बहराइच : जनपद न्यायालय ने सामूहिक दुष्कर्म के मामले में दो आरोपितों को 20-20 वर्ष की कठोर सजा सुनाई है. विशेष अपर सत्र न्यायाधीश दीपकांत मणि ने नाबालिग से दुष्कर्म करने के दो आरोपितों को दोषी सिद्ध ठहराते हुए 20-20 वर्ष के कठोर कारावास की सजा सुनाई है. दोषियों पर दो लाख आठ हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया है. जुर्माना न अदा करने पर दोषियों को 10-10 माह की अतिरिक्त सजा काटनी पड़ेगी.
अभियोजन पक्ष की ओर से विशेष जिला शासकीय अधिवक्ता पाक्सो संत प्रताप सिंह व विशेष लोक अभियोजक संतोष कुमार सिंह ने एक मामले की पैरवी की. उन्होंने बताया कि घटना कोतवाली देहात क्षेत्र में आने वाले एक इलाके की है. पांच जुलाई 2015 को एक महिला ने थाने में तहरीर देकर मुकदमा लिखाया था कि उसकी 10 वर्षीय बेटी को आरोपित कोलई उर्फ शहजाद और मेराज दो अन्य महिला आरोपितों के साथ मिलकर बहला-फुसलाकर अपहरण कर ले गए हैं. काफी तलाश करने के बाद भी पीड़िता नहीं मिली. पुलिस ने इस मामले में जांच को आगे बढ़ाते हुए आरोपित व पीड़िता को बरामद कर लिया. जिसके बाद पुलिस ने पीड़िता को न्यायालय के समक्ष बयान के लिए पेश किया. पीड़िता ने सामूहिक दुष्कर्म का आरोप लगाते हुए बयान दिया. जिसके बाद पुलिस ने आरोपितों के खिलाफ आरोप पत्र न्यायालय में प्रस्तुत किया. अदालत ने अभियोजन व बचाव पक्ष के तर्कों को सुना और दो महिला आरोपितों को बरी कर दिया. कोर्ट ने कोलई उर्फ शहजाद व मेराज को दोषी ठहराते हुए 20-20 वर्ष के कठोर कारावास की सजा सुनाई है.