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लक्सर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में सुविधाओं का टोटा, मरीजों को करना पड़ता है रेफर - CHC Laksar Health System

Laksar Community Health Center Health Facility उत्तराखंड में स्वास्थ्य सुविधाओं को मजबूत करने के लिए सरकार लगातार काम कर रही है, इसके बावजूद अभी भी अस्पताल सुविधाओं से लैस नहीं हो पाए हैं. लक्सर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में भी स्वास्थ्य सुविधाओं के साथ विशेषज्ञ डॉक्टरों की कमी है, जिसके चलते मरीजों को परेशानी हो रही है.

Community Health Center Laksar
सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र लक्सर (फोटो- ETV Bharat)

By ETV Bharat Uttarakhand Team

Published : Sep 13, 2024, 3:50 PM IST

लक्सर: सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र लक्सर में लगातार मरीजों का बोझ बढ़ रहा है, लेकिन यहां संसाधनों की काफी कमी है. अल्ट्रासाउंड और ब्लड बैंक की सुविधा भी अस्पताल में नहीं है. इसके अलावा विशेषज्ञ डॉक्टरों की भी काफी कमी है. कई विभागों के पद खाली हैं, जिसके चलते गंभीर मरीजों को रेफर करना पड़ता है. इसके अलावा अस्पताल में तमाम तरह की खामियां हैं. इससे मरीजों को परेशानियों से दो चार होना पड़ता है.

सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र लक्सर में रोजाना 180 से 200 मरीजों की ओपीडी होती है. यह 30 बेड अस्पताल का अस्पताल है. यहां डॉक्टर के 11 पद स्वीकृत हैं. जबकि, यहां तैनाती केवल 7 डॉक्टरों की है, जिसके चलते उन पर मरीजों का बोझ बढ़ जाता है. इस समय अस्पताल में एक महिला डॉक्टर समेत 7 डॉक्टर्स तैनात हैं. इसके अलावा 3 स्टाफ नर्स, 4 एएनएम समेत 52 स्वास्थ्य कर्मियों की तैनाती है.

सीएचसी लक्सर में अल्ट्रासाउंड और ब्लड बैंक की सुविधा नहीं:सीएचसी लक्सर में डेंटिस्ट, गाइनेकोलॉजिस्ट और सर्जन के पद खाली हैं. इसके अलावा अस्पताल में अल्ट्रासाउंड और ब्लड बैंक की सुविधा भी नहीं है. मरीजों को ब्लड की आवश्यकता होने पर उनके तीमारदारों को रुड़की, हरिद्वार या देहरादून की दौड़ लगानी पड़ती है.

कहने को अस्पताल में पैथोलॉजी लैब भी उपलब्ध है, लेकिन यहां जांच के नाम पर केवल औपचारिकता पूरी की जाती है. इससे मरीजों को इसका समुचित लाभ नहीं मिल पा रहा है. स्थानीय लोगों और मरीजों का कहना है कि स्वास्थ्य केंद्र में सिर्फ सामान्य मरीजों का ही उपचार हो पाता है. कोई बड़ा सड़क हादसा होने या अन्य गंभीर मामलों में मरीजों को हरिद्वार या ऋषिकेश रेफर कर दिया जाता है.

सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पर पूरी तरह अव्यवस्थाओं का बोलबाला है. जिससे केंद्र पर उपचार के लिए आने वाले मरीजों को परेशानी झेलनी पड़ती है. मरीजों का आरोप है कि उन्हें दवाइयां भी बाहर से खरीदनी पड़ती हैं. दोपहर दो बजे के बाद डॉक्टर उपलब्ध नहीं होते हैं. इससे मरीजों को परेशानी झेलनी पड़ती है. सड़क हादसों में गंभीर रूप से घायलों और गंभीर मरीजों को जिला अस्पताल हरिद्वार रेफर कर दिया जाता है.

क्या बोले सीएचसी प्रभारी चिकित्सा अधिकारी?सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र लक्सर के प्रभारी चिकित्सा अधिकारी डॉ. नलिंद असवाल का कहना है कि सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पर आने वाले मरीजों की सुविधाओं का पूरा ध्यान रखा जाता है. डॉक्टरों के खाली पदों पर नियुक्ति के लिए उच्च अधिकारियों को पत्र लिखा गया है.

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