झारखंड

jharkhand

ETV Bharat / state

गिरिडीह में एक और गर्भवती महिला की मौत, परिजनों ने लगाया आरोप तो डॉक्टर बोले- चल रही डेड बॉडी पॉलिटिक्स

गिरिडीह एक प्रसूता की मौत हो गई. घटना के बाद परिजनों ने निजी अस्पताल पर लापरवाही का आरोप लगाया है.

pregnant-woman-dies-in-giridih-nursing-home
अस्पताल के बाहर परिजन (ETV BHARAT)

By ETV Bharat Jharkhand Team

Published : Oct 30, 2024, 2:29 PM IST

गिरिडीह: इलाज के दरमियान प्रसूता की मौत का मामला हर सप्ताह सामने आ रहा है. इस बार एक और महिला की मौत हो गई है. मृतका 30 वर्षीय प्रीति देवी मुकेश गोस्वामी की पत्नी थी. प्रीति मुफ्फसिल थाना इलाके के राजेंद्र नगर की निवासी थी. इस घटना को लेकर मृतका के पति ने बताया कि मंगलवार की रात को उनकी पत्नी को प्रसव पीड़ा हुआ. शुरू से ही प्रीति का इलाज सरकारी अस्पताल में चल रहा था. इसलिए पीड़ा के बाद वह प्रीति को लेकर चैताडीह अवस्थित सरकारी अस्पताल में पहुंच गए.

परिजन और डॉक्टर का बयान (ETV BHARAT)

जांच करने के बाद स्वास्थ्य कर्मियों व सहिया ने कहा कि प्रीति का बीपी काफी बढ़ा हुआ है. सहिया और कर्मियों ने यह भी कहा कि इसका इलाज सरकारी अस्पताल में होना संभव नहीं है. इसे निजी अस्पताल ले जाएं. इसके बाद रात 2:00 बजे प्रीति को लेकर वे लोग सहिया के साथ बोडो स्थित एक निजी नर्सिंग होम ले गए. उनका कहना है कि यहां पहुंचने के बाद उनपर सर्जरी करवाने का दबाव बनाया जा रहा था. तीन घंटे तक नर्सिंग होम के कर्मियों द्वारा इलाज में लापरवाही की गई, जिसके चलते प्रीति की जान चली गई.

चल रही है डेड बॉडी पॉलिटिक्स: डॉ नूतन लाल

इधर, मृतका के परिजनों के आरोप पर नर्सिंग होम की संचालिका डॉ नूतन लाल का कहना है कि प्रसूता की मौत उनके अस्पताल में नहीं हुई है. रात में जब प्रीति को लेकर उनके परिजन यहां आए तो जांच की गई. इस दौरान पता चला कि प्रसूता के पेट में पल रहा बच्चा उल्टा है और समय सीमा भी अधिक हो चुका है. पूरी जांच के बाद उन्हें सर्जरी करवाने को कहा गया लेकिन वे लोग नार्मल डिलीवरी ही करवाना चाहते थे. परिजन स्पष्ट कुछ बोलने को तैयार नहीं थे. सुबह पांच बजे परिजन प्रसूता को लेकर यहां से चले गए. इसके बाद क्या हुआ हमलोग नहीं जानते हैं. अचानक करीब साढ़े छह बजे सुबह शव को लेकर उनके घरवाले उनके नर्सिंग होम आ गए और मारपीट - हंगामा करने लगे. डॉ नूतन लाल का कहना है कि गिरिडीह में इन दिनों डेड बॉडी पॉलिटिक्स चल रही है. इसके तहत नर्सिंग होम और चिकित्सक को ब्लैकमेल किया जा रहा है.

ये भी पढ़ें:अस्पताल में जच्चा-बच्चा की मौत पर हंगामा, प्रबंधन ने कहा- परिजनों ने छिपायी प्रसूता की बीमारी

ये भी पढ़ें:सरकारी अस्पताल में बच्चा जन्म देते ही प्रसूता ने तोड़ा दम, परिजनों ने कहा - बंद करें हॉस्पिटल जहां जा रही है गरीब की जान

ABOUT THE AUTHOR

...view details