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पीएम आवास स्वीकृत तो हुआ लेकिन घर नहीं बना, 80 साल की बुजुर्ग मां को गोद में लेकर भटक रहा बेटा

कोरबा में पीएम आवास में बड़ा घपला सामने आया है. जिसकी शिकायत लेकर एक बेटा और मां कलेक्टर जनदर्शन में पहुंचे.

SCAM IN PM HOUSING IN KORBA
कोरबा पीएम आवास (ETV Bharat Chhattisgarh)

By ETV Bharat Chhattisgarh Team

Published : 4 hours ago

कोरबा: सोमवार को कलेक्टर जनदर्शन में एक 80 साल की बुजुर्ग महिला को उसका बेटा गोद में उठाकर पहुंचा. दोनों पीएम आवास की मांग को लेकर पहुंचे थे. कोरबा के गांव सोनपुरी निवासी 80 साल की महिला समारीन बाई के नाम पर पीएम आवास को स्वीकृति तो मिली है. लेकिन इसके पैसे इन तक नहीं पहुंचे. दो किस्त जारी होने के बाद पैसे किसी और ने निकाल लिए.

समारीन बाई अपने बेटे के साथ टूटी-फूटी झोपड़ी में रह रही हैं. बुजुर्ग महिला चलने में भी असमर्थ है. जिसे उनके ही पुत्र बंधन सिंह गोद में लेकर कलेक्टर से मिलने पहुंचे थे. उनकी मदद जिले के वकील नफीस खान कर रहे हैं. बुजुर्ग महिला को एक अधेड़ उम्र का पुत्र अपने गोद में लेकर कलेक्ट्रेट पहुंचा, तब देखने वालों का दिल पसीज गया. लेकिन घपलेबाजों को तरस नहीं आया.

कोरबा पीएम आवास के भटक रहे मां बेटे (ETV Bharat Chhattisgarh)

प्रशासन की निगरानी में आवास बनवाने की अपील :जनदर्शन में ग्राम सोनपुरी निवासी बंधन सिंह कंवर ने अपनी माता 80 वर्षीय वृद्धा समारिन बाई के नाम पर स्वीकृत प्रधानमंत्री आवास को शासन-प्रशासन की निगरानी में पूर्ण कराने और शासकीय सहायता प्रदान करने का आवेदन प्रस्तुत किया. बंधन सिंह ने बताया कि वह आर्थिक रूप से बहुत ही कमजोर है. उसके परिवार में उन दोनों के अतिरिक्त और कोई नहीं है. वृद्धावस्था के कारण उनकी माता का स्वास्थ्य ठीक नहीं रहता, वह अपने पैरों पर चल भी नहीं पाती. इस कारण वह माता को छोड़कर कहीं आना-जाना नहीं कर पाता है.

दूसरी किस्त कैसे जारी हुई जांच का विषय, ₹6000 भी निकले :बंधन सिंह और उनकी माता के लिए जिला एवं सत्र न्यायालय में प्रेक्टिस करने वाले अधिवक्ता नफीस खान कलेक्टर से मिलने पहुंचे थे. नफीस ने ही उनके लिए आवेदन बनाया और प्रशासन से गुहार लगाई. नफीस का कहना है कि पीएम आवास का अपना सिस्टम होता है. जब मकान की नींव खोद ली जाती है और निर्माण कार्य कुछ पूरा हो जाए. तभी दूसरी किस्त जारी की जाती है. बिना निर्माण किए बिना नींव खोदे दूसरी किस्त कैसे जारी हो गई यह जांच का विषय है.

पीएम आवास योजना के लिए 80 साल की बुजुर्ग को ढोकर ले जाता बेटा (ETV Bharat Chhattisgarh)

वकील ने आरोप लगाया कि किसी दूसरे आवास की फोटो लगाकर फर्जीवाड़ा करते हुए पीएम आवास की राशि को जारी करवाया गया है. इनके खाते से ₹6000 भी निकाल दिए हैं. उन्होंने कहा कि अजगरबहार के बैंक में आवेदन दिया गया है.

पैसे निकालने की जानकारी मैडम ने दी, पेंशन के पैसे भी नहीं मिलते :बंधन सिंह ने बताया कि मेरी माता चलने फिरने में सक्षम नहीं है. उनके आंख से भी कम दिखाई देता है. मैं ही इसे गोद में लेकर कहीं भी आना-जाना करता हूं. इसके नाम पर पीएम आवास की स्वीकृति मिली. हमें ग्राम पंचायत में आने वाली एक मैडम ने बताया कि पीएम आवास स्वीकृत हुआ है. खाते से पैसे भी निकले हैं, हमें तो पेंशन के पैसे भी नहीं मिल रहे हैं.

कलेक्टर ने जनदर्शन में कही ये बात: कलेक्टर ने आवेदन को संज्ञान में लेकर जनपद सीईओ कोरबा को आवेदन की जांच कराकर आवेदक को राहत पहुंचाने के निर्देश दिए. साथ ही समाज कल्याण, स्वास्थ्य विभाग सहित अन्य विभागीय योजनाओं से भी लाभान्वित करने के लिए कहा.

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