राजस्थान

rajasthan

ETV Bharat / state

Rajasthan: ज्ञानदेव आहूजा मेरे बड़े भाई, उम्मीद है वे मुझे आशीर्वाद देंगे, रामगढ़ में साथ मिलकर खिलाएंगे कमल- सुखवंत सिंह - RAJASTHAN BY ELECTION 2024

रामगढ़ उपचुनाव के दंगल के लिए बीजेपी ने सुखवंत सिंह को टिकट दिया है. सुखवंत सिंह ने खुद को भाजपा का सिपाही बताया है.

रामगढ़ का रण
रामगढ़ का रण (फोटो ईटीवी भारत अलवर)

By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : Oct 20, 2024, 8:48 AM IST

अलवर. भाजपा की ओर से प्रत्याशी की घोषणा के साथ ही रामगढ़ सीट पर चुनावी चौसर जमने लगी है. राजस्थान की 7 विधानसभा सीटों पर चुनाव होने वाले हैं. भाजपा ने छह सीटों पर प्रत्याशियों के नाम का ऐलान कर दिया है. अलवर के रामगढ़ से सुखवंत सिंह को प्रत्याशी बनाया गया है जो 2023 में विधानसभा चुनाव में भाजपा की ओर टिकट नहीं मिलने पर पार्टी से बगावत कर असपा के टिकट पर चुनाव मैदान में ताल ठोका था.

हालांकि अभी क्षेत्रवासियों को कांग्रेस के उम्मीदवार के नाम की घोषणा का इंतजार है, लेकिन सहानुभूति की लहर पर सवार कांग्रेस की ओर से रामगढ़ उपचुनाव में दिवंगत जुबेर खां के छोटे पुत्र आर्यन को चुनाव मैदान में उतारने की पूरी तैयारी है. नामांकन दाखिल करने की अंतिम तिथि 25 अक्टूबर होने के कारण अभी राजनीतिक दलों के पास कुछ दिन का समय बचा है. प्रदेश में नामांकन प्रक्रिया चालू है और 25 अक्टूबर आखिरी तारीख है. मतदान 13 नवंबर को होगा और मतगणना 23 नवंबर को होगी.

पढ़ें: Rajasthan: विधानसभा उपचुनाव : बीजेपी ने राजस्थान की 6 सीटों पर की प्रत्याशियों की घोषणा, चौरासी सीट पर निर्णय बाकी

टिकट की घोषणा के बाद शनिवार शाम को अलवर स्थित भाजपा जिला कार्यालय पहुंचे प्रत्याशी सुखवंत सिंह ने खुद को भाजपा का सिपाही बताया और केन्द्रीय मंत्री भूपेन्द्र यादव के नेतृत्व में एकजुटता से चुनाव लड़ने की बात कही. उन्होंने क्षेत्र के बड़े भाजपा नेता ज्ञानदेव आहूजा को लेकर कहा कि वे मेरे बड़े भाई हैं और 2018 के विधानसभा चुनाव में भी मेरे लिए प्रचार कर चुके हैं. उम्मीद है कि इस बार उनका मुझे आशीर्वाद मिलेगा और हम मिलकर रामगढ़ में कमल खिलाएंगे.

भाजपा प्रत्याशी सुखवंत सिंह ने पार्टी के शीर्ष नेतृत्व के प्रति आभार जताते हुए कहा कि पार्टी ने सही समय में टिकट दिया है, किसी भी चुनाव में इतना ही समय होता है. उन्होंने कार्यकर्ताओं का भी धन्यवाद दिया और कहा कि पार्टी ने मुझे रामगढ़ उपचुनाव में प्रत्याशी बनाया है, सब मिलकर पार्टी को विजय दिलाएंगे. पार्टी की ओर से प्रत्याशी की घोषणा के बाद कुछ लोगों की ओर से विरोध किए जाने के सवाल पर सुखवंत सिंह ने कहा कि मुझे इस बारे में पता नहीं है, लेकिन क्षेत्र में सभी कार्यकर्ता एकजुट होकर चुनाव लड़ेंगे. भाजपा कार्यकर्ता हमेशा जीरो ग्राउंड पर कार्य करता है, इसलिए जिले की टीम, मंडल एवं क्षेत्र की टीम और शीर्ष नेतृत्व एकजुट होकर कार्य करेगा, तो परिणाम पॉजिटिव आएगा. यह कोई जाति का चुनाव नहीं है, सभी एकजुट होकर इस कार्य को सफल करेंगे. उन्होंने कहा कि मैं भाजपा का सिपाही था, अब भी हूं. बीच में परिस्थिति कुछ अलग हुई, लेकिन अब ऐसा नहीं है.

आहूजा हमारे बुजुर्ग और सम्मानीय : भाजपा प्रत्याशी सुखवंत सिंह ने कहा कि पार्टी नेता ज्ञानदेव आहूजा हमारे बुजुर्ग है, सम्मानीय है. वर्ष 2018 में भी उन्होंने मेरे लिए चुनाव किया था. जल्द ही मैं उनके पास आशीर्वाद लेने जाउंगा, उम्मीद है कि वे आशीर्वाद देंगे और सभी साथ मिलकर चुनाव लड़ेंगे.

पढ़ें: Rajasthan: सलूंबर सीट से टिकट मिलने के बाद क्या बोलीं शांता देवी ? आप भी सुनिए

जानिए कौन है सुखवंत सिंह : भाजपा प्रत्याशी सुखवंत सिंह 2005 में रामबास पंचायत समिति के सदस्य रहे थे. 2009 में गोविंदगढ़ से पंचायत समिति सदस्य का चुनाव जीतकर लक्ष्मणगढ़ पंचायत समिति के प्रधान बने. उसी दौरान वे भाजपा में शामिल हुए और तभी से भाजपा के सदस्य के रूप में कार्य कर रहे हैं. वर्ष 2018 में रामगढ़ विधानसभा क्षेत्र से भाजपा ने ज्ञानदेव आहूजा का टिकट काट सुखवंत सिंह को प्रत्याशी बनाया. उस समय वे लोगों की नजर में आए. हालांकि 2018 विधानसभा चुनाव हार गए, लेकिन 71083 वोट मिले. वहीं 2023 में विधानसभा चुनाव में भाजपा की ओर से टिकट की दावेदारी पेश की, लेकिन टिकट नहीं मिलने पर पार्टी से बगावत कर असपा के टिकट पर रामगढ़ से चुनाव लड़ा और 74069 वोट हासिल कर दूसरे नम्बर पर रहे. बगावत के चलते भाजपा ने उन्हें पार्टी से निष्कासित कर दिया, लेकिन पिछले लोकसभा चुनाव के दौरान वे पुन: भाजपा में शामिल हो गए. रामगढ़ उपचुनाव 2024 में सुखवंत सिंह ने भाजपा टिकट के लिए प्रयास किए और पार्टी ने उन्हें प्रत्याशी घोषित किया.

सता रहा बगावत का डर :हालांकि भाजपा प्रत्याशी सुखवंत सिंह की ओर से रामगढ़ उपचुनाव एकजुटता से लड़ने और वरिष्ठ नेता ज्ञानदेव आहूजा का आशीर्वाद मिलने की उम्मीद जताई जा रही है, लेकिन अंदरखाने उन्हें पार्टी में बगावत व अंदरूनी खींचतान का डर सता रहा है. कारण है कि 2023 विधानसभा चुनाव में भाजपा ने ज्ञानदेव आहूजा के भतीजे जय आहूजा को टिकट दिया. उस दौरान सुखवंत सिंह ने पार्टी से बगावत कर असपा के टिकट पर चुनाव लड़ा और जय आहूजा को तीसरे नम्बर पर धकेल दिया. इस बार उपचुनाव में भाजपा सुखवंत सिंह को टिकट दिया है, ऐसे में उन्हें चिंता है कि रामगढ़ में कहीं 2023 विधानसभा चुनाव का दृश्य न दोहरा जाए.

ABOUT THE AUTHOR

...view details