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बारिश में पीलिया का प्रकोप, जानिए लक्षण,बचने के उपाय और इलाज - Rainy Season diseases

Ways to prevent jaundice बारिश के दिनों में मौसमी बीमारियों का खतरा बना रहता है.ऐसी ही एक बीमारी पीलिया है.पीलिया, शरीर में बिलीरुबिन के स्तर बढ़ने से होने वाली बीमारी है. बिलीरुबिन, लाल रक्त कोशिकाओं के टूटने से बनता है और लिवर द्वारा फ़िल्टर होकर शरीर से बाहर निकलता है. अगर बिलीरुबिन का स्तर बढ़ जाए, तो त्वचा और आंखें पीली दिखने लगती हैं.आईए जानते हैं किन वजहों से हम पीलिया की गिरफ्त में आ जाते हैं.RAINY SEASON DISEASES

Ways to prevent jaundice
बारिश में पीलिया के प्रकोप से कैसे बचे (ETV Bharat Chhattisgarh)

By ETV Bharat Chhattisgarh Team

Published : Aug 22, 2024, 6:46 PM IST

रायपुर : बारिश के दिनों में डेंगू, मलेरिया, डायरिया और पीलिया जैसी बीमारियां तेजी से फैलती है. पीलिया वैसे तो किसी भी मौसम में हो सकता है, लेकिन खासतौर पर पीलिया के ज्यादातर मरीज बारिश के दिनों में देखने को मिलते हैं. बरसात के दिनों में दूषित और गंदा पानी से पीलिया फैलता है. पीलिया कितने प्रकार का होता है. कौन सा वायरस पीलिया के लिए ज्यादा खतरनाक माना गया है. बारिश के दिनों में दूषित और गंदा पानी से फैलने वाले पीलिया में कौन-कौन से लक्षण दिखाई पड़ते हैं. आज हम इसी के बारे में जानेंगे.



कैसे फैलता है पीलिया : मेकाहारा के एमडी मेडिसिन डॉक्टर आरएल खरे ने बताया कि "पीलिया के मरीज गर्मी और बारिश दोनों के सीजन में देखने को मिलते हैं. लेकिन बारिश में मरीजों की संख्या बढ़ जाती है. पीलिया 5 प्रकार के होते हैं, जिसमें A, B, C, D और E होता है. बारिश के मौसम में दूषित और गंदा पानी से फैलने वाला पीलिया A और E किस्म का होता है. गंदे पानी से जो वायरस फैलता है. वह हेपेटाइटिस A और हेपेटाइटिस E कहलाता है.''

पीलिया के लक्षण और बचाव के तरीके (ETV Bharat Chhattisgarh)

पीलिया के लक्षण :डॉक्टर आर एल खरे के मुताबिक''पांचों तरह के पीलिया के लक्षण एक जैसे होते हैं. शुरुआती दो-तीन दिनों तक लगातार बुखार आना, उसके बाद उल्टी जैसा लगना या फिर उल्टी होना, पेशाब में पीलापन होना, पेट में खराबी होना, लूज मोशन होना, इसके बाद आंखों में पीलापन होना, बहुत ज्यादा वीकनेस या कमजोरी लगना. इसके साथ ही भूख ना लगना इस तरह के लक्षण पीलिया में देखने को मिलते हैं. पीलिया कम है तो लक्षण कम दिखाई पड़ेंगे. पीलिया गंभीर है तो लक्षण ज्यादा देखने को मिलेंगे.''

कब मरीज को ले जाए अस्पताल ? :मरीज बहुत ज्यादा वीक हो गया है और खाना पीना नहीं कर पा रहा है. ऐसी स्थिति में उसे अस्पताल में भर्ती कराया जाना चाहिए.पीलिया के मरीज को अगर उल्टी नहीं हो रही है तो घर का सादा भोजन दलिया या फिर खिचड़ी दिया जा सकता है. बारिश के दिनों में दूषित पानी से होने वाले पीलिया का कोर्स दो सप्ताह से लेकर 6 सप्ताह तक होता है. उसके बाद ही पीलिया के मरीज में सुधार देखने को मिलता है.

''शुरू के दो सप्ताह में पीलिया चढ़ता है, उसके बाद 4 सप्ताह में पीलिया उतरता है. पीलिया के मरीज अगर गंभीर होते हैं तो एक महीने से लेकर डेढ़ महीने का कोर्स होता है. पीलिया ज्यादा गंभीर होने पर ब्रेन तक पहुंच जाता है.''-डॉक्टर आर एल खरे, एमडी मेडिसिन

पीलिया से कैसे हो बचाव :पीलिया से बचाव के लिए जरूरी है कि घर में पानी की साफ सफाई पर विशेष ध्यान रखें. ज्यादा से ज्यादा घर का पानी पीना चाहिए. बाहर के पानी को बारिश के दिनों में नहीं पीना चाहिए. इसके साथ ही बाहर मिलने वाले स्ट्रीट फूड का सेवन भी सावधानीपूर्वक करें. चौपटिया गली कूचे में मिलने वाले स्ट्रीट फूड को संभलकर और साफ सफाई देखकर ही खाना चाहिए. पीलिया अगर होता है तो घर का सादा भोजन खाना चाहिए. तला भूना या फिर फ्राइड फूड का सेवन नहीं करना चाहिए. इसके साथ ही ऐसे समय में चिकन मटन या ज्यादा ग्रेवी वाला फ़ूड का सेवन भी नहीं करना चाहिए. पीलिया अगर होता है तो कम से कम 2 से 3 महीने तक परहेज करना जरूरी है.


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