के देवकुंड प्राथमिक विद्यालय के प्रधानाध्यापक शंकर चौधरी की मृत्यु लगभग एक महीने पहले हुई थी. मरने के बाद जब परिजनों ने प्रखंड कार्यालय से परिवार की सूची मांगी तो उसमें मृतक की दो-दो पत्नियों का नाम लिखा हुआ था. ये सूची देख परिजनों का दिमाग चकराया गया. पता चला कि सारा मामला राजस्व कर्मचारी के भ्रष्टाचार से जुड़ा हुआ है.
प्रखण्ड कार्यालय में भ्रष्टाचार का मामलाःदरअसल गोह प्रखण्ड के प्राथमिक विद्यालय देवकुंड में प्रधानाध्यापक शंकर चौधरी के निधन होने तक तो उनकी एक ही पत्नी थी, लेकिन उनके मरने के बाद अब उनकी दो पत्नियां हो गईं हैं, बताया जाता है कि मृत्यु के बाद शंकर चौधरी की दूसरी शादी कराने का ये कारनामा ग्राम पंचायत हथियारा के राजस्व कर्मचारी विनय सिंह ने किया है.
'पैसे की मांग कर रहे थे राजस्व कर्मचारी': जानकारी के अनुसार प्रधानाध्यापक शंकर चौधरी के निधन के बाद उनकी विधवा पत्नी सिताबी देवी ने अंचल कार्यालय में पारिवारिक सूची बनाने के लिए करीब एक माह पहले आवेदन दिया था. राजस्व कर्मचारी ने उनसे इसके लिए पैसे की मांग की थी, लेकिन विधवा सिताबी देवी ने आर्थिक तंगी का हवाला देते हुए पैसे देने से मना कर दिया.
पारिवारिक सूची देखकर चौंक गए परिजनः उसके बाद पीड़िता पारिवारिक सूची के लिए लगातार अंचल कार्यालय का चक्कर लगाती रही, लेकिन राजस्व कर्मचारी कुछ न कुछ बहाना बनाकर टालते रहा. इस दौरान गुरुवार को राजस्व कर्मचारी ने पारिवारिक सूची दे दिया. सूची देखकर परिजन चौंक गए क्योंकि सूची में शंकर चौधरी की दो पत्नियों के नाम दर्ज थे. जिसमें एक पत्नी सिताबी देवी और दूसरी पत्नी सेम्फुल देवी का नाम पारिवारिक सूची में दर्ज था.
"पिछले एक महीने से पारिवारिक सूची के लिए प्रखंड कार्यालय का चक्कर लगा रही थी. राजस्व कर्मचारी का व्यवहार ठीक नहीं था. वह बार-बार पैसे की मांग कर रहा था. अब जो पारिवारिक सूची बना कर दी है, उसमें एक नई पत्नी का नाम जोड़ दिया है. जो कि सरासर गलत है"-सिताबी देवी, मृत शिक्षक की विधवा
डीएम से जांच कर कार्रवाई की मांगः इस सम्बंध में जिला परिषद प्रतिनिधि श्याम सुंदर ने कहा कि बिना जांच किये ही कर्मचारी ने शिक्षक की मौत के बाद उनकी दूसरी शादी करा दी है. उन्होंने डीएम से जांच कर कार्रवाई की मांग की है. इस संबंध में गोह अंचल कार्यालय के सीओ मुकेश कुमार से बात करने की कोशिश की गई तो उनका फोन बंद था. वहीं दाउदनगर एसडीएम मनोज कुमार से इस संबंध में पूछा गया तो उन्होंने बताया कि उन्हें मामले की जानकारी नहीं है.
"मामले की जानकारी हमें नहीं है. अगर इस तरह का मामला है तो पीड़ित पक्ष दाउदनगर एसडीएम कार्यालय में आकर आवेदन दे तत्काल कार्रवाई की जाएगी"- मनोज कुमार, एसडीएम, दाउदनगर
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