जबलपुर।डीएनए-एफएसएल सहित अन्य रिपोर्ट के आने पर लेटलतीफी को हाईकोर्ट ने संज्ञान में लेते हुए मामले की सुनवाई याचिका के रूप में किये जाने के आदेश जारी किये थे. हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस रवि विजय कुमार मलिमथ तथा जस्टिस विशाल मिश्रा की युगलपीठ को सरकार की तरफ से बताया गया कि प्रदेश में अगस्त माह तक 3 नई एफएसएल लैब स्थापित कर दी जाएंगी. वर्तमान में सागर स्थित मुख्य लैब सहित 5 लैब संचालित हैं. ब्यूरो ऑफ पुलिस रिसर्च ऑर्गेनाइजेशन की रिपोर्ट के अनुसार लैब स्थापना तथा जांच रिपोर्ट में प्रदेश पहले स्थान पर है.
हाईकोर्ट ने जारी किया था मुख्य सचिव को नोटिस
गौरतलब है कि डीएनए-एफएसएल रिपोर्ट सहित अन्य रिपोर्ट के आने में लेटलतीफी को लेकर हाईकोर्ट सख्त है. याचिका के अनुसार देर से रिपोर्ट आने के कारण न्यायालय में लंबित प्रकरण की सुनवाई में देरी होती है. इस कारण लंबित प्रकरण की संख्या भी बढ़ती जाती है. याचिका की सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने मध्य प्रदेश शासन के मुख्य सचिव को नोटिस जारी कर जवाब मांगा था. पिछली सुनवाई के दौरान सरकार की तरफ से पेश की गयी स्टेटस रिपोर्ट में बताया गया था कि प्रदेश में 9 हजार 9 सौ से अधिक डीएनए तथा एफएसएल सहित अन्य रिपोर्ट पेश करना लंबित हैं.
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