रांची:झारखंड विधानसभा के विशेष सत्र के अंतिम दिन राज्यपाल के अभिभाषण पर चर्चा के दौरान पक्ष और विपक्ष ने एक दूसरे को आईना दिखाने की कोशिश की. मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने दो टूक कहा कि राज्यपाल का अभिभाषण सरकार का श्वेत पत्र है. इससे स्पष्ट है कि सरकार क्या करना चाहती है.
सीएम ने स्वीकार किया कि पूर्व पीएम स्व. अटल बिहारी वाजपेयी ने अलग राज्य के लिए मुहर लगाई लेकिन यह भी सही है कि अधिकार को घर लाकर कोई नहीं देता. इसके लिए वर्षों लड़ाई लड़ी गई. उन्होंने कहा कि 2019 तक इस राज्य को दलदल में धकेलने का प्रयास हुआ. अनाज के लिए लोग हाथ में राशन कार्ड लेकर मारे-मारे फिरते थे. किसान आत्म हत्या कर रहे थे. कई लोग भूख से मर गये. उन्होंने कहा कि हमे मालूम है कि कहां से कैसे काम करना है. जबतक गांव स्वावलंबी नहीं बनेगा, तबतक राज्य का सर्वांगीण विकास नहीं होगा. उन्होंने कहा कि 2019 के कार्यकाल में विकास की नींव रखी जा चुकी है. अब बिल्डिंग खड़ा करना है.
सरकार को कराना चाहिए एनआरसी - बाबूलाल मरांडी
मुख्य विपक्ष दल भाजपा के वरिष्ठ नेता के तौर पर बाबूलाल मरांडी ने राज्य सरकार को कई सुझाव दिए. उन्होंने कहा कि सत्ताधारी दल के साथी मणिपुर की बातें कर रहे हैं. लेकिन चाईबासा के गुदड़ी में सेंदरा (हत्याएं) हो रहा है. पुलिस ने अपना काम छोड़ दिया है. जनता अपने हाथ में कानून ले रही है. उन्होंने कहा कि संथाल में 1951 में 44.66 प्रतिशत आदिवासी थे. लेकिन 2011 में घटकर उनकी आबादी 28 प्रतिशत हो गयी है. इसलिए सरकार एनआरसी करा ले. तस्वीर साफ हो जाएगी.
बाबूलाल मरांडी ने कहा कि सीजीएल के छात्र सड़कों पर हैं. आखिर परीक्षा की जांच क्यों नहीं करवा रही है सरकार. चुनाव के समय 3,200 रु प्रति क्विंटल की दर से धान खरीदने का वादा किया गया था. लेकिन जो जानकारी मिल रही है उसके मुताबिक 2,400 रु. प्रति क्विंटल की दर से धान खरीदने की तैयारी चल रही है.
हर वादा पूरा करेगी अबुआ सरकार - कल्पना सोरेन
इससे पहले गांडेय से झामुमो विधायक कल्पना सोरेन ने भरोसा दिलाया कि झारखंड में दूसरी बार काम की बदौलत अबुआ सरकार बनी है. यह सरकार अपने हर वादे को धरातल पर उतारेगी. उन्होंने भाजपा को जनादेश नहीं मिलने का कारण भी बताया. कल्पना सोरेन ने कहा कि भाजपा के खिलाफ जनता में गुस्सा था. क्योंकि 2019 में महागठबंधन को जनादेश मिला तो सरकार को गिराने की कोशिश की जाती रही. अव्वल तो ये कि एक षडयंत्र के तहत सीएम हेमंत सोरेन को जेल में डाला गया.