उत्तर प्रदेश

uttar pradesh

By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : 4 hours ago

ETV Bharat / state

हाईकोर्ट: वकीलों का अभद्र व्यवहार बर्दाश्त नहीं किया जाएगा, दोबारा गलती न करने और बिना शर्त माफी मांगने पर कार्रवाई रुकी - High Courts comment on lawyers

कोर्ट में वकीलों के व्यवहार से नाराज हाईकोर्ट ने सीधे चेतावनी देते हुए कहा कि, वकीलों का अभद्र व्यवहार बर्दाश्त नहीं किया जाएगा, दोबारा गलती न करने और बिना शर्त माफी मांगने पर कार्रवाई हुई खत्म.

Etv Bharat
हाईकोर्ट के अहम आदेश (Photo Credit; ETV Bharat)

प्रयागराज: इलाहाबाद हाईकोर्ट ने अपने एक अहम आदेश में कहा कि, न्यायाधीशों के प्रति वकीलों के अशिष्ट व्यवहार की घटनाओं को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा. कोर्ट ने कहा कि, वकीलों से अपेक्षा की जाती है कि वे न्यायाधीशों के खिलाफ असंयमित भाषा का प्रयोग करने से बचें. साथ ही कोर्ट ने दोबारा गलती न करने और बिना शर्त माफी मांगने पर कानपुर के एक वकील के खिलाफ अवमानना कार्रवाई खत्म कर दी. लेकिन जिला जज कानपुर नगर को दो साल बाद याची के आचरण को लेकर रिपोर्ट भेजने का निर्देश दिया है.

न्यायमूर्ति अश्विनी कुमार मिश्र और न्यायमूर्ति डॉ. गौतम चौधरी की खंडपीठ ने कहा कि, अधिवक्ताओं की ओर से पीठासीन न्यायाधीश के प्रति अभद्र व्यवहार की घटनाएं बर्दाश्त नहीं की जा सकतीं. न्यायाधीश केवल सौहार्दपूर्ण वातावरण में ही काम कर सकते हैं. न्यायालय के अधिकारी होने के नाते अधिवक्ता से यह अपेक्षा नहीं की जा सकती कि, वह जजों के प्रति अभद्र व्यवहार करे या पीठासीन अधिकारी के खिलाफ असंयमित भाषा का इस्तेमाल करे.

दरअसल, कोर्ट ने यह टिप्पणी सिविल जज कानपुर नगर की ओर से अधिवक्ता योगेन्द्र त्रिवेदी के खिलाफ भेजे गए संदर्भ पर सुनवाई के दौरान की. एडवोकेट त्रिवेदी ने पिछले साल कोर्ट की कार्यवाही के दौरान कथित तौर पर कोर्ट स्टाफ से फाइल छीन ली थी और ट्रायल जज के खिलाफ टिप्पणी की थी. त्रिवेदी पर जज के खिलाफ अनचाही टिप्पणी करने का भी आरोप है.

बताया जा रहा है कि, बाद में आरोपी वकीव ने बिना शर्त माफी मांगी, जब हाईकोर्ट ने सिविल जज के संदर्भ के आधार पर शुरू की गई अदालती अवमानना ​​की कार्यवाही में उन्हें नोटिस जारी किया. हालांकि न तो हाईकोर्ट और न ही सिविल जज माफी से संतुष्ट थे. इसके बाद मामले को स्थगित कर दिया गया, ताकि वकील बेहतर हलफनामा दाखिल कर सकें.

इसके बाद त्रिवेदी ने दोबारा बिना शर्त माफी मांगी. सुनवाई के दौरान कोर्ट में हाजिर होकर अधिवक्ता ने कहा कि, वह कभी भी इस तरह की अवज्ञाकारी हरकत नहीं दोहराएंगे. हाईकोर्ट ने अनुरोध स्वीकार कर लिया लेकिन साथ ही वकील को भविष्य के लिए चेतावनी भी दी.

यह भी पढ़ें:हाईकोर्ट ने हत्या के आरोपी डाक्टर दंपति के खिलाफ जारी सम्मन किया रद्द

ABOUT THE AUTHOR

...view details