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एक क्लिक में मिलेगी मसूरी में संपत्तियों की जानकारी, डोर-टू-डोर सर्वे के बाद डाटा होगा डिजिटलाइज - Property Survey in Mussoorie - PROPERTY SURVEY IN MUSSOORIE

Property Survey in Mussoorie पूर्व में मसूरी नगरपालिका क्षेत्र की सभी संपत्तियों का ड्रोन से सर्वे किया गया. अब डोर-टू-डोर सर्वे का कार्य किया जाएगा. इसके बाद संपत्तियों का डाटा डिजिटलाइज किया जाएगा.

Property Survey in Mussoorie
एक क्लिक में मिलेगी मसूरी में संपत्तियों की जानकारी (PHOTO- ETV Bharat)

By ETV Bharat Uttarakhand Team

Published : Aug 8, 2024, 9:44 PM IST

मसूरी:नगर पालिका परिषद क्षेत्र का जीआईएस बेस्ड डाटा के द्वितीय चरण में संपत्तियां के डोर-टू-डोर सर्वे का कार्य रेमटेक सॉफ्टवेयर सॉल्यूशंस प्राइवेट लिमिटेड देहरादून के द्वारा किया जा रहा है. जिसको लेकर नगर पालिका परिषद के सभागार में नगर पालिका मसूरी क्षेत्र अंतर्गत जीआईएस बेस्ड प्रॉपर्टी टैक्स मैपिंग के सर्वे को लेकर जानकारी दी गई. जबकि पालिका क्षेत्र में प्रथम चरण के अंतर्गत यूएबी (ड्रोन) सर्वे का कार्य पूर्ण कर लिया गया है.

रेमटेक सॉफ्टवेयर सॉल्यूशंन प्राइवेट लिमिटेड के प्रोजेक्ट मैनेजर गौरव शाह ने बताया कि शहरी विकास निदेशालय के निर्देशों पर मसूरी की संपत्तियों का डिजिटल रजिस्टर बनाया जाएगा. उन्होंने कहा कि पूर्व में नगर पालिका और नगर निगम में सभी रिकॉर्ड पेपर पर हुए हैं जिनको अब डिजिटलाइज किया जा रहा है.

उन्होंने कहा कि मसूरी के सभी संपत्तियों की लेकर डाटा तैयार किया जा रहा है. यह जीआईएस बेस्ड सर्वे है. हर प्रॉपर्टी की एक यूनिक आईडी बनाई जाएगी. इसके बाद ऑनलाइन कोई भी प्रॉपर्टी के बारे में विस्तृत जानकारी ले सकेगा. उन्होंने कहा कि 3 महीने के भीतर मसूरी की सभी संपत्तियों का निरीक्षण कर डिजिटलाइज डाटा तैयार कर लिया जाएगा.

वहीं, स्थानीय निवासी भारत भूषण ने कहा कि 1875 में मसूरी का मैनुअल नक्शा बनाया गया था, जो सबसे अधिक ऑथेंटिक है और सभी भूमि की वास्तविक बाउंड्री को दिखाया गया है. उन्होंने कहा कि वर्तमान में शहरी विकास विभाग के द्वारा मसूरी की सभी संपत्तियों को डिजिटाइज किया जा रहा है. परंतु उसका लाभ सभी लोगों को नहीं मिलेगा. उन्होंने कहा कि 1875 के बाद मसूरी में बेतहाशा अनाधिकृत रूप से निर्माण किया गया है. एनजीटी के द्वारा भी मसूरी को अति संवेदनशील घोषित कर दिया गया है.

अधिशासी अधिकारी राजेश नैथानी ने बताया कि शहरी विकास विभाग द्वारा उत्तराखंड में सभी निकायों की संपत्तियों के डाटा को डिजिटलाइज किया जा रहा है. पहले चरण में चार निगम लिए गए थे और दूसरे चरण में 10 निकाए हैं, जिसमें मसूरी भी है. उन्होंने कहा कि पूर्व में मसूरी नगरपालिका क्षेत्र की सभी संपत्तियों का ड्रोन से सर्वे किया गया है. अब डोर-टू-डोर सर्वे का कार्य किया जाना है. एक अप्रैल 2025 तक सभी रिकॉर्ड को डिजिटाइज कर दिया जाएगा. इससे जनता को ऑनलाइन टैक्स जमा करना, ऑनलाइन म्यूटेशन आदि की सुविधा मिलने लगेगी. उन्होंने कहा कि मसूरी में ज्यादातर संपत्तियां अन्य राज्यों में रहने वाले लोगों की है. जिसका एक ही क्लिक में मसूरी में उनकी संपत्ति का पूरा विवरण मिल जाएगा. इससे पालिका के आय में भी वृद्धि होगी.

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